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खरमास में भूल से भी न करें ये काम! जानें कब शुरू होंगे मांगलिक कार्य?

होली समाप्त होते ही एक महीने तक व्याप्त रहने वाला खरमास शुरू हो चुका है। हिन्दू धर्म की मान्यता के अनुसार, इस अवधि में कोई भी शुभ अथवा मांगलिक कार्य नहीं किए जाएंगे। आइए जानते हैं, खरमास कब खत्म होगा, इस दौरान क्या नहीं करना चाहिए और मांगलिक कार्य कब शुरू होंगे?

Author Edited By : Shyam Nandan Updated: Mar 16, 2025 19:20
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हिन्दू धर्म में खरमास एक विशेष अवधि है, जो साल में दो बार आती है। ज्योतिष शास्त्र के अनुसार, जब सूर्यदेव धनु और मीन राशि में गोचर करते हैं, तब खरमास प्रारंभ होता है। प्रचलित रिवाजों के मुताबिक, इस दौरान कोई भी शुभ या मांगलिक कार्य करना वर्जित माना गया है। ज्योतिष शास्त्र के अनुसार, इस अवधि में सूर्यदेव और देवगुरु बृहस्पति की ऊर्जा कमजोर हो जाती है। यही कारण है कि इस अवधि में शुभ कार्य करने पर अपेक्षित फल नहीं मिलते हैं।

आइए जानते हैं, मार्च और अप्रैल 2025 में खरमास कब तक लगा रहेगा, इस अवधि में किस तरह के कार्यों को भूलकर भी नहीं करना चाहिए और मांगलिक कार्य फिर कब शुरू होंगे।

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मार्च 2025 में खरमास कब से कब तक है?

शुक्रवार, 14 मार्च 2025 की शाम 6:59 बजे मीन संक्रांति के बाद सूर्य देव मीन राशि में प्रवेश कर चुके हैं। इसी के साथ खरमास की शुरुआत हो गई है। यह अवधि 13 अप्रैल 2025 तक चलेगी, जब सूर्य मेष राशि में प्रवेश करेंगे, जिसे मेष संक्रांति कहा जाता है। खरमास के दौरान कोई भी शुभ और मांगलिक कार्य नहीं किए जाते, जैसे विवाह, गृह प्रवेश, नामकरण संस्कार, मुंडन आदि।

मांगलिक कार्य फिर कब शुरू होंगे?

पंचांग के अनुसार, 14 अप्रैल 2025 को जब सूर्य मेष राशि में प्रवेश करेंगे, सभी शुभ और मांगलिक कार्य फिर से शुरू हो जाएंगे। तब तक इस एक महीने की अवधि को पूजा-पाठ, दान-पुण्य और आत्मचिंतन के लिए उत्तम माना जाता है। संक्षेप में कहें तो 14 मार्च से 13 अप्रैल 2025 तक खरमास रहेगा और 14 अप्रैल से शुभ कार्य पुनः शुरू हो जाएंगे।

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खरमास में न करें ये काम

खरमास को हिंदू धर्म में शुभ कार्यों के लिए निषिद्ध माना गया है। इस दौरान कुछ महत्वपूर्ण कार्यों से बचने की सलाह दी जाती है। आइए जानते हैं वे कौन-कौन से कार्य हैं जिनसे खरमास में दूरी बनानी चाहिए।

शुभ कार्यों से बचें: विवाह, सगाई, मुंडन, नामकरण, जनेऊ जैसे शुभ कार्य न करें। गृह प्रवेश और नए व्यापार की शुरुआत से परहेज करें। जहां तक संभव हो, कोई नया पद या नौकरी ज्वाइन करने से बचना चाहिए।

निवेश और खरीदारी न करें: घर, दुकान, प्रॉपर्टी या वाहन खरीदने से बचें। किसी भी बड़े निवेश से पहले खरमास खत्म होने का इंतजार करें।

परिवार और सामाजिक कार्य: बेटी या बहू की विदाई खरमास के बाद ही करें। इसके साथ ही, नए रिश्तों की शुरुआत करने से बचें।

खान-पान का ध्यान रखें: तामसिक भोजन, जैसे मांसाहार, लहसुन-प्याज आदि के सेवन से परहेज करें। सात्त्विक और हल्का भोजन ग्रहण करें।

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डिस्क्लेमर: यहां दी गई जानकारी धार्मिक शास्त्र की मान्यताओं पर आधारित है तथा केवल सूचना के लिए दी जा रही है। News24 इसकी पुष्टि नहीं करता है।

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Edited By

Shyam Nandan

First published on: Mar 16, 2025 07:20 PM

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