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Gold Rate Today: श्राद्ध में भी क्यों लगातार महंगा हो रहा सोना? 4 प्वाइंट्स में समझें इसकी इनसाइड स्टोरी

Gold Rate why Increase even during Shraddha: हिंदू परंपरा में श्राद्ध के दिनों में सोने की खरीददारी अशुभ मानी जाती है, इसके बावजूद सोने की कीमत में लगातार इजाफा हो रहा है, इसके बावजूद निवेशक सोने की ओर से आकर्षित हो रहे हैं। 11 सितंबर को भारत में 22 कैरेट सोने की कीमत एक लाख के पार हो चुकी है। जानें, श्राद्ध में भी क्यों लगातार महंगा हो रहा सोना?

Author Written By: News24 हिंदी Author Published By : Vijay Jain Updated: Sep 11, 2025 13:36
Gold Rate | Good Returns | GST Reforms
GST की दरें बदलने के बीच सोने के दामों में इजाफा हुआ है।

Gold Rate why Increase even during Shraddha: श्राद्ध के दिनों में आमतौर पर सोने की कीमतें कम होने के बावजूद भी गोल्ड ज्वेलरी की डिमांड कम रहती है, क्योंकि इन दिनों सोने की खरीददारी शुभ नहीं मानी जाती। सितंबर 2025 में श्राद्ध के बावजूद सोने की कीमतें लगातार बढ़ रही हैं। 11 सितंबर को 24 कैरेट गोल्ड की कीमत एक लाख 10 रुपये रही, वहीं, 22 कैरेट गोल्ड की कीमत एक लाख 6 हजार रुपये पर पहुंची। 18 कैरेट गोल्ड के दाम 88 हजार 400 रुपये रहे। ग्लोबल और इकॉमिक कारण इसके लिए मुख्य तौर पर जिम्मेदार हैं। चाहे वह भारत में डॉलर के मुकाबले रुपये की कमजोरी हो या यूक्रेन-रूस युद्ध और अमेरिका-चीन व्यापार संबंध, यह भी सोने की कीमतों को उपर की ओर धकेलते हैं। विस्तार से जानते हैं।

ट्रंप ने पार्टनर देशों को दी टैरिफ से छूट

अमेरिकी राष्ट्रपति डोनाल्ड ट्रंप ने पार्टनर देशों के लिए सोने समेत 45 चीजों पर टैरिफ छूट का ऐलान किया। इसे लेकर हुए समझौते पर ट्रंप ने साइन कर दिए हैं। इस आदेश के तहत उन देशों को टैरिफ से छूट मिलेगी जो अमेरिका के साथ व्यापारिक समझौते करते हैं। टैरिफ से छूट सोमवार 8 सितंबर से लागू होगी। अमेरिकी ट्रेड लॉस को कम करने के लिए ट्रंप ने यह कदम उठाया है। ट्रंप के इस कदम ने सोने को बल दिया है।

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ब्याज दरें कम होने की उम्मीद ने बढ़ाई डिमांड

अमेरिकी फेडरल रिजर्व के इस महीने ब्याज दरें कम होने की उम्मीद ने भी सोने की डिमांड को बढ़ा दिया। सोने को सुरक्षित निवेश माना जा जाता है, इसलिए जब भी ब्याज दरें कम होने की उम्मीद होती है तो सोने की डिमांड बढ़ जाती है। इंडिया बुलियन एंड ज्वैलर्स एसोसिएशन (IBJA) की उपाध्यक्ष अक्षा कांबोज भी सोने को सेफ-हेवन एसेट (सुरक्षित निवेश) मानती हैं।

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ग्लोबल मार्केट में महंगा हो रहा सोना

भारत के साथ साथ विदेशी बाजार में भी सोने की कीमतें लगातार बढ़ रही हैं। सोने की कीमतें डॉलर में तय होती हैं और 2025 में डॉलर कमजोर हुआ है। जापानी येन के मुकाबले भी अमेरिकी डॉलर की कीमत कम हुई है। डॉलर की कीमत कम होने के कारण विदेशी करंसी में इसकी कीमत कम होती है। निवेशकों के लिए जब सोना सस्ता होता है तो इसकी डिमांड बढ़ जाती है।

सोने के दाम बढ़ने के कुछ कारण यह भी

  • अमेरिकी टैरिफ नीतियों और ट्रेड टेंशन के चलते कारण ग्लोबल इकॉनोमिक अनिश्चितता बढ़ रही है, इसलिए कीमत बढ़ने के बावजूद सोने में निवेश बढ़ रहा है, जिसके कारण दाम भी बढ़ रहे हैं।
  • बड़े देशों में महंगाई बढ़ने के साथ आर्थिक मंदी की आशंका भी बढ़ती है, इसलिए निवेशक सोने में निवेश ज्यादा सुरक्षित मानते हैं। सोने की कीमतों का अमेरिकी डॉलर से उल्टा संबंध है। डॉलर के मजबूत होने से सोने की कीमतें कम होती हैं।
  • दो देशों के युद्ध के हालात के चलते सोने की मांग कम होती है, क्योंकि संकट के समय लोग सोना खरीदने में नहीं बेचने पर विश्वास करते हैं। वैश्विक शांति होने पर सोने की मांग कम होती हैं। स्थिरता बढ़ती है तो सोना सस्ता होता है।
  • अमेरिकी फेडरल रिजर्व और भारतीय रिजर्व बैंक (RBI) की मौद्रिक नीतियां सोने की कीमतों को प्रभावित करती हैं। अगर ब्याज दरें कम नहीं होती तो निवेशक सोने से हटकर ब्याज देने वाले एसेट्स (जैसे बॉन्ड) की ओर जा सकते हैं।

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First published on: Sep 11, 2025 01:20 PM

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