नई दिल्ली. केंद्रीय वित्त मंत्री निर्मला सीतारमण ने शनिवार को कहा कि बैंकों और नियामकों के पास 1.84 लाख करोड़ रुपये की वित्तीय संपत्तियां बिना दावे के पड़ी हैं और अधिकारियों को यह सुनिश्चित करना होगा कि ये संपत्तियां उनके असली मालिकों तक पहुंचें.
सीतारमण ने गुजरात के वित्त मंत्री कनुभाई देसाई और बैंकों व वित्त मंत्रालय के वरिष्ठ अधिकारियों की उपस्थिति में गांधीनगर से तीन महीने के “आपकी पूंजी, आपका अधिकार” अभियान की शुरुआत की.
बिना दावे के पड़ी हैं संपत्तियां
इस अवसर पर सीतारमण ने कहा कि केंद्रीय वित्त एवं कॉरपोरेट मामलों के मंत्री ने कहा कि बैंकों और नियामकों के पास बैंक जमा, बीमा, भविष्य निधि या शेयरों के रूप में 1.84 लाख करोड़ रुपये की वित्तीय परिसंपत्तियां बिना दावे के पड़ी हैं.
बैंकों को दी ये सलाह
उन्होंने अधिकारियों से तीन महीने तक चलने वाले अभियान के दौरान इन लावारिस संपत्तियों को उनके असली मालिकों तक पहुंचाने के लिए तीन ‘ए’ – जागरूकता, पहुंच और कार्रवाई – पर काम करने का आग्रह किया.
सीतारमण ने कहा कि लावारिस धनराशि बैंकों, आरबीआई या आईईपीएफ (निवेशक शिक्षा एवं संरक्षण कोष) के पास पड़ी है. हमें इन निधियों के असली मालिकों और दावेदारों का पता लगाना होगा और उन्हें धनराशि सौंपनी होगी.
1,84,000 करोड़ रुपये पड़े हैं अनक्लेम्ड
उन्होंने कहा कि वित्तीय सेवा विभाग (डीएफएस) के अनुसार, 1,84,000 करोड़ रुपये वहां पड़े हैं. यह सुरक्षित है. मैं आपको आश्वस्त कर सकती हूं कि यह पूरी तरह सुरक्षित है. आप जब चाहें, उचित कागजात के साथ आएं. आपको पैसा दिया जाएगा. सरकार इसकी संरक्षक है. यह बैंक के जरिए या सेबी के जरिए हो सकता है. यह किसी अन्य एजेंसी के जरिए हो सकता है. लेकिन यह सुरक्षित अभिरक्षा में पड़ा है.
मंत्री ने कहा कि अगर किसी कारणवश संपत्ति लंबे समय तक बिना दावे के रहती है, तो इसे एक संस्था से दूसरी संस्था में स्थानांतरित कर दिया जाता है. उन्होंने कहा कि बैंकों से, जमा राशि के मामले में यह आरबीआई के पास जाता है और स्टॉक या इसी तरह की संपत्तियों के मामले में, यह सेबी से “किसी अन्य केंद्र या आईईपीएफ” के पास जाता है.
आरबीआई ने मदद के लिए बनाया पोर्टल
सीतारमण ने कहा कि RBI ने UDGAM (अनक्लेम्ड डिपॉजिट्स गेटवे टू एक्सेस इन्फॉर्मेशन) पोर्टल बनाया है. इसलिए, यह एक अनक्लेम्ड एरिया से दूसरे अनक्लेम्ड क्षेत्र में जा रहा है, जहां यह अनक्लेम्ड डिपॉजिट जमा है. जैसे ही आप दावा करते हैं, आपको यह मिल जाता है. इसलिए, मुझे सच में लगता है कि अब समय आ गया है कि हम सभी इस बात को सभी तक पहुंचाएं.
जागरूकता के मोर्चे पर, मंत्री ने सरकारी और बैंक अधिकारियों से लोगों में जागरूकता पैदा करने का आग्रह किया ताकि वे आगे आएं और अपनी सही संपत्तियों, जैसे कि परिपक्वता के बावजूद अनक्लेम्ड पड़ी बीमा पॉलिसियों, का दावा करें.
उन्होंने कहा कि पहला A है जागरूकता (Awareness) जागरूकता पैदा करें. उन्हें बताएं कि आपका पैसा वहां पड़ा है, इस दस्तावेज के साथ आएं और इसे ले जाएं. आप एम्बेसडर बन सकते हैं और लोगों को बता सकते हैं कि क्या उन्होंने अभी तक अपनी सही संपत्ति का दावा नहीं किया है. बस उन्हें दस्तावेज़ ढूंढ़ने और पोर्टल पर पंजीकरण करने के लिए कहें.