France Riots: फ्रांस के राष्ट्रपति इमैनुएल मैक्रों ने 17 साल लड़के की हत्या के बाद हो रहे दंगों के लिए वीडियो गेम जिम्मेदार ठहराया है। देश में चल रही हिंसा पर चर्चा के लिए आयोजित एक संकट सुरक्षा बैठक के दौरान बोलते हुए मैक्रों ने कहा कि गिरफ्तार किए गए लोगों में से एक तिहाई ऐसे हैं जिनकी उम्र 14 से 18 साल के बीच है। ऐसा लगता है कि कुछ युवा सड़कों पर उन वीडियो गेम्स को फिर से जी रहे हैं, जिसने उन्हें एडिक्ट बना दिया है।
फ्रांसीसी राष्ट्रपति ने कहा कि बच्चों को घर पर रखने की जिम्मेदारी पैरेंट्स की है। हर किसी की मानसिक शांति के लिए यह महत्वपूर्ण है कि एक अभिभावक की जिम्मेदारी का पूरी तरह से पालन किया जाए। उन्होंने अभिभावकों से अपने बच्चों को हिंसा से दूर रखने के लिए कहा।
टिकटॉक और स्नैपचैट पर फैलाए गए भड़काऊ वीडियो
मैक्रों ने यह भी आरोप लगाया कि दंगे स्नैपचैट और टिकटॉक जैसे सोशल मीडिया प्लेटफॉर्म पर लाइव किए जा रहे थे। उन्होंने दंगों से संबंधित संवेदनशील वीडियो को हटाने का आग्रह किया है। मैक्रों ने कहा कि सोशल मीडिया पर ऐसे वीडियो बनाए गए, जिनसे हिंसा भड़की।
उन्होंने कहा कि सरकार सोशल मीडिया कंपनियों से उन लोगों की पहचान अधिकारियों के सामने उजागर करने के लिए कहेगी जो इन प्लेटफार्मों का इस्तेमाल अव्यवस्था फैलाने और हिंसा को बढ़ावा देने के लिए करते हैं।
Il y a une instrumentalisation inacceptable de la mort d’un adolescent alors que la période devrait être au recueillement et au respect. pic.twitter.com/6QAbUfPLkf
— Emmanuel Macron (@EmmanuelMacron) June 30, 2023
40 हजार सुरक्षाकर्मी तैनात, 875 गिरफ्तार
आंतरिक मंत्रालय के अनुसार, दंगों को रोकने के लिए 40 हजार सुरक्षा बलों को तैनात किया गया और रात भर में 875 लोगों को गिरफ्तार किया गया। पुलिस यूनियनों ने कहा है कि गिरफ्तार किए गए लोगों में से कई की उम्र सिर्फ 14 या 15 साल है। मैक्रों ने कहा कि दंगों को नियंत्रित करने के लिए अधिक पुलिस तैनात की जाएगी।
यह है पूरा मामला
मंगलवार 27 जून को नेन्तेरे की एक सड़क पर दो पुलिस अफसरों ने एक कार को रोका। बहस के दौरान पुलिस अफसर ने पिस्टल निकाली और ड्राइवर नाहेल के सिर में गोली मार दी। ड्राइवर ने गाड़ी तेजी से दौड़ाई और कुछ दूर जाकर दुर्घटना का शिकार हो गई। इससे उसकी मौत हो गई। इस घटना के बाद पुलिस अफसर को सस्पेंड कर दिया और उसे हिरासत में ले लिया गया। इसी घटना के विरोध में बीते तीन दिन से दंगे हो रहे हैं।
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