Alcohol Detection System: भारत में हर साल शराब पीकर गाड़ी चलाने की वजह से होने वाली दुर्घटनाओं में हजारों लोगों की मौत हो जाती है। कई देशों में लोगों को शराब के नशे में गाड़ी चलाने से रोकने के लिए सख्त नियम बनाए गए हैं। लेकिन भारत में पश्चिमी देशों की तुलना में नियम उतने सख्त नहीं हैं। इससे देश में शराब पीकर गाड़ी चलाने के लाखों मामले सामने आते है और देश में हजारों दुर्घटनाएं भी होती हैं। इन हादसों में कई लोगों की जान चली जाती है।
भारत में मोटर वाहन कानूनों में सुधार और परिवर्तन के बाद भी हर साल यातायात उल्लंघन के लाखों मामले सामने आते हैं। केंद्र सरकार इस संख्या को कम करने पर जोर दे रही है। इस क्रम में भारत में वाहनों को अल्कोहल डिटेक्शन सिस्टम (Alcohol Detection System) से लैस किए जाने की मांग जोर पकड़ रही है। वहीं, अमेरिका में भी सभी कारों में यह फीचर देना शुरू करने की मांग की गई है।
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चालक नशे में है या नहीं? पता लगाएगा ये डिटेक्शन सिस्टम
शराब पीकर गाड़ी चलाने के मामलों को कम करने के लिए अब कई संस्थाएं आगे आ रही हैं। हाल ही में, यूएस नेशनल ट्रांसपोर्टेशन सेफ्टी बोर्ड (US National Transportation Safety Board) ने एक ऐसी तकनीक विकसित की है जो यह जांच करेगी कि कार में सवार होने के बाद ड्राइवर नशे में है या नहीं।
इस डिटेक्शन सिस्टम को सभी तरह की कारों के सभी वेरिएंट्स में स्टैंडर्ड फीचर के तौर पर पेश किया जा सकता है। इस डिटेक्शन सिस्टम के लिए कार में कई कैमरों और सेंसर का इस्तेमाल किया गया है। कार में लगे कैमरे ड्राइवर के इशारों और प्रतिक्रियाओं पर नजर रखेंगे।
ड्राइवर के नशे में होने पर ये सिस्टम बंद कर देगा कार
अगर ड्राइवर नशे में है और वह कार में ड्राइविंग सीट पर बैठता है, तो Alcohol Detection System उसके हावभाव में बदलाव का पता लगाएगा। इसके बाद यह ड्राइवर को चेतावनी देने के लिए जोर से अलार्म बजाएगा और कार को धीमा कर बंद कर देगा।
यह सिस्टम भी उस सिस्टम की तरह काम करेगा जो यह जांचने के लिए बनाया गया है कि कार में सवार ड्राइवर सो रहा है या नहीं। इस प्रणाली को और प्रभावी बनाने के लिए रिसर्च जारी है। एक्सपर्ट्स को उम्मीद है कि टेस्टिंग पूरी होने के बाद इस सिस्टम को सभी कारों में पेश किया जा सकता है, और इसका इस्तेमाल दुर्घटनाओं को रोकने में किया जा सकता है।
अमेरिका में हर दिन शराब पीकर गाड़ी चलाने से 32 लोगों की मौत
एनटीएसबी (NTSB) की रिपोर्ट के मुताबिक, अमेरिका में हर दिन 32 लोग शराब पीकर गाड़ी चलाने के कारण अपनी जान गंवाते हैं। एक साल में शराब पीकर गाड़ी चलाने के मामलों में मरने वालों की संख्या 11 हजार से ज्यादा है। 2021 में अमेरिका में शराब पीकर गाड़ी चलाने के मामलों में 5 फीसदी का इजाफा हुआ था। भारत में भी यह आंकड़े बहुत अधिक हैं। भारत में हर साल इस मामले में की गई कार्रवाई के आंकड़ों को देखने से यह बात साफ हो जाती है कि यहां ज्यादातर लोग अल्कोहल कानून का पालन नहीं करते।
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2020 में भारत में 12 लाख लोगों ने सड़क हादसों में अपनी जान गंवाई
भारत में शराब पीकर गाड़ी चलाने से सड़क पर चलने वाले वाहन चालकों के साथ-साथ पैदल चलने वालों की भी जान को खतरा है। 2020 में, भारत में नशे में गाड़ी चलाने से होने वाली दुर्घटनाओं में 8,300 से अधिक लोगों की जान चली गई। दुनिया के आंकड़ों पर गौर करें तो पता चलेगा कि भारत में सड़क हादसों में मरने वालों की संख्या बहुत ज्यादा है। भारत में हर साल 1.5 लाख लोग सड़क हादसों में अपनी जान गंवाते हैं। 2020 में भारत के सड़क हादसों में 1,20,806 लोगों की जान चली गई।
भारत में 69 प्रतिशत दुर्घटनाएं ओवरस्पीडिंग के कारण होती हैं
ओवरस्पीडिंग भारत में सबसे आम सड़क दुर्घटना का मामला है। भारत में 69.3 प्रतिशत वाहन दुर्घटनाओं के लिए ओवरस्पीडिंग जिम्मेदार है। जबकि गलत साइड से वाहन चलाने से होने वाले हादसों की संख्या 5.6 प्रतिशत है। भारत में सड़क हादसों की संख्या में सबसे ज्यादा दोपहिया वाहन दुर्घटनाएं हैं। कार, जीप और टैक्सी जैसे हल्के वाहन इस संबंध में दूसरे स्थान पर हैं।
(ये रिपोर्ट News24 website के साथ इंटर्नशिप कर रहे देवांश शंखधार ने तैयार की है।)
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