नई दिल्ली: अटल पेंशन योजना के तहत केंद्र सरकार ने संशोधन किया गया है। संशोधन के बाद अब 1 अक्टूबर 2022 से ऐसे लोग जो आयकर देते हैं उन्हें पेंशन नहीं मिलेगी। नए बदलाव के बाद आयकर दाता अटल पेंशन योजना के तहत नामांकन के लिए पात्र नहीं होंगे दरअसल, यह योजना मूल रूप से 16 अक्टूबर 2015 को अधिसूचित की गई थी। इसमें 60 वर्ष की आयु बाद व्यक्ति का पेंशन दी जाती है।
Income taxpayers won't be eligible to join Atal Pension Yojana from October
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— ANI Digital (@ani_digital) August 11, 2022
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संशोधिन किया गया
अब संशोधित गजट अधिसूचना में कहा गया है 1 अक्टूबर 2022 से कोई भी नागरिक जो आयकर दाता है या रहा है वह अटल पेंशन योजना में शामिल होने का पात्र नहीं होगा। राजपत्र अधिसूचना में स्पष्ट किया गया है कि अभिव्यक्ति “आयकर दाता” का अर्थ उस व्यक्ति से होगा जो समय-समय पर संशोधित आयकर अधिनियम, 1961 के अनुसार आयकर का भुगतान करने के लिए उत्तरदायी है। “यदि कोई ग्राहक, जो 1 अक्टूबर 2022 को या उसके बाद शामिल हुआ है, बाद में आवेदन की तारीख को या उससे पहले आयकर दाता पाया जाता है, तो APY खाता बंद कर दिया जाएगा और अब तक की संचित पेंशन राशि दी जाएगी।
क्या है अटल पेंशन योजना?
यह एक स्वैच्छिक आवधिक अंशदान-आधारित पेंशन योजना है। जिसके तहत इसे पाने वाले को 60 वर्ष की आयु के बाद पेंशन दी जाती है। योजना के तहत प्रत्येक ग्राहक को 60 वर्ष की आयु के बाद मृत्यु तक केंद्र सरकार द्वारा गारंटीकृत न्यूनतम पेंशन एक हजार से पांच हजार रुपये प्रति माह प्राप्त होती है। ग्राहक की मृत्यु पर पति या पत्नी की मृत्यु तक भारत सरकार द्वारा ग्राहक के रूप में समान पेंशन की गारंटी दी जाती है। अभिदाता और उसके पति या पत्नी दोनों की मृत्यु के बाद अभिदाता का नामांकित व्यक्ति 60 वर्ष की आयु तक संचित पेंशन धन प्राप्त करने का हकदार होगा। बता दें कि पेंशन फंड नियामक और विकास प्राधिकरण के पास उपलब्ध नवीनतम आंकड़ों के अनुसार इस योजना के तहत 43186423 ग्राहकों को नामांकित किया गया है।