Bal Sant Abhinav Arora Daily Routine: “बाल संत” ये नाम क्या आपने भी सुना है? शायद सुना ही होगा क्योंकि पिछले कुछ समय से सोशल मीडिया में इनकी काफी चर्चा रही है। सिर्फ 10 साल की उम्र में बाल संत अभिनव अरोड़ा लोगों के बीच धर्म और आध्यात्म संबंधित बातें करने के कारण चर्चाओं में हैं। हालांकि, कुछ विवादों में आने से भी इनका नाम लोगों के सामने ज्यादा आता है।
पढ़ाई के साथ श्री कृष्ण भक्ति में भी खास रुचि रखते हैं। ऐसे में सभी के लिए ये सवाल भी खड़ा हो जाता है कि आखिर कैसे स्कूल जाना, पढ़ाई करना और फिर भक्ति के लिए बाल संत समय निकाल पाते हैं। अभिनव अरोड़ा का उठने का समय क्या है? पूरे दिन का रुटीन कैसा रहता है?
अगर हां, तो जरूर सोशल मीडिया के माध्यम से सुना होगा या फिर आप धर्न और आध्यात्म संबंधित ज्ञान लेना राधा गोविंद की पूजा-अर्चना करने के लिए कब समय निकालते हैं? आइए आपके इन सभी सवालों के जवाब के साथ अभिनव अरोड़ा का डेली रुटीन जानते हैं।
कौन है अभिनव अरोड़ा?
अभिनव अरोड़ा की उम्र 10 साल है। ये दिल्ली के रहने वाले हैं। इनके पिता का नाम तरुण राज अरोड़ा है जो पेशे से एक व्यापारी और टेडएक्स स्पीकर हैं। अभिनव और उनके परिजनों के अनुसार 3 साल की उम्र से उन्होंने आध्यात्मिक ज्ञान हासिल करना शुरू कर दिया था। ये अपने आपको भगवान श्रीकृष्ण का बड़ा भाई बताते हैं। कई वीडियो में उन्होंने भगवान श्रीकृष्ण को अपना छोटा भाई कहा है।
बाल संत अभिनव अरोड़ा का सुबह उठने का समय?
एक इंटरव्यू में अभिनव अरोड़ा ने अपने दिनचर्या यानी डेली रुटीन की बात की उन्होंने कहा कि वो रोजाना ब्रह्म मुहूर्त के समय उठते हैं। हर दिन वो सुबह 3.30 बजे उठकर स्नान आदि करते हैं। सुबह 4 बजे तक माला जाप करते हैं। इसके बाद सूर्योदय होने के बाद तुलसी जी को जल चढ़ाते हैं और उनकी परिक्रमा करते हैं।
फिर करते हैं राधा गोविंद की पूजा
अभिनव अरोड़ा ने आगे बताया कि वो तुलसी पूजन के बाद राधा गोविंद की पूजा करते हैं। पहले उन्हें उठाते हैं, स्नान करवाते हैं, श्रृंगार करवाते हैं। इसके साथ ही श्रृंगार आरती करते हैं और फिर भोग लगाते हैं। इसके बाद खुद खाते हैं और फिर स्कूल जाते हैं।
स्कूल से आने के बाद क्या करते हैं बाल संत?
स्कूल से आने के बाद बाल संत अभिनव अरोड़ा आराम करते हैं। उन्होंने बताया कि वो थोड़ी देर के लिए सो जाते हैं। इसके बाद राधा रानी और ठाकुर जी की सेवा करते हैं। इसके बाद होम वर्क भी करते हैं। साथ ही ग्रंथ भी पढ़ते हैं।
क्या पूजा-पाठ से पढ़ता है पढ़ाई पर असर?
बाल संत अभिनव अरोड़ा से जब ये पूछा गया कि पूजा-पाठ से उनकी पढ़ाई पर क्या असर पड़ता है, तो उन्होंने जवाब दिया कि वो स्कूल, पढ़ाई-लिखाई के साथ-साथ पूजा पाठ को आसानी से मैनेज कर लेते हैं।
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