RPSC Paper Leak Case: आरपीएससी पेपरलीक मामले में एसओजी ने बुधवार को बाबूलाल कटारा के बेटे दीपेश को पकड़ लिया है। एसओजी की टीम बुधवार को डूंगरपुर पहुंची और बाबूलाल कटारा के घर से उनके बेटे दीपेश और सरकारी टीचर गौतम कटारा को अपने साथ ले गई। वहीं एसओजी ने कटारा के दामाद रवि घोघरा, बेटे दीपेश के दोस्त भारतेंदु और विनय से भी पूछताछ की।
10 दिन की रिमांड पर है कटारा
जानकारी के अनुसार एसओजी की इस कार्रवाई से स्थानीय पुलिस भी अनजान है। इससे पहले एसओजी ने इस मामले में बड़ी कार्रवाई करते हुए आरपीएससी मेंबर बाबूलाल कटारा को अरेस्ट कर लिया था। इसके बाद उन्हें कोर्ट में पेश किया गया जहां उन्हें 10 दिन के लिए रिमांड पर भेज दिया गया। एसओजी कटारा से यह पता लगाने में जुटी है कि टीचर भर्ती का पेपर उनके पास कहां से और किस तरह पहुंचा।
18 अप्रैल को गिरफ्तार हुए थे कटारा
इससे पहले एसओजी ने 18 अप्रैल को टीचर भर्ती पेपर लीक मामले में बड़ी कार्रवाई करते हुए आरपीएससी सदस्य बाबूलाल कटारा को गिरफ्तार किया था। कटारा अक्टूबर 2020 में आरपीएससी के मेंबर बने थे। आरपीएससी मेंबर से आरोपियों की दोस्ती पिछले 4 साल से थी। आरोपी शेरसिंह से पूछताछ में यह भी जानकारी सामने आई है कि सेकंड ग्रेड परीक्षा की तैयारियों के समय वे कटारा के संपर्क में थे।
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कटारा के भांजे को किया था गिरफ्तार
बाबूलाल कटारा का भांजा विजय कटारा भी इस मामले में डूंगरपुर से गिरफ्तार हुआ है। इस मामले में एसओजी ने पहले ही शेर सिंह को गिरफ्तार किया था। उससे पूछताछ के बाद ही यह पूरी कार्रवाई हुई है। चोमूं निवासी अनिल उर्फ शेर सिंह मीणा ने कबूल किया था कि उसने आरपीएससी सदस्य बाबूलाल कटारा से पेपर खरीदा था। इसके बाद उसने सुरेश ढाका और भूपेंद्र सारण को 1 करोड़ रुपए में परीक्षा पर्चे बेच दिए थे।
एसओजी ने इस मामले में अरेस्ट किए गए मुख्य आरोपी शेरसिंह की पूछताछ के आधार पर बाबूलाल कटारा के अजमेर स्थित सरकारी आवास से डबल बैडशीट व एक लॉक, 3 चाबियां, कम्प्यूटर सेट बरामद किया।