टोंक: टोंक जिले में एक कांग्रेस नेता के साथ दुर्व्यवहार करने और धक्का देने के आरोप में तीन पुलिस अधिकारियों को निलंबित कर दिया गया है। पुलिस मुख्यालय से वृत्ताधिकारी व थानाधिकारी को सस्पेंड करने के आदेश जारी किए गए हैं।
सस्पेंड होने के बाद निवाई सीओ रुद्र प्रताप शर्मा ने बुधवार देर रात फेसबुक पर पोस्ट कर अपना दर्द बयां किया है। उन्होंने अपनी फेसबुक पर पोस्ट करते हुए लिखा- इस वर्दी को पाने का जुनून ऐसा था, काॅलेज में प्रवेश करते समय 18 वर्ष की आयु में सिपाही बन गया, पापा भी सिपाही थे तो बड़ा प्राउड फील करते थे कि बच्चा अपने पैरों पर खड़ा हो गया। कहीं न कही उनसी शिकन रही जीवन में कि एक अफसर घर में हो, मैं जाने-अनजाने यह महसूस कर रहा था, और निकल पड़ा अपनी राह पर।
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उन्होंने आगे लिखा- आज कुछ बन पाया सिर्फ उन सपनों की वजह से, जो मेरे पापा ने देखें, और उस मार्ग पर मैं चल सका। कभी आंख नीचे नहीं की मैंने। लोग आंखों में आंखें मिलाकर बात करते हैं, मैं जमीर निकाल कर बात करता हूं। सत्य, निष्ठा और ईमानदारी से कभी समझौता नहीं किया। इसलिए आज कोई भय नहीं है किसी का। एक बेग लेकर आया था, कल उसी लेकर निकलूंगा। गर्व हैं मैंने आज लोगों के लिए कुछ किया। जो जाम में फंसे वो यात्री जरूर दुआ दे रहे होंगे, जो समय पर सुरक्षित अपने घर जाए पाएं, वो सामने नहीं आएंगे, क्योंकि उनकी कोई जात, धर्म और संप्रदाय नहीं है, वो आम लोग है, खास होते थे तो शायद कुछ बोलते और उनसी सुनी भी जाती, जो सवाल खड़े कर रहे है ना, उनको प्रश्न के उत्तर का पता है। बस स्वीकार नहीं कर पा रहे हैं।
अजीब है वो बड़ी गाड़ी से चलने वाले मेरी टूटी चप्पल से परेशान है। किसी के खिलाफ नहीं लिख रहा हूं। मैं बहुत छोटा हूं, इन सबके लिए। मेरे में मन में द्वेष, ईष्या, घृणा नहीं है। बस प्रार्थना है कि अपने जमीर से वो पूछे वो, जो कुछ बनने का ख्वाब रखते हैं। क्या पुलिस गालिया देने के लिए है। क्या कल आपका भाई भर्ती होगा तो वो जिल्लत खाने के लिए, मैंने जो किया उनके ध्यान में रखकर किया, जिनका कोई नहीं था, और करता रहूंगा। मिलते रहेंगे सितम खुद्दारी की राह में। मैंने भी जीवन जीने का सलीखा सीख लिया। बिना किसी चाह में बस एक गम रह गया। आज दशहरा था, रावण को नहीं जीताना था।
उल्लेखनीय है कि टोंक के पूर्व जिला प्रमुख रामविलास चौधरी से बदसलूकी मामले ने राजनीतिक रंग ले लिया था। बदसलूकी करने की घटना का वीडियो बुधवार को वायरल हुआ था। इसके बाद मुख्यमंत्री कार्यालय के निर्देशानुसार पुलिस मुख्यालय द्वारा वृताधिकारी व थानाधिकारीको निलंबित कर दिया गया है। महानिदेशक पुलिस इंटेलिजेंस उमेश मिश्रा ने बताया कि मामले की अग्रिम जांच अजमेर रेंज महानिरीक्षक श्री रुपिंदर सिंघ को सौंपी गई है। जनप्रतिनिधि के साथ हुई अभद्रता को लेकर प्रथम दृष्टया दोषी पाए जाने पर वृताधिकारी निवाई रूद्रपकाश शर्मा ओर थानाधिकारी सदर निवाई आशुसिंह गुर्जर को निलंबित कर दिया गया है।
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