Planetary Parade on 28 Feb: इस महीने के अंतिम दिन आसमान में एक दुर्लभ घटना होने जा रही है, जिसमें सभी ग्रह एक साथ दिखाई देंगे। दरअसल, 28 फरवरी को सौरमंडल के सभी सातों ग्रह- बुध, शुक्र, मंगल, बृहस्पति, शनि, यूरेनस और नेपच्यून एक साथ दिखाई देने वाले हैं। प्रयागराज महाकुंभ 2025 अपने समापन की ओर है इसी के बीच आसमान में एक ऐसी दुर्लभ घटना हो रही है जिसमें सभी ग्रह एक साथ दिखाई देंगे। यह खगोलीय घटना महाकुंभ के महत्व को और खास बना देगी। क्योंकि, लोगों का मानना है कि ऐसी खगोलीय घटनाएं आध्यात्मिक ऊर्जा को बढ़ाती हैं।
28 फरवरी की रात होगी खास
खगोल विज्ञान में दिलचस्पी रखने वालों के लिए 28 फरवरी खास होगा। इस घटना को ग्रहों का संरेखण (Alignment of Planets) या प्लेनेट परेड कहा जाता है। 28 फरवरी की रात को ग्रहों की परेड चरम बिंदु पर होगा। यह पिछले महीने से चल रही है। वैज्ञानिकों का कहना है कि ये एलाइनमेंट (Alignment) काफी दुर्लभ है और फिर अगले 15 साल तक देखने को नहीं मिलेगा। इसके बाद इस तरह की ग्रहों की परेड साल 2040 में ही देखने को मिल सकती है। सभी ग्रह 28 फरवरी को थोड़े समय के लिए एक साथ दिखाई देंगे। एक्सपर्ट का कहना है कि इसे देखने के लिए शहर की रोशनी से दूर खुले मैदान में जाना बेहतर होगा। इस दौरान मौसम साफ रहा तो यूरेनस और नेपच्यून को छोड़कर बाकी ग्रहों को नंगी आंखों से देखा जा सकेगा। यूरेनस और नेपच्यून को देखने के लिए दूरबीन की जरूरत होगी।
भारत में कहां देख सकते हैं ग्रहों की परेड
अगर आप भारत में इस नजारे को देखना चाहते हैं तो इसे कहीं से भी देखा जा सकता है। हालांकि, इस अद्भुत खगोलीय घटना को देखने के लिए हमें शहर से दूर एक खुले मैदान में जाना होगा। अगर मौसम साफ नहीं रहता है तो दूरबीन की मदद से इस दुर्लभ संयोग को देखा जा सकता है। खगोलविदों के अनुसार, ग्रहों के एलाइनमेंट तब होता है जब सभी ग्रह सूर्य की एक तरफ एक साथ दिखाई देते हैं। इस एलाइनमेंट में 3 से 8 ग्रह तक शामिल हो सकते हैं।
28 फरवरी को सभी 7 ग्रह एक सीध में दिखेंगे
एक बड़े एलाइनमेंट में आमतौर पर 5 या 6 ग्रह होते हैं। लेकिन 28 फरवरी को सभी 7 ग्रहों का एलाइनमेंट हो रहा है, जो एक दुर्लभ नजारा है। सौरमंडल में होने वाली यह अद्भुत घटना जनवरी 2025 में शुरू हुई थी जो फरवरी में समाप्त होगी। जनवरी में शुरू हुए ‘ग्रहों की परेड’ में शुक्र, मंगल, बृहस्पति, शनि, यूरेनस और नेपच्यून दिखाई दिए थे। इस ग्रह परेड के फरवरी में अपने चरम पर पहुंचने की उम्मीद है, जब बुध भी इस परेड में शामिल होगा। बुध सूर्य के सबसे निकट परिक्रमा करता है, माना जा रहा है कि वह 7वां अतिरिक्त ग्रह है जो इस ग्रह परेड को पूरा करेगा, जिससे इस वर्ष 28 फरवरी को सौरमंडल के सभी ग्रह एक साथ आकाश में दिखाई देंगे। बुध ग्रह आमतौर पर रात में दिखाई नहीं देता है, क्योंकि यह आकाश में हमेशा सूर्य के बहुत करीब रहता है। इसका अर्थ है कि इसे केवल सूर्यास्त के तुरंत बाद या सूर्योदय से पहले गोधूलि के समय ही देखा जा सकता है, जब यह अपनी अधिकतम दूरी (सूर्य से सबसे अधिक दूरी) पर होता है।
‘ग्रहों के एलाइनमेंट’ का वास्तव में क्या अर्थ है?
नासा के मुताबिक, ग्रहों का एलाइनमेंट कई अलग-अलग घटनाओं को सूचित करता है। जब हमारे सौरमंडल के ग्रह सूर्य की परिक्रमा करते हैं तो वे कभी-कभी अंतरिक्ष में पंक्तिबद्ध होकर ऐसी घटनाएं करते हैं जिन्हें अपोजिशन और कंजक्शन (Conjunction) कहा जाता है। ग्रहों के एलाइनमेंट का अर्थ हमारे आकाश में अन्य ग्रहों, चंद्रमा या चमकीले तारों के साथ स्पष्ट रूप से लाइनअप से भी हो सकता है। ग्रहों की परेड देखने के लिए आप शहर की रोशनी से दूर खुले स्थान पर जा सकते हैं, जहां आसमान साफ हो। नासा के अनुसार, ग्रहों की परेड एक दिन की घटना नहीं है, क्योंकि ग्रह बहुत धीमी गति से चलते हैं। आम तौर पर कई ग्रहों को देखने के अवसर कई हप्तों से लेकर एक महीने या उससे ज्यादा समय तक चलते हैं। यहां तक कि 5 ग्रहों की घटनाएं भी कई दिनों तक चलती हैं, क्योंकि बुध कुछ समय के लिए सूर्य की चमक से बाहर निकलता है और वापस लौट जाता है।