विनय सिंह, नई दिल्ली: ऑल इंडिया इंस्टीट्यूट ऑफ मेडिकल साइंसेज (एम्स) का सर्वर तीसरे दिन भी बंद रहा। इसके बाद राष्ट्रीय जांच एजेंसी (एनआईए) इसकी जांच में शामिल हो गई है। इंडिया कंप्यूटर इमरजेंसी रिस्पॉन्स टीम (सीईआरटी-आईएन), दिल्ली पुलिस, इंटेलिजेंस ब्यूरो, केंद्रीय जांच ब्यूरो (सीबीआई) और गृह मंत्रालय (एमएचए) के प्रतिनिधि पहले से ही घटना की जांच कर रहे हैं।
सभी काम मैनुअल करने होंगे
जांच एजेंसियों की सिफारिशों के बाद एम्स दिल्ली में इंटरनेट सेवाएं बंद रहेंगी। एम्स ने गुरुवार को SOP (एसओपी) का एक नया सेट जारी किया, जिसमें कहा गया है कि ई-अस्पताल बंद होने तक अस्पताल में मरीजों को भर्ती करना, छुट्टी देना और स्थानांतरित करना मैनुअल रूप से किया जाएगा। ई-अस्पताल सुविधा डाउन होने तक मैनुअल मोड में पालन किए जाने वाले नवीनतम एसओपी जारी कर दिए गए हैं। अस्पताल ने कहा कि यह काम हाथ से किया जाना चाहिए।
बुधवार से शुरू हुई सर्वर में खराबी
इसमें आगे कहा गया है कि मृत्यु या जन्म प्रमाण पत्र कार्य समिति के निर्देशानुसार फॉर्म पर मैनुअल रूप से बनाए जाने हैं। एसओपी में यह भी कहा गया है कि केवल जरूरी नमूने भेजे जाने हैं और वह भी भरे हुए फॉर्म के साथ। कार्य समिति के निर्देश के अनुसार फॉर्म के साथ केवल तत्काल जांच भेजी जानी है। इससे पहले बुधवार को एम्स ने अपने सर्वर में खराबी की सूचना दी थी। सर्वर आज सुबह 7 बजे से डाउन है और अधिकारी मैनुअल रूप से ओपीडी और सैम्पल कलेक्शन कर रहे हैं।
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