Shahberi Flyover Connect Ghaziabad-Greater Noida: ग्रेटर नोएडा वेस्ट के शाहबेरी गांव और गाजियाबाद के क्रॉसिंग रिपब्लिक के बीच यातायात की समस्या से जल्द ही निजात मिलने वाली है। दोनों जगहों को जोड़ने वाले फ्लाईओवर के निर्माण का काम जल्द ही शुरू होने की उम्मीद है। दरअसल, ग्रेटर नोएडा और गाजियाबाद के बीच बनने वाले शाहबेरी फ्लाईओवर को ग्रेटर नोएडा प्राधिकरण ने हरी झंडी दे दी है। इस प्रोजेक्ट को हरी झंडी मिल जाने के बाद फ्लाईओवर का DPR (विस्तृत परियोजना रिपोर्ट) तैयार किया जाएगा। फ्लाईओवर के निर्माण से ग्रेटर नोएडा के जेवर एयरपोर्ट तक आने-जाने वाले लोगों का फायदा मिलेगा। साथ ही इससे ग्रेटर नोएडा और गाजियाबाद के बीच की कनेक्टिविटी बेहतर होगी।
CRRI डीपीआर तैयार करने में जुटा
केंद्रीय सड़क अनुसंधान संस्थान (CRRI) की एक टीम ने इस प्रोजेक्ट के लिए प्रारंभिक साइट मूल्यांकन का काम पूरा कर लिया है। संस्थान अब डीपीआर तैयार करेगा। शाहबेरी फ्लाईओवर के बनने से ग्रेटर नोएडा इंटरनेशनल एयरपोर्ट और गाजियाबाद के रास्ते पश्चिम यूपी तक जाने वाले लोगों का सफर आसान होगा। ग्रेटर नोएडा प्राधिकरण ने केंद्रीय सड़क अनुसंधान संस्थान (सीआरआरआई) की शाहबेरी फ्लाईओवर की रिपोर्ट को हरी झंडी दे दी है। अब इस शाहबेरी फ्लाईओवर के निर्माण से पहले इटेडा गोल चक्कर से एनएच-9 तक करीब 3.8 किमी लंबे और 16 मीटर चौड़े फ्लाईओवर का डीपीआर तैयार किया जाएगा।
GNIDA ने CRRI को भेजा पत्र
ग्रेटर नोएडा औद्योगिक विकास प्राधिकरण ने डीपीआर रिपोर्ट तैयार करने के लिए सीआरआरआई को पत्र भेज दिया है। डीपीआर को सबसे पहले प्राधिकरण बोर्ड के सामने रखा जाएगा। यहां से मंजूरी मिलने के बाद इस पर शासन से मंजूरी ली जाएगी। डीपीआर के साथ 16 मीटर चौड़ाई के दायरे में आने वाले 4 किलोमीटर के निर्माण की भी एक रिपोर्ट तैयार की जा रही है। ऐसा अनुमान है कि अप्रैल 2025 तक ग्रेटर नोएडा का जेवर एयरपोर्ट कमर्शियल यूज के लिए शुरू हो जाएगा।
एयरपोर्ट के शुरू हो जाने के बाद बड़ी संख्या में पश्चिमी यूपी के लोग गाजियाबाद और ग्रेटर नोएडा के रास्ते होते हुए एयरपोर्ट पहुंचेंगे। इसलिए प्राधिकरण एयरपोर्ट शुरू होने से पहले सड़कों की समस्या को पूरी तरह दुरुस्त करने में लग गया है। सीआरआरआई प्राधिकरण को एलिवेटेड रोड बनाने के सुझाव देते हुए दो प्रस्ताव भेजे थे। इसमें गाजियाबाद से ग्रेनो वेस्ट तक 14 मीटर और 16 मीटर चौड़ा फ्लाईओवर बनाने का प्रस्ताव दिया गया था। फिलहाल प्राधिकरण ने 16 मीटर चौड़ा फ्लाईओवर को मंजूरी दे दी है।
फ्लाईओवर के निर्माण से दूर होंगी ये समस्याएं
वहीं, शाहबेरी को क्रॉसिंग रिपब्लिक से जोड़ने वाली 1 किलोमीटर लंबी सड़क 15 मीटर चौड़ी है। इन दो जगहों को जोड़ने के अलावा, यह सड़क अतिरिक्त यातायात को भी पूरा करती है क्योंकि यात्री इसका इस्तेमाल दिल्ली-मेरठ एक्सप्रेसवे के साथ-साथ गाजियाबाद से नोएडा लिंक रोड तक पहुंचने के लिए करते हैं। इस सड़क पर अक्सर हैवी ट्रैफिक जाम रहता है, जिससे यात्रियों को काफी असुविधा होती है। बेतरतीब पार्किंग और स्थानीय फर्नीचर दुकान मालिकों द्वारा अतिक्रमण समस्या को और बढ़ा देता है। उम्मीद है कि फ्लाईओवर का निर्माण हो जाने पर ये समस्याएं दूर हो जाएंगी।