मणिपुर के बिष्णुपुर और चुराचांदपुर जिलों में अगले दो महीनों के लिए सीआरपीसी की धारा 144 लागू कर दी गई है, जबकि पूरे राज्य में अगले पांच दिनों के लिए इंटरनेट बैन कर दिया गया है। बता दें कि बिष्णुपुर के फुगकचाओ इखांग में तीन से चार लोगों ने शनिवार को एक गाड़ी को आग के हवाले कर दिया था। इसके बाद विशेष सचिव (गृह) एच ज्ञान प्रकाश ने आदेश जारी कर मणिपुर में मोबाइल डेटा सेवाओं को पांच दिनों के लिए सस्पेंड कर दिया है।
आदेश के अनुसार, कुछ असामाजिक तत्व ने लोगों को भड़काने के लिए भड़काऊ भाषणों को सोशल मीडिया के जरिए प्रसारित कर रहे हैं। आदेश में कहा गया है कि गाड़ी में आग लगाने की घटना ने सांप्रदायिक तनाव पैदा कर दिया है। उधर, बिष्णुपुर के जिला मजिस्ट्रेट ने शनिवार शाम से अगले दो महीने की अवधि के लिए बिष्णुपुर और चुराचांदपुर में सीआरपीसी की धारा 144 लागू कर दी।
Mobile data services suspended in the entire state of Manipur for 5 days after one van was reportedly set ablaze by 3/4 youths suspected to be of a community, in Bishnupur. The crime has created tense communal situation & volatile law & order situation in the state: Manipur Govt pic.twitter.com/4NoY1bQKVH
— ANI (@ANI) August 7, 2022
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क्या है पूरा मामला
दरअसल, राज्य की एन बीरेन सिंह के नेतृत्व वाली भाजपा सरकार ने मंगलवार को मणिपुर (पहाड़ी क्षेत्र) जिला परिषद 6 वां और 7 वां संशोधन बिल पेश किया। इसके बाद ऑल ट्राइबल स्टूडेंट यूनियन मणिपुर (ATSUM) ने इस संशोधन बिल का विरोध किया। ATSUM आदिवासी छात्रों का एक प्रभावी संगठन है।
ऑल ट्राइबल स्टूडेंट्स यूनियन मणिपुर ने शुक्रवार सुबह से राज्य में अनिश्चितकालीन आर्थिक नाकेबंदी का आह्वान किया है। उनकी मांग है कि मणिपुर (पहाड़ी क्षेत्र) स्वायत्त परिषद विधेयक 2021 को बिना किसी देरी के राज्य विधानसभा में पेश किया जाए। जनजातीय क्षेत्रों को अधिक स्वायत्तता देना विधेयक का उद्देश्य है।
Manipur | Section 144 CrPC imposed in the Churachandpur and Bishnupur districts for the next two months after 3-4 people torched a vehicle in Phougakchao Ikhang last evening. pic.twitter.com/WjY5mTOio4
— ANI (@ANI) August 7, 2022
उधर, राज्य सरकार की ओर से संशोधन विधेयक पेश किए जाने के बाद से एटीएसयूएम आदिवासी बहुल कांगपोकपी और सेनापति मंगलवार से पूरी तरह बंद है। राज्य सरकार ने ऐहतियात के तौर पर विरोध-प्रदर्शन के दौरान सार्वजनिक संपत्ति के नुकसान का खतरा है, इसलिए राज्य के दो जिलों में अगले दो महीनों तक सीआरपीसी की धारा 144 को लागू करने और सोशल मीडिया के जरिए किसी तरह की अफवाह न फैले, इसलिए पांच दिनों के लिए इंटरनेट को संस्पेंड किया गया है।
शनिवार को क्या हुआ था
मंगलवार को राज्य सरकार की ओर से विधानसभा में पेश किए गए संसोधन बिल के खिलाफ बुधवार से प्रदर्शन होने लगा। शनिवार को प्रदर्शन कर रहे ऑल ट्राइबल स्टूडेंट यूनियन, मणिपुर ने इंफाल में काफी हंगामा किया। ट्राइबल छात्रों के संगठन ने राज्य के नेशनल हाइवे पर असीमित आर्थिक नाकाबंदी की। इस दौरान तोड़फोड़ और गाड़ियों में आगजनी भी की गई।
मामले की जानकारी के बाद पुलिस ने स्टूडेंट यूनियन को रोकने की कोशिश की तो पुलिस और स्टूडेंट्स यूनियन के कार्यकर्ताओं के बीच संघर्ष हो गया। इस दौरान 30 से अधिक आदिवासी छात्र घायल गए। बताया जा रहा है कि पुलिस ने पांच आदिवासी छात्र नेताओं को गिरफ्तार कर 15 दिनों के रिमांड पर भेज दिया।