पटना से सौरभ कुमार की रिपोर्टः बिहार (Bihar) की तर्ज पर अब बहुत जल्द छत्तीसगढ़ (Chhattishgarh) में भी शराबबंदी (Liquor Ban) होने जा रही है। बिहार के शराबबंदी कानून का अध्ययन करने के लिए छत्तीसगढ़ से 17 सदस्यीय टीम शुक्रवार को पटना (Patna) पहुंची है। बताया गया है कि इस दौरान टीम बिहार का दौरा करेगी। स्थानीय लोगों से शराबबंदी के फायदों का जानेगी।
छत्तीसगढ़ की टीम ने सीएम नीतीश कुमार से की मुलाकात
जानकारी के मुताबिक शुक्रवार को छत्तीसगढ़ की टीम ने बिहार के मुख्यमंत्री नीतीश कुमार से पटना (Patna) में मुलाकात की। इसके बाद राज्य के शीर्ष अधिकारियों के साथ बैठक कर संबंधित कानून का अध्ययन किया। बताया गया है कि छत्तीसगढ़ में होने वाले आगामी विधानसभा चुनाव को लेकर यह काफी महत्वपूर्ण कदम माना जा रहा है।
नौ विधायकों समेत कई अधिकारी भी पहुंचे पटना
छत्तीसगढ़ से बिहार आई टीम में 9 विधायकों, 8 अन्य लोग शामिल हैं। ये टीम तीन दिवसीय दौरे के तहत पटना, वैशाली और नालंदा के इलाकों में लोगों से संवाद करेगी। शराबबंदी कानून के सकारात्मक और नकारात्मक प्रभावों को समझने की कोशिश करेगी। टीम की अगुवाई रायपुर से कांग्रेस विधायक सत्यनारायण शर्मा कर रहे हैं। इसके बाद प्रदेश कांग्रेस हाईकमान को अपनी रिपोर्ट सौंपेगे।
2016 में शराबबंदी को भाजपा ने दिया था समर्थन
बता दें कि बिहार में शराबबंदी कानून वर्ष 2016 में लागू हुआ था। उस समय बिहार में महागठबंधन की सरकार थी। विपक्ष में बैठी भाजपा ने भी शराबबंदी कानून को समर्थन दिया था। अब बिहार में शराबबंदी कानून की चर्चा पूरे देश में हो रही है।
कुछ दिन पहले राजस्थान से भी एक टीम शराबबंदी कानून का जायजा लेने बिहार आई थी। अब छत्तीसगढ़ से टीम पटना पहुंची है। बिहार में सरकार और सत्ताधारी नेताओं का कहना है कि यह राज्य के लिए सफलता वाली बात है।
लेकिन बढ़ गई तस्करी, छपरा में हुई थीं 150 से ज्यादा मौतें
जानकारों का कहना है कि एक सच्चाई यह भी है कि बिहार में शराबबंदी के बाद शराब की तस्करी भी जमकर हो रही है। हर महीने जहरीली शराब से लोगों की मौत हो रही है।
कुछ दिन पहले भी बिहार के छपरा में 150 से ज्यादा मौत जहरीली शराब के कारण हुई थी। छत्तीसगढ़ के सीएम भूपेश बघेल ने हाल ही में विधानसभा में शराब को लेकर कहा था कि यह एक सामाजिक बुराई है। इस रिपोर्ट के बाद छत्तीसगढ़ सरकार शराबबंदी को लेकर बड़ा फैसला ले सकती है।