Bore Basi Tihar 2023: बोरे-बासी छत्तीसगढ़ का एक पारंपरिक भोज है। अंतर्राष्ट्रीय श्रम दिवस के अवसर पर प्रदेशभर में बोरे-बासी तिहार मनाया गया। मुख्यमंत्री भूपेश बघेल समेत सभी मंत्रियों और संसदीय सचिवों ने बोरे-बासी खाया और सोशल मीडिया पर अपनी फोटो अपलोड की। मुख्यमंत्री की अपील पर लोगों ने अलग-अलग अंदाज में तिहार मनाया।
कवर्धा में महात्मा गांधी नरेगा योजना अंतर्गत कार्य करने वाले ग्रामीणों ने कार्यस्थल पर एक साथ बोर-बासी खाकर एक दूसरे को श्रमिक दिवस की बधाई एवं शुभकामनाएं दी। जिले के विभिन्न ग्राम पंचायतों में मनरेगा के अंतर्गत चल रहे निर्माण कार्यों में ग्रामीणों को रोजगार मिल रहा है। कार्य के दौरान सभी श्रमिकों ने बोरे-बासी खाया और अपनी खुशी जाहिर करते हुए बताया कि यह हमारा परंपरागत छत्तीसगढ़ी भोजन है जो शरीर के लिए बहुत फायदेमंद है और कड़ी धूप में काम करने की शक्ति देता है।
कोरबा में राजस्व, आपदा प्रबंधन एवं पुनर्वास मंत्री जयसिंह अग्रवाल ने जनप्रतिनिधियों के साथ बोरे बासी खाकर श्रम वीरों का मान बढ़ाया। उन्होंने कहा कि बासी में बहुत सारे पोषक तत्व पाए जाते हैं। जिससे हमारे शरीर को ऊर्जा मिलती है। साथ ही यह गर्मी में तेज धूप एवं गर्म हवाओं से शरीर का रक्षा करती हैं।
संसदीय सचिव एवं विधायक विनोद चन्द्राकर ने अपने निवास पर ही बोरे बासी का स्वाद लिया। उन्होंने कहा कि आज मजदूरों के सम्मान का दिन है। मुख्यमंत्री भूपेश बघेल की अपील पर बोरे बासी उत्साह के साथ खाया जा रहा है। उन्होंने कहा कि राज्य और देश के नवनिर्माण में श्रमिकों के योगदान महत्वपूर्ण है।