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कौन हैं Gen-Z की नई नेता सुशीला कार्की, जो नेपाल में अस्थायी सरकार का कर सकती हैं नेतृत्व

Sushila Karki Nepal: नेपाल में युवा प्रदर्शनकारियों ने पूर्व मुख्य न्यायाधीश सुशीला कार्की को अपना नेता चुना है। कार्की नेपाल की पहली महिला मुख्य न्यायाधीश भी रहीं हैं। इन्होंने भारत से पढ़ाई की है। आइए जानते हैं इनके बारे में।

Author Written By: Raghav Tiwari Author Published By : Raghav Tiwari Updated: Sep 10, 2025 22:28
पूर्व मुख्य न्यायाधीष सुशीला कार्का कर सकती हैं नेपाल की अंतरिम सरकार का नेतृत्व

Who is Sushila Karki: नेपाल में हिंसक प्रदर्शन के तीसरे दिन हालात काबू में आने की संभावना दिखाई दे रही है। सेना और जेनजी हालात सामान्य करने के लिए बातचीत का दौर शुरू हो गया है। घंटों बैठकों के बाद जेनजी ने पूर्व मुख्य न्यायाधीश सुशीला कार्की को अपना नेता चुना है। उम्मीद है कि नेपाल की अंतरिम सरकार का वही नेतृत्व करेंगी। इसके लिए कार्की ने हामी भी भर दी है। सुशीला कार्की नेपाल की पहली महिला मुख्य न्यायाधीश रही हैं।  कार्की 11 जुलाई 2016 मुख्य न्यायाधीश बनीं थी।

कार्की के खिलाफ आ चुका है महाभियोग प्रस्ताव

30 अप्रैल 2017 को माओवादी केंद्र और नेपाली कांग्रेस ने मुख्य न्यायाधीश कार्की के खिलाफ संसद में महाभियोग प्रस्ताव पेश किया था। उस समय जनता ने उनका काफी समर्थन किया था। जनता के दबाव के चलते महाभियोग प्रस्ताव वापस ले लिया गया था।

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भारत के बनारस से की है पढ़ाई

सुशीला कार्की के 7 भाई बहन हैं। वह सभी में सबसे बड़ी हैं। नेपाल में विराट नगर में उनका घर है। साल 1972 में कार्की ने महेंद्र मोरंग परिसर विराटनगर से बीए से ग्रेजुएश किया। इसके बाद वह भारत आ गईं। यहां 1975 में कार्की ने बनारस हिंदू विश्वविद्यालय वाराणसी से राजनीति विज्ञान में पोस्ट ग्रेजुएशन की पढ़ाई पूरी की। साल 1978 में नेपाल के त्रिभुवन विश्वविद्यालय से कानून में स्नातक की उपाधि प्राप्त की। कार्की ने दुर्गा प्रसाद सुबेदी से शादी की थी। यह प्रेम विवाह था। सुबेदी से कार्की की मुलाकात बनारस में पढ़ाई के दौरान हुई थी। कार्की के पति दुर्गा सुबेदी उस समय नेपाली कांग्रेस के लोकप्रिय युवा नेता थे।

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वकालत से सुप्रीम जज तक ऐसा रहा सफर

साल 1979 में कार्की ने अपने गृहनगर विराटनगर से ही अपनी वकालत शुरू की थी। कार्की ने साल 1985 में महेंद्र मल्टीपल कैंपस, धरान में सहायक शिक्षिका के रूप में भी काम किया। साल 2007 में कार्की वरिष्ठ अधिवक्ता बन गईं। इसके बाद 22 जनवरी 2009 को कार्की को सुप्रीम कोर्ट में एड-हॉक जस्टिस नियुक्त किया गया। 2010 को स्थायी जस्टिस नियुक्त किया गया। 2016 में नेपाल सुप्रीम कोर्ट में कार्यवाहक मुख्य न्यायाधीश का पद संभाला। 2017 तक सुप्रीम कोर्ट के मुख्य न्यायाधीश के रूप में काम किया।

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First published on: Sep 10, 2025 05:53 PM

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