Aaj Ka Panchang 7 February 2025: आज 7 फरवरी, 2025 को माघ माह का 25वां दिन है और आज इस माह के शुक्ल पक्ष की दशमी तिथि है। आज दिनमान यानी दिन की लंबाई 10 घंटे 59 मिनट 42 सेकंड की है, जबकि रात्रिमान 12 घंटे 59 मिनट 45 सेकंड की होगी। वैदिक ज्योतिष के अनुसार, यह शिशिर ऋतु है और सूर्य वर्तमान में उत्तरायण होकर गोचर कर रहे हैं।
आज माघ माह की गुप्त नवरात्रि का दसवां दिन है। आइए जानते हैं, 7 फरवरी के पंचांग के पांचों अंग यानी तिथि, नक्षत्र, वार, योग और करण की क्या स्थितियां हैं और आज का कौन-सा समय आपके लिए शुभ सिद्ध होने के योग दर्शा रहा है और आज का भद्रा काल और राहु काल क्या है?
आज का पंचांग
तिथि: आज 7 फरवरी, 2025 को 09:26 PM तक दशमी तिथि है। इसके बाद एकादशी तिथि शुरु हो जाएगी। एक पूर्णा तिथि होने के कारण दशमी तिथि को अधिकांश कार्यों के लिए शुभ माना जाता है, इसलिए यह शुभ मुहूर्तों में सम्मिलित है। साथ ही इस तिथि का संयोग रवि योग से होने के कारण यह तिथि बेहद खास बन गई है।
नक्षत्र: आज 7 फरवरी को शाम के 06:40 PM तक रोहिणी नक्षत्र का योग व्याप्त रहेगा। इसके बाद मृगशिरा नक्षत्र शुरू होगा। रोहिणी और मृगशिरा दोनों ही नक्षत्र सभी प्रकार के शुभ कार्यों के लिए उत्तम माने गए हैं।
दिन/वार: आज दिन शुक्रवार है। आज का दिन देवी लक्ष्मी, दुर्गा, पार्वती, संतोषी माता सहित सभी देवी रूपों और दैत्याचार्य शुक्र को समर्पित है। यह दिन विशेष रूप से धन संबंधी उपायों और शुक्र ग्रह की शांति के लिए शुभ माना जाता है।
योग: आज शाम के 04:17 PM बजे तक इंद्र योग व्याप्त रहेगा। इसके बाद वैधृति योग आरंभ हो जाएगा। इंद्र योग अधिकांश शुभ कार्यों के लिए उत्तम है, लेकिन वैधृति को एक अशुभ योग माना जाता है।
करण: आज दिन एक 10:07 AM बजे तक तैतिल करण का प्रभाव रहेगा, इसके बाद गर करण की शुरुआत होगी, जो 09:26 PM बजे तक प्रभावी रहेगा। इसके बाद वणिज करण आरंभ हो जाएगा।
सूर्य-चंद्र गोचर
आज के पंचाग के उपर्युक्त इन 5 अंगों के साथ ही आज सूर्य और चंद्र गोचर की स्थिति इस प्रकार रहने योग हैं:
सूर्य गोचर: सूर्य मकर राशि में गोचर कर रहे हैं, जो शनि ग्रह के स्वामित्व वाली राशि है।
चन्द्र गोचर: आज चंद्रमा वृषभ राशि में गोचर कर रहे हैं। इस राशि में चंद्रमा उच्च के हो जाते हैं। इस राशि में चंद्रमा 6 जनवरी की 06:21 AM तक रहेंगे।
शुभ-अशुभ काल
आज शुभ मुहूर्तों की स्थितियां इस प्रकार रहने योग हैं:
ब्रह्म मुहूर्त: 05:21 AM से 06:13 AM
प्रातः सन्ध्या: 05:47 AM से 07:06 AM
अभिजित मुहूर्त: 12:13 PM से 12:57 PM
विजय मुहूर्त: 02:25 PM से 03:09 PM
गोधूलि मुहूर्त: 06:03 PM से 06:29 PM
सायाह्न सन्ध्या: 06:05 PM से 07:23 PM
अमृत काल: 03:34 PM से 05:07 PM
