भोपाल: सांसद प्रज्ञा ठाकुर अपने बयानों को लेकर एक बार फिर चर्चा में है। नए साल की पूर्व संध्या पर उन्होंने कहा, 31 दिसंबर को न्यू ईयर मनाने की संस्कृति हमारे देश की नहीं है। सांसद शनिवार शाम भोपाल में आयोजित संस्कृत भारती मध्य भारत के संपूर्ति समारोह में बोल रही थीं।
31 दिसंबर की रात को शराब पीकर डांस करने वाले लोग जिनकी सुबह दोपहर में होती है, वे क्या नवीनता देखेंगे। ऐसी पाश्चात्य सभ्यता का अनुकरण करने के संस्कार हमारे नहीं हो सकते: भाजपा सांसद प्रज्ञा ठाकुर, भोपाल pic.twitter.com/j0OhMVdrwc
---विज्ञापन---— ANI_HindiNews (@AHindinews) December 31, 2022
इससे पहले सांसद ने कहा था कि अपने घरों में हथियार रखो। कुछ नहीं तो कम से कम सब्जियां काटने के लिए चाकू तेज रखो। पता नहीं क्या स्थिति पैदा हो जाए। इस बयान पर अपने आलोचकों को जवाब देते हुए शनिवार को सांसद ने कहा- ‘शायद कुछ लोगों का एजेंडा फेल हो गया है, इसलिए चिल्ला रहे हैं। मैंने किसी का नाम नहीं लिया। मैंने मातृ शक्तियों को, उन लड़कियों को जिनका अपहरण घर से उठाकर करके कर लेते हैं और जिन्हें बेच देते हैं, उनका मान मर्दन करते हैं। उनको अपहरण करके मार देते हैं, काट देते हैं। हम हमारे घर में सुरक्षित नहीं रहेंगे तो, कहां रहेंगे। मुझे मातृ शक्ति की चिंता है।’
उन्होंने कहा, ‘मैं कर्नाटक गई थी। मैं युद्ध में प्रेम के गीत नहीं गाती और न गाऊंगी, क्योंकि मैं संन्यासी हूं। समाज को मार्गदर्शन दूंगी। मैं सांसद हूं, इसलिए समाज को संरक्षण दूंगी। समाज में महिलाओं को और लड़कियों को संरक्षण दूंगी। उनके विधायक ने हमें भी जिंदा जलाने की बात कही थी। मेरा बयान तोड़-मरोड़कर प्रस्तुत करेगा, तो संवैधानिक कार्रवाई करूंगी’।