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बिहार में इन अफसरों को नहीं भाई खादी, राजनीति में उतरे इन दिग्गजों को मिली हार

Former officer in Bihar Politics: बिहार में विधानसभा चुनाव से पहले सीएम नीतीश कुमार के सचिव एस. सिद्धार्थ ने वीआरएस मांगा है। इससे पहले सीएम के खासमखास दिनेश राय ने इस्तीफा दिया था। ऐसे में चुनाव से पहले आईएएस और आईपीएस चुनावी किस्मत आजमाते रहे हैं। ऐसे में आइये जानते हैं इससे पहले और कितने अधिकारियों ने वीआरएस लेकर राजनीति में कदम रखा।

Author Written By: News24 हिंदी Author Edited By : Rakesh Choudhary Updated: Jul 22, 2025 10:51
Former officer in Bihar Politics
बिहार की राजनीति में कितनी असरदार खाकी दाएं से पूर्व डीजीपी गुप्तेश्वर पांडे, पूर्व एडीजीपी जेपी सिंह और आईपीएस शिवदीप लांडे (Pic Credit-Social Media X)

Bihar Election 2025: बिहार में अगले कुछ महीनों में विधानसभा चुनाव होने हैं। इसको लेकर चुनाव आयोग कभी भी घोषणा कर सकता है। वहीं एसआईआर प्रक्रिया को पूरा होने में मात्र 4 दिन का समय बचा है। इस मुद्दे पर विपक्ष और सरकार पहले ही आमने-सामने है। इस बीच एक बड़ी खबर सामने आ रही है। चर्चित आईएएस अफसर और सीएम नीतीश कुमार के प्रधान सचिव डॉ. के एस सिद्धार्थ ने अपने पद से इस्तीफा दे दिया है। सिद्धार्थ ने स्वैच्छिक सेवानिवृत्ति योजना यानी वीआरएस के लिए आवेदन किया है। ऐसे में अगर सरकार उनका इस्तीफा मंजूर कर लेती है तो वे रिटायर माने जाएंगे।

बता दें कि सिद्धार्थ 30 नवंबर 2025 को रिटायर होने वाले थे। 1991 बैच के आईएएस अधिकारी एस. सिद्धार्थ एक प्रशिक्षित पायलट भी थे। ऐसे में सिद्धार्थ के फैसले को लेकर उनके चुनाव लड़ने की अटकलें तेज हो गई हैं। सूत्रों की मानें तो सिद्धार्थ जेडीयू के टिकट पर नवादा से चुनाव लड़ सकते हैं। हाल ही में उन्होंने नवादा का दौरा भी किया था। एस. सिद्धार्थ से पहले सीएम के करीबी दिनेश राय भी इस्तीफा दे चुके हैं। उनके भी चुनाव लड़ने की चर्चा है। ऐसे में आइये जानते हैं अब तक बिहार में कितने आईएएस और आईपीएस इस्तीफा देकर चुनाव में उतरे हैं और उसके बाद उनका करियर कैसा रहा?

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गुप्तेश्वर पांडे

बिहार में 2020 विधानसभा चुनाव से पहले डीजीपी गुप्तेश्वर पांडे ने वीआरएस लिया था। उन्होंने अपना कार्यकाल खत्म होने से कुछ महीने पहले ही वीआरएस ले लिया था। इसके बाद वे जेडीयू में शामिल हो गए। जहां उन्होंने चुनाव लड़ा लेकिन वे हार गए। इसके बाद उन्होंने अध्यात्म का रास्ता चुना। इससे पहले उन्होंने 2014 में भी वीआरएस लिया था लेकिन बक्सर से टिकट नहीं मिलने पर उन्होंने इस्तीफा दे दिया था।

Gupteshwar Pandey

शिवदीप लांडे

पूर्व आईपीएस शिवदीप लांडे ने हिंद सेना नाम की पार्टी बनाई है। फिलहाल वे पार्टी के साथ विधानसभा चुनाव 2025 लड़ने की तैयारी कर रहे हैं। इसको लेकर वे इन दिनों बिहार की जनता के पास दस्तक दे रहे हैं। अब देखते हैं कि उनकी सियासी पारी कैसी रहती है?

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Shivdeep Lande

आशीष रंजन

पूर्व डीजीपी आशीष रंजन भी संसद जाना चाहते थे। उन्हें लगा कि वे जेडीयू से टिकट लेकर लोकसभा पहुंच जाएंगे। लेकिन उन्हें टिकट को लेकर कोई प्रस्ताव नहीं आया। इसके बाद कांग्रेस के टिकट पर वे नालंदा लोकसभा से टिकट दिया। हालांकि उन्हें हार का सामना करना पड़ा था।

डीपी ओझा

पूर्व डीजीपी डीपी ओझा भी शहाबुद्दीन के कारण चर्चा में आए थे। लोकप्रिय होने के बाद ओझा को लगा कि वे राजनीतिक पारी की शुरुआत कर सकते हैं। ऐसे में उन्होंने बेगूसराय से चुनाव लड़ा जहां पर उन्हें हार का सामना करना पड़ा।

DP Ojha

डॉ. जेपी सिंह

बिहार के रहने वाले और हिमाचल कैडर के पूर्व एडीजीपी जयप्रकाश सिंह भी वीआरएस लेकर चुनावी मैदान में उतर चुके हैं। कुछ दिन पहले ही उन्होंने प्रशांत किशोर की पार्टी जन सुराज का दामन थामा है।

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J P singh

First published on: Jul 22, 2025 10:51 AM

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