विदेश मंत्रालय ने मंगलवार को प्रेस कॉन्फ्रेंस में जम्मू-कश्मीर मुद्दे पर भारत का रुख स्पष्ट किया। विदेश मंत्रायल के प्रवक्त रणधीर जायसवाल ने प्रेस कॉन्फ्रेंस में कहा कि पाकिस्तान को पीओके को खाली करना ही होगा। रणधीर जायसवाल ने कहा, ‘हमारा लंबे समय से राष्ट्रीय रुख रहा है कि केंद्र शासित प्रदेश जम्मू और कश्मीर से संबंधित किसी भी मुद्दे को भारत और पाकिस्तान को द्विपक्षीय रूप से हल करना होगा। इस नीति में कोई बदलाव नहीं आया है। लंबित मामला पाकिस्तान द्वारा अवैध रूप से कब्जाए गए भारतीय क्षेत्र को खाली करना है।’
भारत ने मध्यस्थता की बात को किया खारिज
रणधीर जायसवाल ने आगे कहा कि भारत ने मध्यस्थता की किसी भी बात को खारिज किया है। विदेश मंत्रालय के प्रवक्ता ने कहा कि हमारा लंबे समय से राष्ट्रीय रुख रहा है कि जम्मू-कश्मीर से संबंधित किसी भी मामले को भारत और पाकिस्तान को द्विपक्षीय रूप से सुलझाना होगा। केवल एक ही बात है जिसे सुलझाए जाने की जरूरत है, वह है पीओके की वापसी। उन्होंने कहा कि भारत पाकिस्तान के आतंकवाद के मुद्दे पर बातचीत तक आईडब्ल्यूटी को स्थगित रखेगा। जलवायु परिवर्तन और आधुनिक इंजीनियरिंग को भी ध्यान में रखना होगा।
#WATCH | Delhi: MEA Spokesperson Randhir Jaiswal says, “We have a long-standing national position that any issues pertaining to the Union Territory of Jammu and Kashmir have to be addressed by India and Pakistan bilaterally. That stated policy has not changed. The outstanding… pic.twitter.com/gsbwsFF36l
— ANI (@ANI) May 13, 2025
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सीजफायर के लिए पाकिस्तान ने की थी पहल
विदेश मंत्रालय ने यह भी बताया कि 10 मई को भारत और पाकिस्तान के डीजीएमओ के बीच बातचीत के बाद संघर्षविराम पर सहमति बनी थी। पाकिस्तान की ओर से इस बातचीत के लिए पहल उसी दिन सुबह 12:37 बजे किया गया था, क्योंकि तकनीकी कारणों से वे हॉटलाइन के माध्यम से भारत से संपर्क नहीं कर पा रहे थे। इसके बाद भारतीय डीजीएमओ की उपलब्धता के आधार पर 15:35 बजे कॉल तय की गई। भारत ने साफ किया कि यह पाकिस्तान की मजबूरी थी, क्योंकि उसी दिन सुबह भारतीय वायुसेना ने पाकिस्तान के प्रमुख वायुसेना ठिकानों पर प्रभावी हमले किए थे।
विदेश मंत्रालय ने यह भी स्पष्ट किया कि अन्य देशों के साथ बातचीत में भारत ने एक ही संदेश दिया कि वह 22 अप्रैल के आतंकी हमले के जवाब में केवल आतंकवादी ढांचे को निशाना बना रहा है। यदि पाकिस्तानी सेना गोली चलाएगी, तो भारतीय सेना भी मुहंतोड़ जवाब देगी। लेकिन अगर पाकिस्तान रुकेगा तो भारत भी रुकेगा। यही संदेश पाकिस्तान को ‘ऑपरेशन सिंदूर’ शुरू होते समय भी दिया गया था, जिसे उस समय उन्होंने अनदेखा कर दिया।
भारत ने ट्रंप के दावे का किया खंडन
अमेरिका के पूर्व राष्ट्रपति डोनाल्ड ट्रंप के कश्मीर पर कथित बयान को लेकर सवाल के जवाब में विदेश मंत्रालय ने दोहराया कि भारत का रुख स्पष्ट और अडिग है। जम्मू-कश्मीर से जुड़ा कोई भी मसला भारत और पाकिस्तान के बीच का द्विपक्षीय मुद्दा है। इस नीति में कोई बदलाव नहीं हुआ है। अमेरिकी राष्ट्रपति डोनाल्ड ट्रंप और व्यापार को लेकर विदेश मंत्रालय के प्रवक्ता रणधीर जायसवाल ने कहा, ‘7 मई को ऑपरेशन सिंदूर शुरू होने से लेकर 10 मई को गोलीबारी और सैन्य कार्रवाई बंद करने को लेकर सहमति बनने तक भारतीय और अमेरिकी नेताओं के बीच उभरते सैन्य हालात पर बातचीत हुई। इनमें से किसी भी चर्चा में व्यापार का मुद्दा नहीं उठा।’
