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बीजेपी में संगठनात्मक फेरबदल की तैयारी तेज, पीएम मोदी की बैठक में राष्ट्रीय अध्यक्ष के चुनाव समेत इन मुद्दों पर हुई चर्चा

भाजपा में संगठनात्मक फेरबदल की तैयारी तेज हो गई है। पीएम नरेंद्र मोदी की अध्यक्षता में हुई बैठक में पार्टी के राष्ट्रीय अध्यक्ष के चुनाव समेत कई मुद्दों पर विस्तार से वार्ता हुई। पार्टी का फोकस आगामी विधानसभा चुनावों पर है।

Author Written By: Kumar Gaurav Author Edited By : Deepak Pandey Updated: Apr 16, 2025 23:17
PM Modi, Amit Shah
प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी और गृह मंत्री अमित शाह

भारतीय जनता पार्टी (BJP) में संगठनात्मक बदलाव को लेकर गंभीर मंथन शुरू हो चुका है। इसी कड़ी में प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी की अध्यक्षता में मंगलवार को एक महत्वपूर्ण बैठक हुई थी, जिसमें केंद्रीय गृहमंत्री अमित शाह, रक्षा मंत्री राजनाथ सिंह और पार्टी के राष्ट्रीय संगठन महामंत्री बीएल संतोष ने हिस्सा लिया। इस बैठक में पार्टी संगठन के पुनर्गठन विशेषकर प्रदेश अध्यक्षों और राष्ट्रीय अध्यक्ष के चयन को लेकर विस्तार से चर्चा हुई।

प्रदेश अध्यक्षों के चयन पर बनी सहमति

सूत्रों के अनुसार, इस बैठक में लगभग आधा दर्जन राज्यों के प्रदेश अध्यक्षों के बदलाव या पुनर्नियुक्ति को लेकर सहमति बनी है। इनमें वे राज्य शामिल हैं, जहां हाल ही में विधानसभा चुनाव हुए हैं या आगामी महीनों में चुनाव होने वाले हैं। पार्टी का मानना है कि इन राज्यों में संगठन को नई दिशा देने की जरूरत है, ताकि जमीनी स्तर पर कार्यकर्ताओं के बीच उत्साह और समर्पण बना रहे। सूत्रों की मानें तो अगले 3 से 4 दिनों के भीतर इन राज्यों के नए प्रदेश अध्यक्षों की घोषणा कर दी जाएगी। यह प्रक्रिया पार्टी की परंपरा के अनुरूप होगी, जहां चुनावी रणनीति और संगठनात्मक मजबूती को ध्यान में रखते हुए समय-समय पर नेतृत्व परिवर्तन किया जाता है।

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राष्ट्रीय अध्यक्ष के चुनाव की प्रक्रिया जल्द

प्रदेश अध्यक्षों की नियुक्तियों के तुरंत बाद भाजपा के राष्ट्रीय अध्यक्ष के चुनाव की प्रक्रिया भी शुरू की जाएगी। वर्तमान अध्यक्ष जेपी नड्डा का कार्यकाल विस्तार के बाद अब समाप्ति की ओर है और पार्टी एक नए चेहरे को यह जिम्मेदारी सौंपने की तैयारी में है। यह चुनाव सिर्फ पार्टी के शीर्ष नेतृत्व के लिए ही नहीं, बल्कि आगामी चुनावों के लिहाज से भी अहम माना जा रहा है।

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बैठक के राजनीतिक मायने

प्रधानमंत्री मोदी की अध्यक्षता में यह बैठक कई मायनों में महत्वपूर्ण है। यह दर्शाता है कि भाजपा नेतृत्व 2025 और 2026 के चुनावों को लेकर बेहद गंभीर है और संगठन को समय रहते चुनावी मोड में लाना चाहता है। इस बैठक से यह संकेत भी मिला है कि पार्टी शीर्ष स्तर से लेकर प्रदेश स्तर तक संगठनात्मक अनुशासन और रणनीतिक समन्वय को प्राथमिकता दे रही है।

क्यों जरूरी है यह बदलाव?

2024 के लोकसभा चुनाव के बाद के राजनीतिक परिदृश्य को देखते हुए पार्टी के भीतर संगठनात्मक फेरबदल की यह कवायद की जा रही है। जहां केंद्र में भाजपा फिर से सत्ता में आई है तो वहीं कुछ राज्यों में प्रदर्शन अपेक्षा के अनुरूप नहीं रहा। इससे पहले 2019 के बाद जेपी नड्डा को राष्ट्रीय अध्यक्ष बनाया गया था और उनका कार्यकाल 2024 के चुनाव तक के लिए बढ़ा दिया गया था। अब पार्टी अगली पारी के लिए नए नेतृत्व के साथ आगे बढ़ना चाहती है। इस बैठक के बाद राजनीतिक हलकों में यह चर्चा तेज हो गई है कि भाजपा अब संगठन और सरकार दोनों को नई ऊर्जा देने की दिशा में निर्णायक कदम उठा रही है, ताकि 2029 की तैयारी अभी से शुरू की जा सके।

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First published on: Apr 16, 2025 11:15 PM

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