MP Dhanpuri Nagarpalika Waste Management Campaign: मध्य प्रदेश के इंदौर का वेस्ट मैनेजमेंट बहुत शानदार है, जिसकी बदौलत इंदौर ने लगातार 7 बार से सबसे स्वच्छ शहर का खिताब अपने नाम किया है। अब इंदौर की राह पर नगरपालिका धनपुरी भी निकल पड़ी है। धनपुरी में जो जिस कचरे से शहर की स्थिति बदहाल और बदतर रही थी और कचरा बीमारियों का घर बना हुआ था। अब वहीं कचरा लोगों के लिए लाभदायक सिद्ध हो रहा है। दरअसल, धनपुरी नगरपालिका ने बेहतर कचरा प्रबंधन को लेकर शहर में एक अभियान की शुरू किया है।
संत निरंकारी समिति धनपुरी एवं नगर पालिका परिषद धनपुरी के संयुक्त तत्वाधान में खेर माता तालाब धनपुरी की साफ सफाई का चलाया गया आभियान। @proshahdol @urbansbm @SwachhBharatGov @sajjan88 pic.twitter.com/UwTvqJXP4v
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कचरे से कमा रहे 80 हजार रुपये
इस अभियान के तहत शहर से निकलने वाले कचरे से जैविक खाद बनाई जा रही है। शहर के घरों से निकलने वाले खाद फलों और सब्जियों के छिलके सहित बाकी खाद फलों और सब्जियों के जैविक खाद तैयार की जा रही है। इतना ही नहीं, नगरपालिका ने इस खाद को बेचकर हर महीने 80 हजार रुपये की कमाई भी कर रही हैं। साथ ही इससे उन्होंने 40 से अधिक लोगों को रोजगार भी दिया है। सबसे अच्छी बात यह है कि धनपुरी नगरपालिका को मध्य प्रदेश SLP में पहला स्थान प्राप्त हुआ है।
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कचरे बना राजस्व का बड़ा जरिया
बता दें कि शहडोल संभाग के अंतर्गत आने वाले नगरपालिका धनपुरी कमाई के मामले में सबसे आगे जाते हुए अब नवाचारों के मामले में कमाल कर रही है। यहां नगरपालिका की ओर से लोगों के घर से कचरा और जूठन उठाया जा रहा है। फिर इसी कचरे से जैविक खाद बनाकर उसे बाजार में बेचकर अच्छी कमाई की जा रही है। बाजार में नगरपरिषद द्वारा बनाई गई इस खाद की काफी डिमांड है। इस जैविक खाद को ज्यादातर लोग अपने घर के बाग-बगीचों और किसानों के खेतों के लिए खरीद रहे हैं। नगरपालिका धनपुरी ने शहर को गंदा करने वाले कचरे को राजस्व का बड़ा जरिया बना दिया है।