जम्मू-कश्मीर के पहलगाम में 22 अप्रैल को हुए आतंकी हमले का जवाब देने के लिए भारत ने पूरी तैयारी कर ली है। केंद्र सरकार के निर्देश पर देश के 244 जिलों में बुधवार (7 अप्रैल) को मॉक ड्रिल आयोजित किए जाएंगे। साथ ही जम्मू-कश्मीर के सीमावर्ती इलाकों में कई दिनों से अभ्यास जारी है। इस बीच देश की राजधानी नई दिल्ली में दिल्ली पुलिस के मुख्यालय पर LRAD (लॉन्ग रेंज एकॉस्टिक डिवाइस) सिस्टम तैनात गया है। पुलिस के अधिकारियों को इस सिस्टम के काम करने के बारे में जानकारी दी गई है।
मॉक ड्रिल के लिए दिल्ली पुलिस की क्या है तैयारी?
केंद्रीय गृह मंत्रालय के निर्देश के बाद दिल्ली पुलिस ने राजधानी में मॉक ड्रिल की तैयारी शुरू कर दी है। इस सिलसिले में वरिष्ठ अधिकारियों ने सभी जिलों के डीसीपी को विस्तृत सुरक्षा योजना तैयार करने का निर्देश दिया है। साथ ही दिल्ली पुलिस ने बुधवार की मॉक ड्रिल के लिए अपना LRAD (लॉन्ग रेंज एकॉस्टिक डिवाइस) सिस्टम तैयार कर लिया है। इस डिवाइस की रेंज एक किलोमीटर से ज्यादा है और इसका इस्तेमाल अचानक हमले की स्थिति में लोगों को अलर्ट करने के लिए हूटर के तौर पर या फिर बड़ी संख्या में लोगों को संदेश देने के लिए सार्वजनिक घोषणा प्रणाली के तौर पर किया जा सकता है।
#WATCH | Delhi Police prepares its LRAD (Long Range Acoustic Device) System for tomorrow’s mock drill
This device has a range of more than one kilometre and can be used as a hooter to alert the public in case of a sudden attack or as a public announcement system to give a… pic.twitter.com/SFt6gGCRGK
---विज्ञापन---— ANI (@ANI) May 6, 2025
क्या है LRAD सिस्टम?
LRAD एक विशेष प्रकार का ध्वनि-आधारित उपकरण है। इसका इस्तेमाल लोगों को अलर्ट करने के लिए जाता है। यह हमले के दौरान वार्निंग देने में अहम रोल अदा करती है। इसका इस्तेमाल युद्ध के दौरान लोगों को अलर्ट करने के लिए किया जाता है। साथ ही भीड़ कंट्रोल करने में भी यह बेहद कारगर साबित होता है। LRAD बहुत तेज ध्वनि उत्पन्न करता है, जिसे 500 मीटर और एक किलोमीटर से अधिक तक सुना जा सकता है। अचानक हमले की स्थिति में LRAD एक शक्तिशाली सायरन के रूप में काम करेगा, जो भीड़ को सावधान करेगा और जनता तक आपातकालीन संदेश पहुंचाएगा।
मॉक ड्रिल की क्या है तैयारी?
दिल्ली में मॉक ड्रिल के दौरान बम निरोधक दस्ते (बीडीएस) और श्वान दस्तों को भी तैयार रखा जाएगा। ये टीमें पालिका बाजार, जनपथ, खान मार्केट और सरकारी भवनों के आस-पास के भीड़-भाड़ वाले इलाकों में लगातार विध्वंस-रोधी जांच करेंगी। राजधानी की सतर्कता और सुरक्षा व्यवस्था को और मजबूत बनाने के लिए यह मॉक ड्रिल बेहद महत्वपूर्ण मानी जा रही है ताकि किसी भी आपात स्थिति से आसानी से निपटा जा सके। मॉक ड्रिल में स्थानीय प्रशासन, सिविल डिफेंस वार्डन, होम गार्ड, राष्ट्रीय कैडेट कोर (NCC), राष्ट्रीय सेवा योजना (NSS) के वॉलिंटियर, नेहरू युवा केंद्र संगठन (NYKS) के मेंबर और स्कूल व कॉलेजों के स्टूडेंट्स भी शामिल होंगे।
दिल्ली के सभी जिलों में चाक-चौबंद सुरक्षा
एक वरिष्ठ पुलिस सूत्र ने बताया कि हमने दिन और रात में गश्त को तेज कर दिया है। हरियाणा और उत्तर प्रदेश की सीमाओं पर भी पुलिसकर्मियों के साथ अर्धसैनिक बलों को तैनात किया गया है। दिल्ली के भीतर भी सभी जिलों में सुरक्षा चाक-चौबंद कर दी गई है। डीसीपी अपने क्षेत्रों में खुद निगरानी कर रहे हैं। सूत्रों ने यह भी जानकारी दी कि विशेष रूप से शाम और रात के समय पैदल गश्त बढ़ाई गई है ताकि 24 घंटे सतर्कता बनी रहे। राजधानी के प्रमुख सार्वजनिक स्थल जैसे कनॉट प्लेस, इंडिया गेट, जनपथ, यशवंत पैलेस और गोल मार्केट पर विशेष गश्ती इकाइयों की तैनाती की गई है।