Kaalchakra News24 Today, Pandit Suresh Pandey: हिन्दू धर्म के लोगों के लिए भाई दूज के पर्व का खास महत्व है। ये त्योहार भाई-बहन के अटूट बंधन और प्रेम को दर्शाता है। हर साल दिवाली के दो दिन बाद भाई दूज का पर्व मनाया जाता है। इस शुभ दिन बहनें अपने भाइयों का कुमकुम या चंदन से तिलक करती हैं और भाई अपनी बहनों की रक्षा करने का वचन लेते हैं।
आज के कालचक्र में पंडित सुरेश पांडेय आपको भाई-बहन को समर्पित भाई दूज पर्व के शुभ मुहूर्त और महत्व के बारे में बताने जा रहे हैं।
तिलक करने का शुभ मुहूर्त
वैदिक पंचांग के अनुसार, हर साल भाई दूज का पर्व कार्तिक मास की शुक्ल पक्ष की द्वितीया तिथि के दिन मनाया जाता है। इस बार कार्तिक मास में आने वाली शुक्ल पक्ष की द्वितीया तिथि का आरंभ 2 नवंबर 2024 को रात 08 बजकर 21 मिनट से हो गया है, जिसका समापन 3 नवंबर को देर रात 10 बजकर 05 मिनट पर होगा। उदयातिथि के आधार पर आज यानी 3 नवंबर 2024 को भाई दूज का त्योहार मनाना शुभ रहेगा।
राहुकाल- आज शाम 4:30 से लेकर 6 बजे तक
गुलिक काल- आज दोपहर 2:49 से लेकर शाम 4:12 मिनट तक
तिलक का शुभ मुहूर्त- आज दोपहर 1:10 मिनट से लेकर दोपहर 3:22 मिनट तक
लाभ मुहूर्त- आज सुबह 9:20 से लेकर सुबह 10:42 मिनट तक
शुभ लग्न- आज दोपहर 1:27 से लेकर दोपहर 2:49 मिनट तक
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भाई दूज के उपाय
- भाई दूज के दिन बहनें तिलक करते समय दिशा का खास ध्यान रखें। तिलक करते समय भाई का मुंह पूर्व दिशा की तरफ होना शुभ रहता है।
- तिलक करने के बाद भाई के हाथ में 5 बार कलावा लपेटकर बांधें। इससे भाई की आर्थिक स्थिति मजबूत होगी।
- भाई दूज के दिन बहनें यदि मंदिर में दही या नमक का दान करती हैं, तो इससे उनके जीवन में धन और खुशियों का वास होगा। साथ ही आर्थिक स्थिति को बल मिलेगा।
भाई दूज से जुड़े अन्य उपाय और नियमों के बारे में यदि आप जानना चाहते हैं, तो इसके लिए ये वीडियो जरूर देखें।
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डिस्क्लेमर: यहां दी गई जानकारी धार्मिक मान्यताओं पर आधारित है तथा केवल सूचना के लिए दी जा रही है। News24 इसकी पुष्टि नहीं करता है।