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उत्तर प्रदेश / उत्तराखंड

इतिहास का सबसे बड़ा समागम बना महाकुंभ, पावन डुबकी लगाने वाले श्रद्धालुओं की संख्या 50 करोड़ पार

Prayagraj Maha Kumbh 2025: प्रयागराज महाकुंभ ने दुनिया के सबसे बड़े समागम का रिकॉर्ड बना लिया है। महाकुंभ में 50 करोड़ से अधिक श्रद्धालु पहुंच चुके हैं। यह आबादी दुनिया के 2 देशों को छोड़कर सबसे अधिक है।

Author Edited By : Parmod chaudhary Updated: Feb 14, 2025 19:11
Maha Kumbh 2025
Maha Kumbh 2025

Prayagraj Maha Kumbh: उत्तर प्रदेश के प्रयागराज में चल रहे महाकुंभ ने दुनिया के सबसे बड़े मानव समागम का रिकॉर्ड बना लिया है। त्रिवेणी (गंगा, यमुना और सरस्वती) के पवित्र संगम में अब तक 50 करोड़ से अधिक श्रद्धालु डुबकी लगा चुके हैं। अभी श्रद्धालुओं की आवाजाही जारी है। प्रयागराज की धरती पर 13 जनवरी से जारी महाकुंभ ने इतिहास रच दिया है। 50 करोड़ से अधिक भक्त सनातन आस्था में डुबकी लगाकर धार्मिक और सांस्कृतिक एकता की मिसाल कायम कर चुके हैं। भारत और चीन के बाद यह दुनिया की तीसरी बड़ी आबादी है। मानव इतिहास के किसी आयोजन में इतनी बड़ी संख्या में लोगों के सहभागी होने के प्रमाण नहीं हैं।

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महाकुंभ में अब तक जितने श्रद्धालुओं ने उपस्थिति दर्ज करवाई है, उस आबादी से बड़े सिर्फ दुनिया में दो ही देश हैं। भारत की प्राचीन परंपरा का लोहा आज पूरी दुनिया मान रही है। महाकुंभ की दिव्यता और भव्यता से पूरी दुनिया मंत्रमुग्ध है। US Census Bureau की रिपोर्ट के अनुसार दुनिया में टॉप-10 देशों में 8 देश ऐसे हैं, जिनकी आबादी महाकुंभ में आई भीड़ से कम है। रिपोर्ट में सबसे पहले भारत की जनसंख्या (141.9 करोड़) का जिक्र है।

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इसके बाद चीन (140.7 करोड़), अमेरिका (34.2 करोड़), इंडोनेशिया (28.3), पाकिस्तान (25.7), नाइजीरिया (24.2), ब्राजील (22.1 करोड़), बांग्लादेश (17.01 करोड़), रूस (14.01 करोड़) और मैक्सिको (13.1 करोड़) आते हैं। यानी अब तक महाकुंभ में जितनी भीड़ उमड़ी है, उससे ज्यादा जनसंख्या भारत और चीन की है। दुनिया के और देश इसके आसपास भी नहीं है।

मौनी अमावस्या के दिन टूटे रिकॉर्ड

इससे पता लगता है कि महाकुंभ सिर्फ एक आयोजन नहीं, बल्कि सनातन धर्म के विराट स्वरूप के तौर पर पहचान बना चुका है। बता दें महाकुंभ से पहले यूपी के सीएम योगी आदित्यनाथ ने अनुमान लगाया था कि इस बार 45 करोड़ श्रद्धालु पवित्र डुबकी लगाएंगे। अभी 14 फरवरी को ही 50 करोड़ का आंकड़ा पार हो चुका है। अभी पवित्र स्नान 12 दिन और चलेगा। ऐसे में 55-60 करोड़ लोगों के आने का अनुमान लगाया जा रहा है। 45 करोड़ का आंकड़ा 11 फरवरी को ही पार हो चुका है। मौनी अमावस्या के दिन लगभग 8 करोड़ लोगों ने डुबकी लगाई थी। इसके बाद मकर संक्रांति के दिन लगभग साढ़े 3 करोड़ भक्त आए थे।

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Edited By

Parmod chaudhary

First published on: Feb 14, 2025 06:56 PM

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