Bihar Vidhansabha Chunav: लोकसभा चुनाव में मिले कुशवाहा समुदाय के समर्थन को अब पार्टी विधानसभा में भी उन्हें लुभाना चाहती है। इसी रणनीति के तहत बुधवार को पटना स्थित पार्टी कार्यालय में आयोजित एक कार्यक्रम में पूर्व मंत्री रेणु कुशवाहा, वरिष्ठ नेता रघुवेंद्र कुशवाहा समेत एक दर्जन से अधिक कुशवाहा नेताओं ने राजद की सदस्यता ली। कार्यक्रम में नेता प्रतिपक्ष तेजस्वी यादव ने सभी नेताओं का स्वागत किया। इस दौरान राजद के कई वरिष्ठ नेता भी मंच पर मौजूद रहे। इस मौके पर तेजस्वी ने कहा कि राजद की विचारधारा समाज के अंतिम व्यक्ति को मुख्यधारा में लाने की है। हम धर्मनिरपेक्षता और सामाजिक न्याय में विश्वास रखते हैं, और इसी सोच से लोग लगातार पार्टी से जुड़ रहे हैं।
तेजस्वी में नजर आ रही उम्मीद- रेणु
राजद में शामिल होते हुए रेणु कुशवाहा ने राज्य सरकार पर तीखा हमला बोला। उन्होंने कहा, “बिहार की विकास यात्रा ठप हो चुकी है। जनता बदलाव चाहती है और तेजस्वी यादव में उन्हें उम्मीद नजर आ रही है।” उन्होंने कहा कि युवाओं, महिलाओं और पिछड़े वर्गों का भरोसा अब राजद में दिख रहा है।
सीएम से राज्य नहीं संभल रहा- तेजस्वी
बीजेपी पर निशाना साधते हुए तेजस्वी बोले कि क्या पिछड़े और अति पिछड़े समाज के लोग हिंदू नहीं हैं? क्या कथा-सुनने का अधिकार सिर्फ कुछ जातियों तक सीमित है? मुख्यमंत्री नीतीश कुमार को घेरते हुए उन्होंने कहा कि अब वे अचेत अवस्था में हैं, राज्य उनसे संभल नहीं रहा। गरीबी, पलायन और बेरोजगारी चरम पर है। साथ ही बीजेपी पर पिछड़ा वर्ग आयोग के गठन में ओबीसी समुदाय की अनदेखी का आरोप लगाया।
ओबीसी वोटबैंक में मिलेगा फायदा
आरजेडी में कुशवाहा नेताओं की यह बड़ी एंट्री विधानसभा चुनाव से पहले पार्टी की सामाजिक समीकरण साधने की रणनीति का हिस्सा मानी जा रही है। इससे राजद को न केवल संगठनात्मक मजबूती मिलेगी बल्कि ओबीसी वोट बैंक में भी सेंधमारी की उम्मीद है।
बिहार में कितनी है ओबीसी की आबादी?
बिहार जाति-आधारित सर्वेक्षण 2022 रिपोर्ट के अनुसार, राज्य की 13.07 करोड़ आबादी में अत्यंत पिछड़ा वर्ग (ईबीसी) की हिस्सेदारी 36.01 प्रतिशत है। ओबीसी, ईबीसी मिलकर बिहार की कुल आबादी का 63 प्रतिशत हिस्सा है।