Essential steps to start Business: आजकल कुछ ‘अपना’ करने का चलन बढ़ गया है। युवा अपने आइडियाज को बिजनेस में कन्वर्ट करने पर जोर दे रहे हैं। सरकारी स्तर पर मिलने वाली सहायता के चलते छोटे बिजनेस सेटअप करने वालों की संख्या में उछाल आया है। हालांकि, कोई भी बिजनेस कितना सफल होगा, यह तैयारी और रणनीति पर निर्भर करता है। अगर आप सही तैयारी नहीं करते और बाजार अनुरूप रणनीति को नहीं अपनाते, तो अच्छे से अच्छा आइडिया भी बेकार साबित हो सकता है।
इनका रखें ध्यान
चाहें आप फ़ूड स्टॉल लगाना चाहें। ट्यूशन सेंटर, ब्यूटी पार्लर, रियल एस्टेट एजेंसी, फ़ोटोग्राफ़ी यूनिट या फिर अपना यूट्यूब चैनल ही क्यों न शुरू करना चाहें, कुछ आवश्यक प्रक्रियाएं हैं जिनसे गुजरना होगा। अन्यथा आपकी सफलता की संभावना बेहद सीमित हो जाएगी। किसी भी आइडिया को अमल में लाने के लिए कुछ जरूरी बातों पर ध्यान देना, कारगर रणनीति तैयार करना बेहद जरूरी है। आइए जानते हैं एक छोटा बिजनेस शुरू करने के लिए कौन से कदम आवश्यक हैं।
आइडिया फाइनल करना
बिजनेस सेटअप करने का पहला और सबसे महत्वपूर्ण चरण है, यह तय करना कि किस आइडिया पर काम करना है। बिजनेस को लेकर कई तरह के विचार मन में आते हैं। दूसरों की सलाह भी आपके विचारों को प्रभावित करती है। ऐसे में यह निर्णय लेना मुश्किल हो जाता है कि किस दिशा में बढ़ा जाए। ऐसी स्थिति में देखें कि आप किस पर सबसे अच्छी तरह से काम कर सकते हैं। अपने पैशन और स्किल्स को परखें और देखें कि क्या आप उनमें से किसी को व्यवसाय में बदल सकते हैं। यदि आपके पास कोई ऐसा आइडिया है, जिस पर अभी तक काम नहीं हुआ है, तो पता लगाएं कि उससे ग्राहकों की कौन सी जरूरतें पूरी होंगी? डिमांड का पता लगाने के लिए एक क्विक इनफॉर्मल सर्वे करें।
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टारगेट ऑडियंस की पहचान
कोई भी बिजनेस आइडिया कितना भी दमदार क्यों न हो, अगर टारगेट ऑडियंस को लेकर स्पष्टता नहीं है, तो उसके सफल होने की संभावना बेहद कम हो जाएगी। संभावित ग्राहकों को जानने के लिए टारगेट ऑडियंस की पहचान करनी होगी। इसके अलावा, प्रतिस्पर्धियों का विश्लेषण भी करना चाहिए ताकि यह पता चल सके कि टारगेट ऑडियंस बाजार में मौजूदा अन्य प्लेयर्स की तुलना में आपको क्यों चुनेगी।
बिजनेस प्लान बनाना
बिजनेस प्लान आपके बिजनेस आइडिया के महत्वपूर्ण तत्वों की व्यापक रूपरेखा तैयार करना है। आमतौर पर इसमें बाजार विश्लेषण से प्राप्त जानकारी के आधार पर उन उत्पादों/सेवाओं का विवरण और सारांश शामिल होना चाहिए जिन्हें आप पेश करना चाहते हैं।
एंटिटी और नाम
चौथा चरण यह तय करना है कि आपके बिजनेस का स्ट्रक्चर कैसा होगा? उदाहरण के लिए, यह प्रोप्राइटरशिप होगा या लिमिटेड लायबिलिटी पार्टनरशिप (LLP)। यह निर्णय लेना इसलिए भी आवश्यक है, क्योंकि इसका भविष्य में पूंजी जुटाने पर भी प्रभाव पड़ता है। यदि आवश्यक हो तो कंपनी और ट्रेडमार्क का रजिस्ट्रेशन भी कराया जाना चाहिए।
फाइनेंस/मार्केटिंग प्लान
आखिरी में आपको एक विस्तृत वित्तीय योजना तैयार करनी होगी, जो आपको अपना बिजनेस सेटअप करने के लिए पूंजी जुटाने में मदद करेगी। इस बारे में स्पष्टता बेहद जरूरी है कि शुरुआती कैपिटल कहां से आएगी और भविष्य में आवश्यकता पड़ने पर कहां से अतिरिक्त व्यवस्था हो सकती है। इसी तरह, मार्केटिंग/सेल्स योजना आपको अपने उत्पाद या सेवा को बेचने में मदद करेगी। आजकल सोशल मीडिया उत्पादों और सेवाओं की पेशकश के लिए महत्वपूर्ण माध्यमों में से एक है। इसलिए आपको हर संभावना को तलाशना होगा।