CM Eknath Shinde Statement On Manoj Jarange Patil : महाराष्ट्र सरकार ने पहली बार मराठा नेता मनोज जरांगे पाटिल के खिलाफ सख्त रुख दिखाया है। मनोज जरांगे पाटिल द्वारा डिप्टी सीएम देवेंद्र फडणवीस को लेकर की गई आपत्तिजनक टिप्पणी के बाद सरकार में उनके खिलाफ नाराजगी बढ़ गई है। पहली बार सीएम एकनाथ शिंदे की पाटिल के खिलाफ तल्खी देखी गई है। दरअसल, मनोज जरांगे पाटिल के बयान के बाद मुंबई के सह्याद्री अतिथि गृह सीएम और दोनों डीसीएम के बीच बैठक हुई। तीनों के बीच मीटिंग लगभग 40 मिनट तक चली। उन्होंने संयुक्त प्रेस कॉन्फ्रेंस कर जरांगे के बयान की निंदा की है। इस दौरान सीएम शिंदे पाटिल के खिलाफ सख्त नजर आए।
सीएम ने कहा कि मराठा आरक्षण को लेकर हमने जो कहा था वो कर दिया। कुछ लोग राज्य में अराजकता फैलाने की कोशिश कर रहे हैं। सरकार मराठा समाज के लिए सकारात्मक कोशिश कर रही है। जरांगे की सभी मांगें मानी गईं। उनके हर आंदोलन में मैं उनसे मिलने गया। लेकिन उनकी मांगें बढ़ती जा रही हैं। मैं यही कहना चाहूंगा कि कोई कानून हाथ में ना लें, संयम बरते। जरांगे जो अब बोल रहे हैं, उनकी भाषा राजनीतिक लग रही है। जरांगे को कोई शब्द लिखकर दे रहा है। हर किसी को अपने मर्यादा में रहना चाहिए।
यह भी पढ़ें : Maharashtra: क्या फिर से महाराष्ट्र के सीएम बनेंगे शिंदे? देवेंद्र फडणवीस ने दिया बड़ा बयान
https://twitter.com/mieknathshinde/status/1761761343625961816
कानून से बड़ा कोई नहीं : सीएम शिंदे
मराठा नेता पर हमलावर होते हुए सीएम ने कहा कि मनोज जरांगे पाटिल के पीछे कौन हैं, वो किसकी स्क्रिप्ट पढ़ रहे हैं, इस षड्यंत्र का पर्दाफाश होकर रहेगा। क्योंकि उन्होंने आज जो बोला है राजनीतिक भाषा थी। ईमानदारी से लड़ रहे थे, तब तक सरकार ने सबकुछ किया। लेकिन अब कानून से बड़ा कोई नहीं है।
यह भी पढ़ें : राज्यसभा चुनाव में होगा खेला! देवेंद्र फडणवीस ने कहा- आगे-आगे देखो होता है क्या
फडणवीस बोले- सागर बंगला सबके के लिए खुला है
मनोज जरांगे पाटिल ने देवेंद्र फडणवीस पर जमकर हमला बोला और बोलते बोलते उनकी जुबान भी फिसली। यहां तक कि उनके ऊपर कई गंभीर आरोप भी लगाए। बाद में मंच उठकर देवेंद्र फडणवीस ने सीधे मुंबई वाले सागर बंगले पर जाने की घोषणा कर दी। इसके बाद पाटिल को उनके कार्यकर्तओं ने मनाने की कोशिश की, लेकिन वो नहीं माने। पाटिल के आरोपों का जवाब देते हुए डीसीएम फडणवीस ने कहा कि जरांगे झूठ बोल हैं, यह उन्हें भी पता है। सागर बंगला सबके लिए खुला है। जरांगे पवार और ठाकरे की स्क्रिप्ट क्यों पढ़ रहे हैं, यह मेरा उनसे सवाल है।