Who is Govindachami?: देश में एक बार फिर से गोविंदाचामी का नाम सुर्खियों में है। केरल की कन्नूर सेंट्रल जेल में रेप केस मामले में उम्रकैद की सजा काट रहे अपराधी गोविंदाचामी शुक्रवार की तड़के सुबह जेल भाग गया। हालांकि, गोविंदाचामी का जेल से भागना बेकार रहा क्योंकि पुलिस की टीम ने राज्यव्यापी तलाशी अभियान चलाकर उसे दोबारा गिरफ्तार कर लिया। इसके बाद इस मामले की जांच शुरू की गई। इस जांच के तहत सबसे पहले कन्नूर सेंट्रल जेल के 4 अधिकारियों को जांच पूरी होने तक सस्पेंड कर दिया गया है। शुरुआती जांच में पता चला कि गोविंदाचामी डेढ़ महीने से जेल भागने की प्लानिंग कर रहा था।
कौन है गोविंदाचामी?
गोविंदाचामी साल 2011 के सौम्या रेप-मर्डर केस मामले का अपराधी है। साल 2011 में 23 साल की पीड़िता सेल्सवुमन की नौकरी करती थी। वारदात वाले दिन वह अपने काम से घर जा रही थी। उसने वल्लथोल नगर स्टेशन से शोरानूर ट्रेन पकड़ी। वहीं से अपराधी गोविंदाचामी उसी डिब्बे में चढ़ गया। इसके बाद उसने पीड़िता के साथ दुष्कर्म किया और उसकी हत्या कर दी। पुलिस की जांच के बाद उसे गिरफ्तार कर लिया गया। कोर्ट ने उसे आजीवन कारावास की सजा सुनाई थी। आज वही अपराधी जेल की दीवार कूद फरार हो गया था।
Three prison officers have been suspended with immediate effect in connection with the jailbreak of Govindachami from Kannur Central Prison. The DIG (Prisons), North Zone, has issued a suspension order. pic.twitter.com/oiMZymbUso
— AIBS News 24 (@AIBSNews24) July 25, 2025
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कहां-कहां हुई चूक
कन्नूर सेंट्रल जेल के प्रमुख एडीजीपी बलराम कुमार उपाध्याय ने बताया कि इस मामले की जांच इस आधार पर की गई है कि आखिर जेल अधिकारियों की तरफ से कहां-कहां चूक हुई है। उन्होंने बताया कि गोविंदाचामी एक फुलप्रूफ प्लान के साथ जेल से फरार हुआ था। इस मामले की जांच कन्नूर रेंज के DIG करेंगे।
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डेढ़ महीने से कर रहा था प्लानिंग
गोविंदाचामी ने पुलिस को बताया कि वह लगभग डेढ़ महीने से भागने की जेल से योजना बना रहा था। गोविंदाचामी ने प्लानिंग के अनुसार, जेल से भागने की पूरी तैयारी कर ली थी। इसके लिए उसने अपना वजन कम कर दिया और चावल खाना छोड़ दिया। उसने अपनी दाढ़ी बढ़ाने के लिए जेल अधिकारियों से स्पेशल परमिशन ली; उसने कहा कि उसे शेविंग से एलर्जी है। इसके अलावा, उसने किसी तरह से काले कपड़े भी इंतजाम कर किया। मालूम हो कि काले कपड़े विचाराधीन कैदियों के लिए होते हैं।
उसने सावधानी से धारदार हथियार से लोहे की सलाखें काटी और कपड़े बदलकर जेल से भाग निकला। जेल की दीवारों को पार करने के लिए गोविंदाचामी ने जेल के चारों ओर बैरल छिपा दी थी। गोविंदाचामी ने ये काम इतनी सफाई से किया कि किसी का ध्यान उस पर नहीं गया।