Greater Noida News: ग्रेटर नोएडा में बदलते मौसम और हालिया बारिश ने वायु गुणवत्ता सूचकांक (एक्यूआई) को राहत भरे स्तर तक पहुंचा दिया है. जहां आमतौर पर अक्टूबर के महीने में एक्यूआई 200 के पार चला जाता था, वहीं इस बार बारिश के चलते हवा की क्वालिटी बेहतर है. सोमवार को हुई तेज बारिश के बाद एक्यूआई में गिरावट दर्ज की गई. हवा की क्वालिटी बेहतर हो गई. ऐसे में प्रशासन ने ऐलान किया है कि ग्रेटर नोएडा में पराली जलाने वालों पर सख्त एक्शन होगा. उन पर हैवी जुर्माना लगाया जाएगा. कुछ क्षेत्रों में पराली जलाने की घटनाएं सामने आने लगी हैं. इससे वायु प्रदूषण फिर से गंभीर स्तर पर पहुंच सकता है.
पराली को खाद में बदलें, जलाएं नहीं
जिला प्रशासन ने किसानों से अपील की है कि वे पराली को खेतों में जलाने की बजाय उसे प्राकृतिक खाद के रूप में इस्तेमाल करें. उप कृषि निदेशक राजीव कुमार ने बताया कि राष्ट्रीय हरित अधिकरण (एनजीटी) द्वारा पराली जलाने को रोकने के लिए सख्त दिशा-निर्देश जारी किए गए हैं. नियमों का उल्लंघन करने पर किसानों पर 2,500 से 15,000 तक का जुर्माना लगाया जा सकता है.
निगरानी के लिए मोबाइल टीमें सक्रिय
प्रशासन ने ग्राम पंचायत, न्याय पंचायत, विकासखंड और तहसील स्तर पर मोबाइल निगरानी टीमों का गठन किया है. ये टीमें सैटेलाइट के माध्यम से भी निगरानी कर रही हैं, ताकि पराली जलाने की घटनाओं पर त्वरित कार्रवाई की जा सके. केंद्र सरकार भी इस पूरे मामले पर रोजाना बुलेटिन जारी कर स्थिति पर नजर बनाए हुए है.
बढ़ते प्रदूषण को रोकना प्राथमिकता
जिला प्रशासन का कहना है कि पराली जलाने से वायु प्रदूषण बढ़ता है. इससे स्वास्थ्य पर भी गंभीर प्रभाव पड़ता है. लोगों की जिम्मेदारी है कि वह पर्यावरण संरक्षण में सहयोग करें और वैकल्पिक उपायों को अपनाएं.
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