Donald Trump on Russia Oil: भारत और अमेरिका के बीच रूस से तेल खरीदने को लेकर तनाव बढ़ता जा रहा है। भारत ने रूस से तेल खरीदने को लेकर अपना रुख साफ कर दिया है। इसके साथ ही अमेरिका भारत को टैरिफ की धमकी देने लगा है। भारत के अलावा रूस से कई देश तेल खरीदते हैं। इसमें चीन का नाम भी शामिल है, लेकिन अमेरिका का चीन को लेकर दोहरा रवैया देखने को मिल रहा है। सवाल ये उठता है कि जब रूसी तेल के लिए भारत को अमेरिका धमकी दे सकता है, तो फिर चीन के मामले में चुप क्यों है?
चीन के साथ अमेरिका के रिश्ते
डोनाल्ड ट्रंप जिस तरह का दबाव भारत पर डाल रहा है, वैसा कुछ वह चीन के साथ नहीं कर रहा है। जबकि चीन भी भारत की तरह ही रूस से तेल खरीद रहा है। इस मामले पर विदेश मामलों के विशेषज्ञ रोबिंदर सचदेव ने एएनआई से बात की। उन्होंने कहा कि ‘पिछले कुछ दिनों से मह देख रहे हैं कि अमेरिका जिस तरह का प्रेशर भारत पर डाल रहा है वह चीन पर नहीं डाल रहा है।
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सभी जानते हैं कि चीन भी भारी मात्रा में रूस से तेल खरीद रहा है। 2024 की रिपोर्ट देखी जाए तो चीन ने 62.6 बिलियन डॉलर का रूस से तेल खरीदा था। वहीं, भारत ने 52.7 बिलियन डॉलर का तेल खरीदा था।
ट्रंप की भारत को टैरिफ बढ़ाने की धमकी
ट्रंप ने रूस के साथ बिजनेस करने को लेकर चेतावनी देते हुए कहा कि जो भी रूस से तेल खरीदेगा उस पर 100 फीसदी टैरिफ लगाया जाएगा। इस चेतावनी के बाद भी भारत ने रूस से तेल खरीदना जारी रखने की बात कही। इसके बाद डोनाल्ड ट्रंप ने भारत को धमकी दी कि रूस से तेल खरीदने की वजह से भारत पर अब और ज्यादा टैरिफ लगाया जाएगा।
रूस-यूक्रेन की जंग का जिक्र
इसके बाद फिर से ट्रंप ने सोशल मीडिया पर पोस्ट कर भारत पर टैरिफ लगाने की धमकी दी। उन्होंने भारत के रूस से तेल खरीदने पर कहा कि भारत इसे मुनाफे पर बेच रहा है, उन्हें इस बात की चिंता नहीं कि यूक्रेन में रूस के हमलों में कितने लोग मर रहे हैं।’ ट्रंप ने आगे कहा कि ‘इसी के चलते भारत पर अब अमेरिका और ज्यादा करेगा।’
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