U.S. Citizenship Rule Change: हर माता-पिता का सपना होता है कि उनके बच्चे का भविष्य सुनहरा हो। खासतौर पर वे माता-पिता, जो अपने बच्चे को अमेरिका में जन्म देकर उसे वहां की नागरिकता दिलाना चाहते हैं। लेकिन डोनाल्ड ट्रंप के नए आदेश ने हजारों परिवारों की उम्मीदों पर पानी फेर दिया है। अब 19 फरवरी के बाद जन्म लेने वाले बच्चों को अमेरिकी नागरिकता नहीं मिलेगी, अगर उनके माता-पिता अमेरिकी नागरिक या ग्रीन कार्ड धारक नहीं हैं। इस फैसले से खासतौर पर चीनी माता-पिता घबराए हुए हैं।
ट्रंप के नए आदेश से अमेरिकी नागरिकता पर संकट
अमेरिका में जन्म लेने वाले बच्चों की नागरिकता पर संकट खड़ा हो गया है। राष्ट्रपति डोनाल्ड ट्रंप के नए आदेश के कारण उन माता-पिता में चिंता बढ़ गई है, जो अमेरिका जाकर अपने बच्चों को जन्म देना चाहते थे। इस आदेश के मुताबिक, 19 फरवरी के बाद जन्म लेने वाले बच्चों को अमेरिकी नागरिकता नहीं मिलेगी, अगर उनके माता-पिता अमेरिकी नागरिक या ग्रीन कार्ड धारक नहीं हैं। इस फैसले को कई अमेरिकी राज्यों ने अदालत में चुनौती दी है और फिलहाल यह अमल में नहीं आया है, लेकिन इससे चीनी माता-पिता असमंजस में पड़ गए हैं।
Here I share this with you. I’m sure you heard Donald Trump wants to end birth right citizenship if one parent isn’t an American. This is mostly because of China. China has a method where they would fly a pregnant Chinese woman over here at her 8-9 month stage, so she can give… pic.twitter.com/qA1H40ydy2
— Noir (@BLAQ0226) March 5, 2025
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गर्भवती महिलाओं की बढ़ी चिंता
कैलिफोर्निया में रहने वाली 27 वर्षीय चीनी महिला रैनी अपने बच्चे के जन्म को लेकर बेहद चिंतित थीं। उनकी डिलीवरी की तारीख 20 फरवरी थी, लेकिन ट्रंप के आदेश के कारण वह चाहती थीं कि उनका बच्चा 19 फरवरी से पहले जन्म ले। उन्होंने डॉक्टरों से समय से पहले डिलीवरी कराने की अपील की, लेकिन अस्पताल ने यह मानने से इनकार कर दिया। इसके बाद रैनी ने घरेलू तरीके अपनाने शुरू कर दिए, जैसे पारंपरिक चीनी दवाएं लेना, रोज़ 20,000 कदम चलना और सीढ़ियां चढ़ना-उतरना। आखिरकार उनका बच्चा 8 फरवरी को जन्मा, लेकिन गर्भावस्था के दौरान ज्यादा चिंता करने की वजह से उन्हें कई सेहत से जुड़ी परेशानियां हुईं।
वीजा नियमों की वजह से दुविधा
बीजिंग के 40 साल के यान एक ऑनलाइन ग्रुप चलाते हैं, जिसमें वे माता-पिता की मदद करते हैं जो अमेरिका में बच्चे का जन्म कराने की योजना बना रहे हैं। वे बताते हैं कि इस नए नियम के कारण कई चीनी माता-पिता पहले ही अमेरिका पहुंच चुके थे। कुछ गर्भवती महिलाओं ने तय समय से पहले सी-सेक्शन करवाकर 19 फरवरी से पहले ही अपने बच्चों को जन्म दिला दिया। 2020 में ट्रंप सरकार ने एक नियम बनाया था कि अगर कोई महिला सिर्फ बच्चे को जन्म देने के लिए अमेरिका जाना चाहती है, तो उसे वीजा देने से मना किया जा सकता है। अब इस नए नियम से हालात और मुश्किल हो सकते हैं।
कनाडा बना नया ऑप्शन
इस उलझन की वजह से कुछ चीनी माता-पिता अब अमेरिका की जगह कनाडा को दूसरा ऑप्शन मान रहे हैं। बीजिंग के जैस्पर वांग और उनकी पत्नी ने वैंकूवर के अस्पतालों और देखभाल केंद्रों की जानकारी जुटानी शुरू कर दी है। लेकिन वे अब भी अमेरिका को पहली पसंद मानते हैं और अगर नियम नहीं बदले तो ही कनाडा जाएंगे। चीनी माता-पिता मानते हैं कि जन्म से ही अमेरिकी नागरिकता मिलने से उनके बच्चे का भविष्य बेहतर होगा, क्योंकि इससे अमेरिका में पढ़ाई और नौकरी पाना आसान हो जाएगा। रैनी ने तीन महीने अमेरिका में रहने पर 5 लाख युआन (करीब 69,000 अमेरिकी डॉलर) खर्च किए, क्योंकि उन्हें लगता है कि उनके बेटे के लिए अमेरिकी पासपोर्ट से जीवन आसान हो जाएगा।