---विज्ञापन---

मुंबई

महाराष्ट्र में सरकारी कर्मचारियों के लिए सोशल मीडिया के नियम तय, रूल तोड़ने पर होगा ये एक्शन

Maharashtra News: महाराष्ट्र की फडणवीस सरकार सरकारी कर्मचारियों के सोशल मीडिया उपयोग को लेकर नए नियम-कायदे लेकर आई है। जिसके अनुसार अब कर्मचारी सरकारी योजनाओं की सोशल मीडिया पर आलोचना नहीं कर सकेंगे। इसके अलावा उन्हें गोपनीय दस्तावेज और जानकारी साझा करने की भी पाबंदी होगी।

Author Written By: News24 हिंदी Author Edited By : Rakesh Choudhary Updated: Jul 29, 2025 07:47
Maharashtra new social media policy
सीएम देवेंद्र फडणवीस (Pic Credit-Social Media X)

Maharashtra new social media policy: महाराष्ट्र सरकार ने सरकारी कर्मचारियों के सोशल मीडिया उपयोग को लेकर नए नियम बनाए हैं। इसके अनुसार अब सरकारी कर्मचारी योजनाओं को लेकर सरकार पर कोई टीका-टिप्पणी नहीं कर सकेंगे। ऐसा करने वालों के खिलाफ सरकार कड़ी कार्रवाई करेगी। महाराष्ट्र सरकार ने सोमवार को इस संबंध में एक गाइडलाइन जारी की है। इसको लेकर सरकार के सामान्य प्रशासन विभाग ने कहा कि इससे काम में गोपनीयता आएगी और वे पहले से ज्यादा प्रभावी तरीके और जिम्मेदारी से काम करेंगे।

खुद की तारीफ भी नहीं कर सकेंगे कर्मचारी

सरकारी आदेश में लिखा है कि अब सरकारी कर्मचारियों को अपने निजी और आधिकारिक अकाउंट को अलग-अलग रखना होगा। कर्मचारियों को सरकार की पॉलिसी पर टिप्पणी करने और आलोचना करने की मनाही होगी। वरिष्ठ अधिकारियों की अनुमति केे बिना गोपनीय दस्तावेज और जानकारी को साझा करने पर पाबंदी होगी। इसके अलावा कर्मचारी खुद की तारीफ भी सोशल मीडिया पर नहीं कर सकेंगे।

---विज्ञापन---

सरकारी गाड़ी के साथ नहीं बना सकेंगे रील

आदेश के अनुसार आपत्तिजनक और मानहानिकारक सामग्री साझा करना, अपलोड करना और उनको फॉरवर्ड करना पूरी तरह प्रतिबंधित होगा। इसके साथ ही कर्मचारियों के आपत्तिजनक फोटो पोस्ट करने, अपलोड करने, फॉरवर्ड करने पर पूरी तरह प्रतिबंध रहेगा। इसके अलावा कर्मचारियों को रील, लोगो, सरकारी संपत्ति जैसे वाहन या इमारत को वीडियो के तौर पर इस्तेमाल नहीं करने के निर्देश दिए गए हैं।

ये भी पढ़ेंः पुणे: चलती बाइक पर अश्लीलता करते कपल का वीडियो वायरल, तलाश में जुटी पुलिस

---विज्ञापन---

आउटसोर्स कर्मचारियों पर भी लागू होंगे नियम

सरकार द्वारी जारी आदेश के अनुसार ये नियम स्थानीय निकाय, मंडल और सार्वजनिक उपक्रमों के अधिकारियों और कर्मचारियों पर लागू होंगे। इसमें प्रतिनियुक्ति और आउटसोर्सिंग से नियुक्त कर्मचारी भी शामिल हैं। सरकारी कर्मचारी राज्य और केंद्र सरकार की ओर से प्रतिबंधित ऐप्स और वेबसाइट का उपयोग नहीं कर सकेंगे। नियमों का उल्लंघन करने पर कर्मचारियों के खिलाफ महाराष्ट्र सिविल सेवा नियम 1979 के तहत अनुशासनात्मक कार्रवाई की जाएगी।

ये भी पढ़ेंः महाराष्ट्र के धुले में बदहाल हुआ जल शुद्धीकरण केंद्र, बंद कैमरे बने खतरे की घंटी

First published on: Jul 29, 2025 07:08 AM

संबंधित खबरें