Union Budget 2025: एक फरवरी को पेश होने वाले बजट से सबसे बड़ी उम्मीद इनकम टैक्स को लेकर है। लोग चाहते हैं कि वित्तमंत्री उन्हें टैक्स में कुछ राहत दें ताकि उनके हाथ में कुछ ज्यादा पैसे बच सकें। इंडस्ट्री एक्सपर्ट्स ने भी सरकार को इनकम टैक्स में कटौती के सुझाव दिए हैं। इन सबके बीच , पूर्व RBI गवर्नर का कहना है कि इनकम टैक्स में कटौती नहीं की जानी चाहिए।
यहां होना चाहिए निवेश
भारतीय रिजर्व बैंक (RBI) के पूर्व गवर्नर रघुराम राजन का कहना है कि बजट में इनकम टैक्स में कटौती नहीं की जानी चाहिए। इसके बजाए दीर्घकालिक समृद्धि को बढ़ावा देने के लिए शिक्षा, स्वास्थ्य सेवा और रोजगार सृजन पर निवेश बढ़ाया जाना चाहिए। इंडिया टुडे की रिपोर्ट के अनुसार, दावोस में विश्व आर्थिक मंच (WEF) के दौरान, राजन ने कहा कि उपभोग को बढ़ावा देने के लिए कर कटौती आकर्षक लग सकती है, लेकिन मौजूदा वित्तीय स्थिति में ऐसे उपायों के लिए बहुत कम गुंजाइश है।
अच्छी नहीं है आर्थिक स्थिति
पूर्व RBI गवर्नर ने केंद्र और राज्य सरकारों के संयुक्त घाटे पर प्रकाश डालते हुए कहा कि देश की वित्तीय स्थिति खास अच्छी नहीं है। सावधानीपूर्वक विचार किए बिना खर्च को और बढ़ाने से ऋण का स्तर अस्थिर (Unsustainable Debt Levels) हो सकता है। राजन ने सुझाव दिया कि इसके बजाए ह्यूमन कैपिटल डेवलपमेंट पर प्रभावी सार्वजनिक व्यय से बेहतर परिणाम मिलेंगे।
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जॉब क्रिएशन ज्यादा बड़ा मुद्दा
उन्होंने कहा कि यह समय टैक्स कटौती के बारे में ज्यादा सोचने का नहीं है। हमें हर लेवल पर ह्यूमन कैपिटल की गुणवत्ता बढ़ाने पर ध्यान केंद्रित करना होगा, इससे देश का भविष्य समृद्ध होगा। रघुराम राजन ने कहा कि टैक्सेशन बड़ा मुद्दा नहीं है। यह सही है कि हर बार इसकी समीक्षा होनी चाहिए, लेकिन मेरा मानना है कि अधिक महत्वपूर्ण मुद्दा यह है कि हम जॉब क्रिएशन को कैसे बढ़ावा दे सकते हैं।
क्या कहते हैं दूसरे एक्सपर्ट्स?
तमाम एक्सपर्ट्स सरकार को बजट में व्यक्तिगत आयकर में कटौती का सुझाव दे चुके हैं। उनका कहना है कि खपत और मांग को मजबूती प्रदान करने के लिए ऐसा करना जरूरी है। इनकम टैक्स में छूट से लोगों के पास ज्यादा पैसा बचेगा और वह खर्चा भी ज्यादा करेंगे। इससे खपत और मांग बढ़ेगी और अर्थव्यवस्था को सहारा मिलेगा। उनका यह भी कहना है कि टैक्स कटौती से बाजार में मांग बढ़ेगी, जिससे सरकार के राजस्व में कमी नहीं आएगी। लेकिन रघुराम राजन ने इससे बिल्कुल विपरीत राय जाहिर की है।