ED Raids Aide Of Sharad Pawar: राष्ट्रवादी कांग्रेस पार्टी (NCP) के नेता ईश्वरलाल जैन के 13 ठिकानों पर प्रवर्तन निदेशालय (ED) ने छापेमारी की। ED रिपोर्ट्स के मुताबिक, जैन के ठिकानों से ED ने एक करोड़ रुपये कैश, करीब 25 करोड़ रुपये की 39 किलोग्राम सोने-चांदी की ज्वैलरी बरामद की है। बता दें कि ईश्वरलाल जैन NCP के पूर्व कोषाध्यक्ष रह चुके हैं और वे पार्टी चीफ शरद पवार के करीबी हैं।
रिपोर्ट्स के मुताबिक, ED ने बैंक लोन धोखाधड़ी और मनी लॉन्ड्रिंग मामले में जलगांव, नासिक और ठाणे में ईश्वरलाल जैन समेत उनके रिश्तेदारों के ठिकानों पर शनिवार को छापेमारी की। पिछले साल दिसंबर में सीबीआई की दिल्ली यूनिट ने ईश्वरलाल जैन, मनीष जैन और उनके परिवार के अन्य सदस्यों के खिलाफ धोखाधड़ी का मामला दर्ज किया था। आरोप था कि जैन की ओर से SBI बैंक से 353 करोड़ रुपये का लोन लिया गया था, लेकिन उसे वापस नहीं किया गया। CBI की इसी FIR के बाद ED ने मनी लॉन्ड्रिंग का मामला दर्ज कर जांच पड़ताल शुरू की थी।
मोबाइल से बरामद किए डॉक्युमेंट्स
ईडी की ओर से कहा गया कि जैन के मोबाइल फोन से दस्तावेज बरामद किए हैं जो जैन के बेटे मनीष द्वारा नियंत्रित रियल्टी फर्म में लक्जमबर्ग इकाई से 50 मिलियन यूरो के एफडीआई प्रस्ताव का संकेत देते हैं। ED ने जलगांव में 2 बेनामी संपत्तियों के अलावा, राजमल लखीचंद समूह से संबंधित 50 करोड़ रुपये से अधिक मूल्य की 60 संपत्तियों का विवरण भी इकट्ठा किया है।
ईडी के अधिकारियों ने कहा कि जैन द्वारा नियंत्रित 3 आभूषण फर्मों के खातों की जांच के दौरान, उन्हें पता चला कि राजमल लखीचंद समूह से जुड़ी पार्टियों के माध्यम से फर्जी बिक्री-खरीद सौदों के जटिल जाल के माध्यम से ऋण दिए गए थे और प्रमोटरों द्वारा अचल संपत्तियों में निवेश किया गया था।
कंपनियों के बैंक अकाउंट्स की जांच से फर्जी सौदों का खुलासा
ईडी के अधिकारियों ने कहा कि ईश्वरलाल जैन की तीन आभूषण कंपनियों के खातों की जांच से फर्जी सौदों का खुलासा हुआ है और पैसा अचल संपत्तियों में लगाया गया है। अधिकारियों ने कहा कि आरएल एंटरप्राइजेज के नाम पर नया आभूषण व्यवसाय और रियल एस्टेट क्षेत्र, कार डीलरशिप और अस्पताल स्थापित करने में नए निवेश किए गए। बता दें कि दिसंबर 2022 में सीबीआई की दिल्ली यूनिट ने राजमल लखीचंद ज्वैलर्स, आरएल गोल्ड और मनराज ज्वैलर्स और इसके प्रमोटरों-जैन, मनीष जैन और उनके परिवार के अन्य सदस्यों के खिलाफ तीन बैंक धोखाधड़ी एफआईआर दर्ज की थीं।