Jua in Diwali: जब भी दिवाली का त्योहार आता है, एक सवाल लोगों के मन में जरूर आता है, ‘क्या दिवाली पर जुआ खेलना सही है?’ अधिकतर लोग मानते हैं कि लक्ष्मी पूजन के बाद जुआ खेलना शुभ होता है, लेकिन धार्मिक दृष्टि से इसका सही समय दिवाली नहीं, बल्कि कार्तिक शुक्ल प्रतिपदा है. इस दिन को द्यूत क्रीड़ा से जोड़ा जाता है, जो केवल एक खेल नहीं, बल्कि एक गहरा धार्मिक प्रतीक भी है.
कार्तिक प्रतिपदा: नया साल, नई शुरुआत
कार्तिक प्रतिपदा को हिंदू पंचांग के अनुसार नववर्ष का पहला दिन माना जाता है. खास तौर पर गुजरात और महाराष्ट्र में यह दिन नए साल की शुरुआत के रूप में मनाया जाता है. यह दिन गोवर्धन पूजा और बलि प्रतिप्रदा के रूप में भी जाना जाता है.
क्या है द्यूत क्रीड़ा?
द्यूत क्रीड़ा एक प्राचीन खेल है जो चौपड़ और पासे (या कौड़ियों) से खेला जाता था. आज इसे ‘जुआ'”‘ कहा जाता है, लेकिन वैदिक काल में यह केवल मनोरंजन नहीं, बल्कि कर्म, भाग्य और समय की परीक्षा का प्रतीक था.
ये भी पढ़ें: Chanakya Niti: बच्चों की परवरिश में ये 5 गलतियां माता पिता को बना देती हैं असफल
भगवान शिव का रचा गया खेल है यह
एक पौराणिक कथा के अनुसार, भगवान शिव ने इस खेल का आविष्कार किया और सबसे पहले देवी पार्वती के साथ इसे खेला था. शिवजी ने मां पार्वती से कहा था, ‘यह खेल उन लोगों के लिए है, जो समय बिताना चाहते हैं, अचानक धन पाना चाहते हैं या दूसरों का धन खोना चाहते हैं.’ इसलिए यह खेल एक तरह से मानव स्वभाव और जीवन की अनिश्चितताओं का प्रतिबिंब है.
जुए से नहीं, भविष्य से जुड़ा है ये दिन
धार्मिक ग्रंथों के अनुसार, जो व्यक्ति इस दिन द्यूत क्रीड़ा में जीतता है, उसके लिए आने वाला साल शुभ माना जाता है. वहीं जो हारता है, उसके लिए वर्ष चुनौतियों से भरा हो सकता है. इसलिए इसे भाग्यफल जानने की एक प्रतीकात्मक विधि भी माना गया है, न कि इस खेल से धन कमाने का जरिया.
दिवाली की रात जुआ क्यों नहीं?
हालांकि यह देखा गया है कि अक्सर लोग दीवाली की रात जुआ खेलते हैं, लेकिन किसी भी प्रामाणिक ग्रंथ में इस त्योहार की रात को जुआ खेलने का उल्लेख नहीं है. ग्रंथों के अनुसार, कार्तिक शुक्ल प्रतिपदा ही वह दिन है जो धार्मिक रूप से द्यूत क्रीड़ा के लिए मान्य है.
ये भी पढ़ें: Navpancham Yog: 7 दिन बाद मंगल गुरु बनाएंगे शक्तिशाली नवपंचम योग, बुलंदियों पर होगा इन 4 राशियों की किस्मत का सितारा
डिस्क्लेमर: यहां दी गई जानकारी ज्योतिष शास्त्र की मान्यताओं पर आधारित है और केवल सूचना के लिए दी जा रही है. News24 इसकी पुष्टि नहीं करता है.