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पंजाब

पाक के प्लान पर भारी पड़ा पुलिस का शिकंजा, मान सरकार ने ड्रग तस्करों की कमर तोड़ी

Punjab News: पंजाब में पाकिस्तान ड्रोन के जरिए नशा और हथियार भेजने की साजिशें करता रहा है, लेकिन पिछले कुछ सालों में पंजाब पुलिस ने ड्रोन से नशा भेजने के नेटवर्क को तबाह कर दिया है। अब सीमा पार से आने वाले ड्रोन की तादाद लगातार कम हो रही है। ड्रोन के जरिए नशे की तस्करी को पूरी तरह खत्म करने के लिए पंजाब पुलिस एंटी-ड्रोन तकनीक भी तैनात कर रही है।

Author Written By: News24 हिंदी Author Edited By : Shabnaz Updated: Jul 21, 2025 13:17
Punjab CM
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Punjab News: आम आदमी पार्टी की पंजाब सरकार ने दिखा दिया है कि सीमा की सुरक्षा और युवा पीढ़ी को नशे से बचाना केवल भाषणों से नहीं, बल्कि जमीनी कार्रवाई से होता है। पिछले कुछ वर्षों में ड्रोन के जरिए नशा और हथियारों की तस्करी में तेजी से बढ़ोतरी हुई है। 2019 में 2, 2020 में 7, 2021 में 1 ड्रोन पकड़े गए। लेकिन 2022 में मान सरकार के आने के बाद ड्रोन पकड़ने की संख्या में जबरदस्त बढ़ोतरी दर्ज की गई, 2022 में 28, 2023 में 121, 2024 में रिकॉर्ड 294 और 2025 में 15 जुलाई तक 138 ड्रोन जब्त किए गए।

22 हजार से ज्यादा नशा तस्करों की गिरफ्तारी

2022 से लेकर 15 जुलाई 2025 तक कुल 591 ड्रोन पंजाब पुलिस ने जब्त किए। इसी दौरान पंजाब पुलिस ने युद्ध नशे विरुद्ध अभियान के तहत 22 हजार से ज्यादा नशा तस्करों को गिरफ्तार किया। ये आंकड़े सरकार की जमीनी कार्रवाई की गवाही देते हैं। ड्रोन, नशा, हथियार और तस्करों पर एक साथ रोक लगाने का यह पूरा फ्रेमवर्क बताता है कि मान सरकार न केवल सुरक्षा में चौकस है। बल्कि नशे और तस्करी के खिलाफ जीरो टॉलरेंस का स्पष्ट संदेश दे रही है। लेकिन सिर्फ आंकड़ों से फर्क नहीं पड़ता, असली फर्क सरकार की मंशा से पड़ता है और वह मंशा मान सरकार ने पहले ही साफ कर दी है।

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एक अनोखा और प्रभावशाली मॉडल

अब सीमापार तस्करों की एक नहीं चलेगी। ड्रोन के जरिए जो खेपें गिराई जा रही थीं, उन्हें देखकर किसी की भी रूह कांप जाए। 932 किलो से ज्यादा हेरोइन, 263 पिस्तौल, 14 AK-47 राइफल, 66 हैंड ग्रेनेड और करीब 15 किलो RDX बरामद किया गया। इससे पहले किसी भी सरकार ने इतने बड़े नेटवर्क का ऐसा पर्दाफाश नहीं किया था। यह पहली बार हुआ है कि मान सरकार ने सीमाओं से लेकर गांवों तक एक ऐसा सुरक्षा जाल बिछाया है, जहां नशा तस्करों और आतंकियों की भी एक नहीं चल पा रही है। इसका पूरा श्रेय एंटी ड्रोन सिस्टम को जाता है। ये पंजाब सरकार का एक अनोखा और प्रभावशाली मॉडल बन चुका है। किसी दूसरे राज्य में ऐसा मॉडल आज भी नहीं है।

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गांव-गांव तक पहुंची सुरक्षा

596 सीमावर्ती गांवों में स्थानीय लोगों, रिटायर्ड सैनिकों और पुलिसकर्मियों को मिलाकर एक ऐसा सिस्टम तैयार किया गया है जो रात-दिन सीमा की निगरानी करता है। कोई भी संदिग्ध गतिविधि अब बर्दाश्त नहीं की जाती है। सूचना तुरंत पहुंचती है और कार्रवाई तुरंत होती है। हर गांव को तीन श्रेणियों में बांटकर उनके रोड नेटवर्क, संदिग्ध लोगों की सूची और सुरक्षा जरूरतों के हिसाब से डिजिटल डाटा तैयार किया गया है, ताकि हर छोटी से छोटी हरकत पर भी नजर रखी जा सके। पुलिस ऑफिसर अब बीट बुक के जरिए हर गतिविधि का रिकॉर्ड रखते हैं और सभी रक्षक टीमों को व्हाट्सएप के जरिए जोड़ा गया है। यानी अब सुरक्षा सिर्फ पुलिस थानों तक सीमित नहीं रही, बल्कि गांव-गांव में मौजूद है।

नए एंटी-ड्रोन सिस्टम लगाने की तैयारी

इतना ही नहीं, पंजाब सरकार 51 करोड़ की लागत से अब 9 अत्याधुनिक एंटी-ड्रोन सिस्टम खरीदकर सीमा पर तैनात कर रही है। BSF और पंजाब पुलिस मिलकर टेक्नोलॉजी, फोरेंसिक जांच और संचार विश्लेषण के जरिए हर ड्रोन का हिसाब रख रही है। आज गुरदासपुर, अमृतसर, तरनतारन, फिरोजपुर और फाजिल्का जैसे जिले, जो कभी ड्रोन तस्करी के लिए बदनाम थे, अब सुरक्षा व्यवस्था की मिसाल बन चुके हैं। खेमकरण, खलड़ा और अजनाला जैसे गांव अब सिर्फ खबरों में नहीं, देश की सुरक्षा रणनीति में चर्चा का विषय बन चुके हैं। पंजाब की आम आदमी पार्टी सरकार ने साफ कर दिया है कि ड्रोन, नशा, आतंक या तस्करी किसी को भी बख्शा नहीं जाएगा।

अब नशा नहीं, सुरक्षा की रणनीति उड़ान

यह केवल राज्य की नहीं, देश की सुरक्षा का सवाल है, और पंजाब सरकार ने इसे पूरी ताकत से निभाया है। जो काम दशकों में नहीं हुआ, वो इस सरकार ने तीन साल में कर दिखाया। यह नया पंजाब है, चौकस, संगठित और समझदार। यहां अब नशा नहीं, सुरक्षा की रणनीति उड़ान भर रही है। पंजाब सरकार की यही पहल न सिर्फ राज्य की सुरक्षा के लिए, बल्कि पूरे देश की सीमाओं को सुरक्षित रखने की दिशा में एक मिसाल बन रही है।

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First published on: Jul 21, 2025 01:01 PM

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