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Shani Ratan: शनि देव को बेहद प्यारे हैं ये 3 रत्न, धारण करते ही चमक जाती है किस्मत

Shani Gemstone : ज्योतिष शास्त्र के अनुसार, जिस जातक की कुंडली में शनि की महादशा, साढ़ेसाती और ढैय्या चल रही हैं, तो वैसे जातक को ये खास रत्न जरूर धारण करना चाहिए। मान्यता है इन तीन रत्नों को धारण करने से सारी समस्याएं खत्म हो जाती हैं। तो आइए उन रत्नों के बारे में जानते हैं।

Edited By : Raghvendra Tiwari | Updated: Nov 25, 2023 08:42
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Shani Gemstone
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Shani Gemstone : वैदिक ज्योतिष शास्त्र के अनुसार, जब कुंडली में ग्रहों की स्थिति बदलती है, तो व्यक्ति को शुभ और अशुभ प्रभाव पड़ते हैं। जिससे जीवन में अच्छे-बुरे परिणाम भी मिलते रहते हैं। ज्योतिष शास्त्र के अनुसार, कुंडली में शनि देव की स्थित यदि अशुभ होती है, तो बेहद कष्टदायी मानी जाती है। मान्यता है कि जिस जातक की कुंडली में शनिदेव की बुरी दृष्टि होती है, उसका जीवन दुख और बाधाओं से घिरा रहता है। साथ ही जीवन में खुशियां नहीं आती हैं।

ज्योतिष शास्त्र के अनुसार, शनि देव की बुरी दृष्टि को मजबूत बनाने के लिए कुछ रत्न होते हैं। मान्यता है कि इन रत्नों को धारण करने से शनि देव की बुरी दृष्टि से मुक्ति पा सकते हैं। तो आइए कुंडली में शनि देव का दुष्प्रभाव को कम करने के लिए चमत्कारी रत्नों के बारे में विस्तार से जानते हैं।

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फिरोजा रत्न

ज्योतिष शास्त्र के अनुसार, जिस जातक की कुंडली में शनि ग्रह की स्थिति कमजोर होती है तो उसे मजबूत करने के लिए जातक को फिरोजा रत्न धारण करना चाहिए। मान्यता है कि फिरोजा रत्न धारण करने से गुरु ग्रह की स्थिति भी मजबूत होता है। साथ ही जातक को अंदर से कॉन्फिडेंस भी बढ़ जाता है। ज्योतिष शास्त्र के अनुसार, इस रत्न को धारण करने से गृह-क्लेश से भी मुक्ति मिलती है। ज्योतिषियों के अनुसार, फिरोजा रत्न शुक्रवार, गुरुवार और शनिवार को पहनना चाहिए।

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लाजवर्त रत्न

ज्योतिष शास्त्र के अनुसार, शनि के प्रकोप को कम करने के लिए जातक को लाजवर्त रत्न पहनना चाहिए। इसे धारण करने से कुंडली में शनि, राहु और केतु तीनों ग्रहों के अशुभ प्रभावों से मुक्ति मिल सकता है। साथ ही जीवन से सारे कष्ट भी दूर हो जाते हैं। रत्न शास्त्र के अनुसार, लाजवर्त रत्न धारण करने से नौकरी-कारोबार में आर रहे किसी भी प्रकार की समस्याओं से मुक्ति मिल जाती हैं। ज्योतिष शास्त्र के अनुसार, लाजवर्त रत्न शनिवार के दिन चांदी की अंगूठी में धारण करना चाहिए। इस दिन धारण करना बेहद शुभ माना गया है।

नीलम रत्न

जिस जातक की कुंडली में शनि की महादशी, साढ़ेसाती और ढैय्या के अशुभ प्रभाव हैं, तो वैसे जातक को नीलम रत्न धारण करना चाहिए। मान्यता है कि नीलम रत्न धारण करने से जातक के जीवन में आ रहे किसी भी प्रकार की समस्याएं खत्म हो जाती हैं। साथ ही जातक के मन की एकाग्रता भी बढ़ती है।

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डिस्क्लेमर: यहां दी गई जानकारी ज्योतिष पर आधारित है तथा केवल सूचना के लिए दी जा रही है। News24 इसकी पुष्टि नहीं करता है। किसी भी उपाय को करने से पहले संबंधित विषय के एक्सपर्ट से सलाह अवश्य लें।

First published on: Nov 25, 2023 06:40 AM

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