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पीएम मोदी ने स्पेन PM के साथ किया C-295 विमान के कॉम्प्लेक्स का उद्घाटन, जानें क्या है प्रोजेक्ट में खास

PM Modi Inaugurated C-295 Aircraft Complex In Vadodara: गुजरात में एक नई औद्योगिक क्रांति की शुरुआत हो गई है, वायु सेना के C-295 परिवहन विमान निर्माण का नया पता अब वडोदरा है।

Edited By : Deepti Sharma | Updated: Oct 28, 2024 15:41
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C-295 military aircraft in Vadodara
C-295 military aircraft in Vadodara

PM Modi Inaugurated C-295 Aircraft Complex In Vadodara: गुजरात में एक नई औद्योगिक क्रांति की शुरुआत हो गई है, वायुसेना के C-295 परिवहन विमान के निर्माण का नया पता अब वडोदरा है। पीएम नरेंद्र मोदी और पेड्रो सांचेज ने भारत के पहले C-295 विमान फाइनल असेंबली लाइन का उद्घाटन किया।

दोनों देशों के प्रधानमंत्रियों ने टाटा एयरक्राफ्ट कॉम्प्लेक्स में प्रदर्शनी देखी। हर गुजराती को गर्व करने वाली बात यह है कि पहली बार इस विमान का निर्माण यूरोप के बाहर होने जा रहा है। हर गुजराती को गर्व करने वाली बात ये है कि पहली बार इस विमान का निर्माण यूरोप के बाहर होने जा रहा है, इसे भारत की टाटा कंसोर्टियम और एयरबस मिलकर बनाएंगे।

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इस विमान का निर्माण भारत की टाटा कंसोर्टियम और एयरबस मिलकर करेंगे। हालांकि, विमान के पार्ट्स इंस्टालेशन और टेस्टिंग से लेकर डिलीवरी तक का सारा काम टाटा ही संभालेगा। यह विमान भारतीय वायुसेना के एवरो-748 की जगह लेगा। इस प्रोजेक्ट की लागत 22 हजार करोड़ रुपये है।

घर पर विमान का निर्माण

वायुसेना के C-295 परिवहन विमान का निर्माण वडोदरा में किया जाएगा, जिसमें 56 में से 16 विमान स्पेन से तैयार होंगे। अगस्त 2025 तक 16 विमानों की डिलीवरी हो जाएगी। टाटा प्लांट से 14 हजार से ज्यादा स्वदेशी पार्ट्स का प्रोडक्शन किया जाएगा। विमान की फाइनल असेंबलिंग वडोदरा (Final Assembling Vadodara) लाई जाएगी। 40 विमानों की डिलीवरी सितंबर 2026 से 2031 के बीच की जाएगी।

वडोदरा को क्या फायदा होगा?

इस प्रोजेक्ट से वडोदरा को काफी फायदा होगा। वडोदरा एयरपोर्ट ने 35 एकड़ जमीन 5 साल के लिए लीज पर ली है। वडोदरा एयरपोर्ट को सालाना 31 करोड़ की इनकम होगी। इसके लिए 2200 रुपये प्रति वर्ग मीटर के हिसाब से सालाना किराया 31.15 करोड़ रुपये तय किया गया है।

विमान सी-295 की विशेषताएं

विमान सी-295 खास है। यह शॉर्ट टेक-ऑफ और लैंडिंग कर सकता है। 320 मीटर की दूरी पर ही उड़ान भर सकता है। इससे लद्दाख, कश्मीर, असम और सिक्किम जैसे पहाड़ी इलाकों में मदद मिलेगी। एक साथ 71 सैनिक, पैराट्रूपर्स, 24 स्ट्रेचर ले जा सकते हैं। एक बार में 5 कार्गो पैलेट ले जा सकते हैं। इसके साथ ही यह लगातार 11 घंटे तक उड़ान भर सकता है।

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Written By

Deepti Sharma

First published on: Oct 28, 2024 03:41 PM

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