Dwadash Drishti Yog: सूर्य और शुक्र, दोनों भिन्न ग्रहों को एक-दूसरे का शत्रु माना जाता है। हालांकि, कुछ विशेषज्ञ इन्हें शत्रु ग्रह नहीं मानते हैं, लेकिन कई शास्त्रों में इन्हें एक-दूसरे का मित्र नहीं माना गया है। सूर्य को जहां मान-सम्मान, ऊर्जा, आत्मा और पिता का दाता माना जाता है, वहीं शुक्र देव धन, भाग्य, करियर, भौतिक सुख और सुंदरता का प्रतिनिधित्व करते हैं। जब भी सूर्य और शुक्र ग्रह एक-दूसरे से ठीक 30 डिग्री के कोणीय संरेखण में स्थित होते हैं, तब-तब ‘द्विद्वादश दृष्टि योग’ बनता है, जिसे ‘द्विद्वादश योग’ और ‘द्विद्वादश दृष्टि’ भी कहा जाता है।
द्रिक पंचांग के अनुसार, 6 सितंबर 2025 को दोपहर 3 बजे से सूर्य और शुक्र एक-दूसरे से 30° पर स्थित होंगे, जिससे ‘द्विद्वादश दृष्टि योग’ बनेगा। इस योग को शुभ माना जाता है, जिसका अधिकतर राशियों पर शुभ प्रभाव पड़ता है। चलिए जानते हैं किन-किन राशियों के भाग्य को ‘द्विद्वादश दृष्टि योग’ के साथ से बल मिलेगा।
मेष राशि
सूर्य-शुक्र के ‘द्विद्वादश दृष्टि योग’ की सकारात्मक ऊर्जा से मेष राशिवालों के जीवन में खुशियों का वास होगा। कारोबारी वर्ग खुद को आर्थिक रूप से समृद्ध महसूस करेंगे। जो लोग नौकरी कर रहे हैं, उन्हें समाज में ऊंचा मुकाम हासिल करने के कई सुनहरे अवसर मिलेंगे। छात्रों का विदेश यात्रा का सपना ‘द्विद्वादश दृष्टि योग’ के शुभ प्रभाव से जल्द पूरा हो सकता है।
ये भी पढ़ें- Video: 15 सितंबर के बाद इस राशिवालों को मिलेगी तरक्की, सूर्य-बुध और मंगल-बृहस्पति देंगे साथ
कर्क राशि
‘द्विद्वादश दृष्टि योग’ के सकारात्मक प्रभाव से कर्क राशिवालों के जीवन में स्थिरता बनी रहेगी। हाल के दिनों में जिन जातकों का दिल टूटा है, वो सोलो ट्रिप पर जाने का फैसला कर सकते हैं। उम्मीद है कि इससे आपका मेंटल स्ट्रेस कम होगा। नौकरीपेशा जातक किसी अहम प्रोजेक्ट का हिस्सा बन सकते हैं, जिससे उन्हें अपनी कार्यशैली को सुधारने का मौका मिलेगा। वहीं, कारोबारियों को चालाकी से लिए गए फैसलों से लाभ होगा।
तुला राशि
मेष और कर्क के अलावा तुला राशिवालों के जीवन में भी सूर्य-शुक्र के ‘द्विद्वादश दृष्टि योग’ से लाभ होगा। धन कमाने के नए अवसर प्राप्त होंगे। साथ ही पुराना निवेश लाभ पहुंचाएगा। जो लोग रोजगार की तलाश में हैं, उन्हें अपनी ईमानदारी के दम पर रोजगार मिल सकता है। वैवाहिक जीवन में संतुलन बना रहेगा। आने वाले दिनों में आपके परिवार में कोई नया सदस्य जुड़ सकता है। इसके अलावा मामूली मौसमी बीमारियां तनाव नहीं बढ़ाएंगी।
ये भी पढ़ें- Kendra Drishti Yog: मंगल-गुरु के ‘केंद्र दृष्टि योग’ से 3 राशियों को अचानक होगा लाभ, मन भी रहेगा खुश
डिस्क्लेमर: यहां दी गई जानकारी ज्योतिष शास्त्र पर आधारित है तथा केवल सूचना के लिए दी जा रही है। News24 इसकी पुष्टि नहीं करता है।