नीमकाथाना जेल में एक कैदी पर अन्य 6 बंदियों ने जानलेवा हमला किया है। पीड़ित कैदी अशोक कुमार लांबा ने इस मामले में एफआईआर दर्ज करवाई है। अशोक कुमार के मुताबिक, वह शौचालय जा रहा था। इसी दौरान बैरक नंबर 5 के सामने कुलदीप उर्फ केडी, संदीप उर्फ सन्नी, सदाम हुसैन, विकास कुमार, कमलेश और श्रीराम बिजारणिया ने उस पर हमला कर दिया।
FIR दर्ज कराने के लिए भेजा पत्र
सभी ने मिलकर अशोक कुमार की लात-घूंसों से पिटाई की। इस हमले में अशोक की नाक और कंधे पर गंभीर चोटें आई हैं। ड्यूटी पर तैनात कर्मचारियों और अन्य कैदियों ने बीच-बचाव कर अशोक को बचाया। पीड़ित ने जेल प्रशासन को शिकायत दी है। इसके बाद उपकारापाल ने थाने में एफआईआर दर्ज करवाने के लिए पत्र भेजा है। पुलिस को भेजे गए पत्र में सभी 6 आरोपी कैदियों के खिलाफ कार्रवाई की मांग की गई है।
पीड़ित का कराया गया मेडिकल
जेलर रमेश कुमार पुरोहित ने बताया कि बंदी अशोक लंगर कार्य में सहयोग करता है। वह बैरक नंबर 6 के आगे शौच करने के लिए गया था, तभी बैरक नंबर 5 और 6 के कैदियों ने उस पर हमला कर दिया। शोर-शराबा सुनकर जेलर मौके पर पहुंचे और कैदियों के बीच बचाव किया। घटना की जानकारी पुलिस को दी गई। जेलर ने बताया कि पीड़ित का मेडिकल करवाया गया है।
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जोधपुर से सामने आया चौंकाने वाला मामला
जोधपुर सेंट्रल जेल में रेड मारने गए ट्रेनी IPS (SP) हेमंत कलाल, मजिस्ट्रेट और तहसीलदार को गेट से अंदर ही नहीं जाने दिया गया। करीब 20 मिनट तक तीनों गेट पर ही खड़े रहे और फिर वापस लौट गए। हेमंत कलाल ने कहा कि 30 जनवरी को गृह विभाग का आदेश है कि शाम के बाद और सुबह से पहले कार्रवाई कीजिए। इसके बाद हम जोधपुर सेंट्रल जेल पहुंचे लेकिन मेन गेट पर हमें 20 मिनट तक खड़ा रखा गया। कोई भी सामान छुपाने के लिए 20 मिनट बहुत होते हैं। गृह विभाग का आदेश और मजिस्ट्रेट साथ में हैं तो रोकने का कोई औचित्य नहीं था। इसके बारे में सभी उच्च अधिकारियों को जानकारी दे दी गई है।