#WATCH | Delhi: On US President Donald Trump and trade, MEA Spokesperson Randhir Jaiswal says, “From the time Operation Sindoor commenced on 7th May till the understanding on cessation of firing and military action on 10th May, there were conversations between Indian and US… pic.twitter.com/iBAoLpg8n5
— ANI (@ANI) May 13, 2025
आतंकवाद को मुहंतोड़ जवाब देना भारत का न्यू नॉर्मल
पाकिस्तान विदेश मंत्रालय के ताजा बयान पर रणधीर जायसवाल ने कहा, ‘हमने पाकिस्तानी पक्ष द्वारा दिए गए बयान को देखा है। एक ऐसा देश जिसने औद्योगिक पैमाने पर आतंकवाद को बढ़ावा दिया है, उसे यह सोचना चाहिए कि वह इसके परिणामों से बच सकता है, यह खुद को बेवकूफ बनाना है। भारत द्वारा नष्ट किए गए आतंकवादी बुनियादी ढांचे न केवल भारतीयों की बल्कि दुनिया भर में कई अन्य निर्दोष लोगों की मौत के लिए जिम्मेदार थे। यह अब एक न्यू नॉर्मल बन गया है। पाकिस्तान जितनी जल्दी इसे समझ लेगा, उतना ही बेहतर होगा।’
#WATCH | Delhi: On the latest statement made by the Pakistan Foreign Office, MEA Spokesperson Randhir Jaiswal says, “We have seen the statement made by the Pakistani side. That a nation which has nurtured terrorism on an industrial scale should think that it can escape the… pic.twitter.com/PlvvFQ4sCn
— ANI (@ANI) May 13, 2025
भारत सिंधु संधि तब तक स्थगित रखेगा जबतक पाकिस्तान आतंकवाद का साथ नहीं छोड़ता: MEA
विदेश मंत्रालय के आधिकारिक प्रवक्ता रणधीर जायसवाल ने कहा कि ‘सीसीएस (सुरक्षा मामलों की कैबिनेट समिति) के फैसले के बाद सिंधु जल संधि को स्थगित कर दिया गया है। मैं आपको थोड़ा पीछे ले जाना चाहूंगा। सिंधु जल संधि सद्भावना और मित्रता की भावना से संपन्न हुई थी, जैसा कि संधि की प्रस्तावना में निर्दिष्ट है। हालांकि, पाकिस्तान ने कई दशकों से सीमा पार आतंकवाद को बढ़ावा देकर इन सिद्धांतों को स्थगित रखा है। अब सीसीएस के फैसले के अनुसार, भारत संधि को तब तक स्थगित रखेगा जब तक पाकिस्तान सीमा पार आतंकवाद के लिए अपने समर्थन को विश्वसनीय और अपरिवर्तनीय रूप से त्याग नहीं देता। कृपया ध्यान दें कि जलवायु परिवर्तन, जनसांख्यिकीय बदलाव और तकनीकी परिवर्तनों ने धरातल पर भी नई वास्तविकताओं को जन्म दिया है।’
MEA official spokesperson Randhir Jaiswal says, “After the CCS (Cabinet Committee on Security) decision, the Indus Water Treaty has been put in abeyance. I would also like to take you back a little. The IWT was concluded in the spirit of goodwill and friendship as specified in… pic.twitter.com/MRDQni9BRP
— ANI (@ANI) May 13, 2025
UNSC 1267 समिति की बैठक में TRF को बेनकाब करेंगे
विदेश मंत्रालय के प्रवक्ता ने कहा कि कुछ ही दिनों में 1267 समिति की बैठक संयुक्त राष्ट्र में होने वाली है। हम पहले की तरह समिति को टीआरएफ (लश्कर-ए-तैयबा का एक मोर्चा) के बारे में याद दिलाएंगे, जो पहलगाम के लिए जिम्मेदार है।
बांग्लादेश में अवामी लीग पर प्रतिबंध पर क्या कहा?
विदेश मंत्रालय के प्रवक्ता ने बांग्लादेश में अवामी लीग पर प्रतिबंध को लेकर कहा कि उचित प्रक्रिया के बिना अवामी लीग पर प्रतिबंध एक चिंताजनक घटनाक्रम है। एक लोकतंत्र के रूप में भारत स्वाभाविक रूप से लोकतांत्रिक स्वतंत्रताओं में कटौती और सिकुड़ते राजनीतिक माहौल से चिंतित है। हम बांग्लादेश में स्वतंत्र, निष्पक्ष और समावेशी चुनाव जल्द से जल्द कराने का पुरजोर समर्थन करते हैं।