निशिता मुहूर्त: 12:09 AM, फरवरी 08 से 01:01 AM, फरवरी 08
रवि योग: आज पूरे दिन दिन रवि योग व्याप्त रहेगा।
आज अशुभ मुहूर्तों की स्थितियां इस प्रकार रहने योग हैं:
राहुकाल: आज राहु काल दोपहर बाद 11:13 AM से 12:35 PM तक रहने का योग है। हिन्दू धर्म में इस अवधि में कोई भी शुभ कार्य आरंभ करने की मनाही है।
यमगण्ड: 03:20 PM से 04:43 PM
गुलिक काल: 08:28 AM से 09:50 AM
दुर्मुहूर्त काल: 09:17 AM से 10:01 AM और 12:57 PM से 01:41 PM
विष घटी/वर्ज्य काल: 10:56 AM से 12:29 PM और 12:08 AM, फरवरी 08 से 01:42 AM, फरवरी 08
7 फरवरी 2025 के पर्व और त्योहार
आज माघ गुप्त नवरात्रि का दसवां दिन है। दश महाविद्याओं में से गुप्त नवरात्रि के दसवें दिन मां कमला की आराधना की जाती है, जबकि सामान्य रूप से दसवें दिन दुर्गा पूजा की जाती है। तंत्र साधना के लिए महत्वपूर्ण यह नवरात्रि 7 आज फरवरी 2025 को समाप्त हो जाएगी।
रोहिणी व्रत: साथ ही आज रोहिणी व्रत है, जो जैन समुदाय के लिए एक महत्वपूर्ण व्रत है। इसका पालन मुख्य रूप से महिलाएं अपने पति की दीर्घायु और सुख-समृद्धि के लिए करती हैं।
शुक्रवार का व्रत: शुक्रवार को मां लक्ष्मी, मां दुर्गा, मां पार्वती, संतोषी माता सहित सभी देवी स्वरूपों की पूजा करने का विधान है। इस दिन शुक्र ग्रह की शांति के लिए पाठ और विभिन्न उपाय भी किए जाते हैं।
आज की यात्रा टिप्स: आज पश्चिम दिशा में दिशाशूल होने के कारण, आपातकाल को छोड़कर आज इस दिशा में यात्रा करना शुभ नहीं है।
पंचांग का महत्व
पंचांग केवल तिथियों का कैलेंडर या टाइम टेबल नहीं, बल्कि सफलता और समृद्धि की दिशा में एक सटीक मार्गदर्शक है। जो लोग पंचांग को केवल एक धार्मिक परंपरा समझते हैं, वे इसकी वास्तविक शक्ति से अनजान हैं। यह निर्णय लेने की क्षमता को सशक्त बनाता है और सफलता के द्वार खोलता है। जब हम ब्रह्मांड की लय के अनुरूप कार्य करते हैं, तो बाधाएं स्वतः ही कम हो जाती हैं और उन्नति का मार्ग प्रशस्त होता है।
हिंदू पंचांग पांच प्रमुख तत्वों- वार, तिथि, नक्षत्र, योग और करण, का संतुलित संगम है। ये सभी तत्व मिलकर किसी भी कार्य के लिए अनुकूल या प्रतिकूल समय को दर्शाते हैं। विवाह, गृह प्रवेश, नामकरण, मुंडन, व्यापार प्रारंभ या अन्य शुभ कार्यों की सफलता के लिए पंचांग में बताए गए शुभ मुहूर्त का पालन किया जाता है।
इसलिए हिंदू धर्म में पंचांग को मात्र तिथियों और त्योहारों का कैलेंडर मानना इसकी गहराई को कम करके आंकना होगा। यह जीवन के हर शुभ कार्य की नींव रखता है और सही समय पर सही निर्णय लेने में सहायक होता है।
डिस्क्लेमर: यहां दी गई जानकारी ज्योतिष शास्त्र की मान्यताओं पर आधारित है तथा केवल सूचना के लिए दी जा रही है। News24 इसकी पुष्टि नहीं करता है।