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प्रयागराज के शिक्षा निदेशालय में भीषण आग, टीचर भर्ती घोटाले समेत 5000 फाइलें जलकर राख

प्रयागराज स्थित शिक्षा निदेशालय में आग लगने से 5 हजार फाइलें जलकर राख हो गईं। आग भूतल पर स्थित कमरा नं. 14 और 15 में लगी। आग से टीचर भर्ती घोटाले से जुड़ी जांच, शिक्षक भर्ती और एडेड स्कूलों की जांच से जुड़ी फाइलें भी थी।

Prayagraj education directorate fire
, प्रयागराज के शिक्षा निदेशालय रविवार सुबह भीषण आग लग गई। आग से दो कमरों में रखी 5 हजार से अधिक फाइलें जलकर राख हो गईं। मौके पर फायर ब्रिग्रेड की 3 गाड़ियां आग बुझाने के लिए पहुंचीं। जानकारी के अनुसार आग बुझाने पहुंचे फायरकर्मियों को इस दौरान करंट के झटके लगे, इससे वहां चीख पुकार मच गई। आग बुझाने में 4 घंटे से ज्यादा का समय लगा। आग निदेशालय के भूतल पर स्थित कमरा नंबर 14 और 15 में लगी। जानकारी के अनुसार जिन दो कमरों में आग लगी उनमें एडेड स्कूलों के रजिस्ट्रेशन, टीचर भर्ती और भर्ती में फर्जीवाड़ा, जांच, ट्रांसफर और वित्तीय लेनदेन से जुड़ी फाइलें रखी थीं। आग लगने की घटना कैसे हुई? इसको लेकर अभी कोई बयान सामने नहीं आया है।

गार्ड ने क्या कहा?

घटना के बाद मौके पर पुलिस और सीनियर अफसर पहुंचे हैं। ऑफिस के आसपास लगे सीसीटीवी फुटेज की जांच की जा रही है। पुलिस का कहना है कि सभी एंगल से जांच की जा रही है। वहीं आग लगने की घटना पर गार्ड कमलेश यादव का बयान भी सामने आया है। गार्ड ने बताया कि मैं नाइट ड्यूटी पर था। सुबह 7ः15 बजे घर के लिए निकला। रात में न तो कोई धुआं उठ रहा था और न ही जलने की बदबू आ रही थी। सुबह करीब 8ः15 बजे दूसरे गार्ड ने फोन कर आग लगने की सूचना दी। इसके बाद मैं मौके पर पहुंचा। ये भी पढ़ेंः जूनियर इंजीनियर को डांस करना पड़ा भारी, वीडियो में ऐसा क्या, जो हो गए सस्पेंड?

ये फाइलें जलकर हुई राख

शिक्षा निदेशालय में कार्यरत कर्मचारी ने बताया कि कमरे में जली फाइलें फर्जी शिक्षक भर्ती से जुड़ी थीं। कमरे में एडेड स्कूलों की रजिस्ट्रेशन फाइलें, एडेड स्कूल की टीचर भर्ती, ट्रांसफर की फाइलें, वित्तीय लेनदेन से जुड़ी फाइलें, एडेड स्कूलों की डिग्री से जुड़ी फाइलें शामिल थी। विभाग के कर्मचारी की मानें तो एडेड विद्यालयों का रिकॉर्ड काफी अहम होता है। पहले ऑनलाइन व्यवस्था नहीं होने के कारण सारा रिकॉर्ड फाइलों के माध्यम से ही मैंटेन किया जाता था। सरकार की ओर से करोड़ों रुपये का फंड एडेड विद्यालयों को दिया जाता है। रिकॉर्ड शिक्षा निदेशालय में ही मैंटेन होता है। ये भी पढ़ेंः ‘पहलगाम हमले का लिया जाए बदला…’, मऊ में मुस्लिम समाज सड़कों पर उतरा


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