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Religion

हिंदू नव वर्ष क्यों मनाया जाता है? जानिए इसका धार्मिक और ऐतिहासिक महत्व

चैत्र शुक्ल की पहली तिथि प्रतिपदा से हिंदू नववर्ष की शुरुआत होती है और इस साल 30 मार्च से विक्रम संवत 2082 का आगमन होगा। यह साल नई ऊर्जा नए संकल्प और समृद्धि का प्रतीक माना जा रहा है। क्या यह वर्ष आपके लिए भाग्यशाली रहेगा? आइए जानते हैं इस संवत्सर की खास बातें।

Author Edited By : Ashutosh Ojha Updated: Mar 30, 2025 11:36
Hindu New Year
Hindu New Year

हिंदू नववर्ष चैत्र महीने की पहली तिथि (प्रतिपदा) से शुरू होता है। इस साल यह दिन 30 मार्च को आएगा। इसी दिन नया विक्रम संवत 2082 शुरू होगा। यह दिन धार्मिक रूप से बहुत खास माना जाता है क्योंकि इसी दिन भगवान ब्रह्मा ने सृष्टि की रचना की थी और नवरात्रि की भी शुरुआत होती है। विक्रम संवत की स्थापना राजा विक्रमादित्य ने की थी और यह हिंदू पंचांग का आधार है। इस साल का नाम “सिद्धार्थ” होगा और गर्मी अधिक रहने की संभावना है। हालांकि कृषि, व्यापार और समाज के लिए यह वर्ष शुभ रहेगा और आर्थिक वृद्धि देखने को मिलेगी।

नवरात्रि से होगा हिंदू नववर्ष का शुभारंभ

हिंदू नववर्ष हर साल चैत्र महीने के शुक्ल पक्ष की पहली तिथि (प्रतिपदा) से शुरू होता है। इस साल यह तिथि 30 मार्च रविवार को आ रही है जिससे विक्रम संवत 2082 की शुरुआत होगी। भारत के अलग-अलग राज्यों में इस दिन को अलग नामों से मनाया जाता है। महाराष्ट्र में इसे गुड़ी पड़वा, आंध्र प्रदेश में युगादि और सिंधी समाज में चेटी चंड कहा जाता है। धार्मिक मान्यताओं के अनुसार इसी दिन भगवान ब्रह्मा ने सृष्टि की रचना की थी इसलिए यह दिन बहुत शुभ माना जाता है। इसी दिन से नवरात्रि भी शुरू होती है जो देवी दुर्गा की उपासना का पर्व है। इस कारण यह दिन और भी खास हो जाता है।

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क्या होता है विक्रम संवत?

विक्रम संवत की स्थापना राजा विक्रमादित्य ने की थी और यही हिंदू पंचांग (कैलेंडर) का आधार है। यह ईसाई कैलेंडर से 57 साल आगे चलता है और इसकी गणना चंद्रमा और सूर्य की गति के आधार पर होती है। विक्रम संवत का नया साल चैत्र महीने से शुरू होता है और इसका समापन चैत्र अमावस्या पर होता है। इसी पंचांग के अनुसार दीपावली, रक्षाबंधन, होली, नवरात्रि जैसे सभी प्रमुख हिंदू त्योहारों की तिथियां तय की जाती हैं। क्योंकि यह पंचांग सूर्य और चंद्रमा की चाल को ध्यान में रखकर बनाया गया है, इसलिए इसे बहुत सटीक माना जाता है।

कैसा रहेगा विक्रम संवत 2082?

ज्योतिषीय गणना के अनुसार, विक्रम संवत 2082 का नाम “सिद्धार्थ” होगा और इसका वाहन घोड़ा रहेगा। इस साल सूर्य राजा और मंत्री दोनों होंगे जिससे भीषण गर्मी पड़ने की संभावना है। अधिक गर्मी के कारण आग लगने और प्राकृतिक आपदाओं की घटनाएं बढ़ सकती हैं। हालांकि कृषि क्षेत्र के लिए यह साल अच्छा रहेगा। बुध ग्रह के प्रभाव से सामान्य वर्षा होगी जिससे धान, गेहूं और गन्ने की अच्छी फसल होगी। व्यापार में भी इस साल तेजी आएगी खासकर अन्न, भूमि, भवन, शिक्षा, सोना, वाहन और तकनीक के क्षेत्र में अच्छा विकास देखने को मिलेगा।

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व्यापार और समाज पर प्रभाव

विक्रम संवत 2082 संतों, विद्वानों और धार्मिक प्रवृत्ति के लोगों के लिए शुभ रहेगा। इस साल आध्यात्मिकता और धर्म के प्रति लोगों की रुचि बढ़ेगी जिससे समाज में सकारात्मक बदलाव आएगा। इस साल का प्रभाव व्यापारी वर्ग पर ज्यादा रहेगा जिससे व्यापार बढ़ेगा और आर्थिक स्थिति मजबूत होगी। खासतौर पर अन्न, शिक्षा, टेक्नोलॉजी और रियल एस्टेट के क्षेत्र में तेजी आएगी। कुल मिलाकर यह वर्ष समाज, व्यापार और कृषि के लिए अच्छा रहेगा लेकिन अत्यधिक गर्मी और प्राकृतिक आपदाओं से सतर्क रहना जरूरी होगा।

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Edited By

Ashutosh Ojha

First published on: Mar 30, 2025 11:36 AM

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