GST News : नरेंद्र मोदी की सरकार ने जुलाई 2017 को नई टैक्स व्यवस्था लागू की थी जिसे जीएसटी यानी गुड्स एंड सर्विसेज टैक्स नाम दिया था। कांग्रेस समेत अन्य विपक्षी दल जीएसटी का विरोध करते आए हैं। लेकिन, अब खुद मोदी सरकार के एक वरिष्ठ मंत्री इसके खिलाफ आ गए हैं। केंद्रीय सड़क परिवहन एवं राजमार्ग मंत्री नितिन गडकरी ने वित्त मंत्री निर्मला सीतारमण को एक पत्र लिखा है जिसमें उन्होंने जीवन बीमा और मेडिकल बीमा से जीएसटी हटाने की मांग की है। बता दें कि इनके प्रीमियम पर 18 प्रतिशत की दर से जीएसटी लगाई जाती है।
गडकरी ने अपनी चिट्ठी में नागपुर मंडल जीवन बीमा निगम कर्मचारी संघ की चिंताओं पर बात की है। उन्होंने कहा कि लाइफ इंश्योरेंस पर जीएसटी लगाना जीवन की अनिश्चितताओं पर टैक्स लगाने जैसा है। कर्मचारी संघ की भी यही मांग है कि जीवन बीमा और मेडिकल बीमा के प्रीमियम पर जीएसटी नहीं होनी चाहिए। बता दें कि विपक्षी दल लंबे समय से जीएसटी का विरोध करते आए हैं लेकिन यह पहली बार हुआ है जब भाजपा के किसी इतने वरिष्ठ नेता ने ही इसके खिलाफ आवाज उठाई है। अब देखना ये है कि केंद्र सरकार इस पर क्या कदम उठाती है।
उल्लेखनीय है कि जीएसटी के विरोध में खुद नितिन गडकरी का आवाज उठाना भाजपा के लिए संकट का कारण बन सकता है। केंद्र सरकार इसे लेकर क्या कहती है ये तो समय ही बताएगा लेकिन इससे पहले जान लीजिए नितिन गडकरी जीएसटी के विरोध में क्यों उतरे हैं, जनता को इससे क्या फायदा होगा, कांग्रेस नितिन गडकरी के इस पत्र को कैसे भुना रही है, जीएसटी व इंश्योरेंस क्या हैं इनमें क्या संबंध है और पहले जीएसटी का कितना विरोध हुआ है, इन सभी सवालों के जवाब जानिए इस स्पेशल वीडियो में। पांच पॉइंट्स में समझिए यह पूरा मामला।