---विज्ञापन---

प्रदेश

पराली के प्रबंधन में पंजाब और दिल्ली सरकार की सांझी बड़ी पहल, 5000 एकड़ में पायलट प्रोजेक्ट करने का लिया फैसला

नईं दिल्ली/ चंडीगढ़: धान की पराली के प्रबंधन और किसानों को हर संभव मदद देने के लिए निरंतर यत्न कर रही पंजाब सरकार के यत्नों को उस समय पर बड़ी सफलता मिली जब पराली के प्रबंधन में पंजाब और दिल्ली सरकार की सांझी बड़ी पहल स्वरूप पंजाब में पूसा बायो डी कम्पोज़र का 5000 एकड़ […]

Author Edited By : Yashodhan Sharma Updated: Sep 15, 2022 15:25
AAP
AAP

नईं दिल्ली/ चंडीगढ़: धान की पराली के प्रबंधन और किसानों को हर संभव मदद देने के लिए निरंतर यत्न कर रही पंजाब सरकार के यत्नों को उस समय पर बड़ी सफलता मिली जब पराली के प्रबंधन में पंजाब और दिल्ली सरकार की सांझी बड़ी पहल स्वरूप पंजाब में पूसा बायो डी कम्पोज़र का 5000 एकड़ में पायलट प्रोजेक्ट करने का फैसला किया गया।

पंजाब के कृषि मंत्री कुलदीप सिंह धालीवाल ने प्रेस बयान के द्वारा जानकारी सांझी करते हुए बताया कि इस सम्बन्धी कल देर रात नयी दिल्ली में उच्च स्तरीय मीटिंगें की गई। पहले वह नईं दिल्ली में पराली से होने वाले प्रदूषण के लिए रोकने के लिए इसके प्रबंधन सम्बन्धी दिल्ली के मुख्यमंत्री अरविन्द केजरीवाल को भी मिले और इस सम्बन्धी दिल्ली के मुख्यमंत्री की तरफ से पूर्ण मदद का भरोसा दिया गया है। इसके उपरांत इस सम्बन्धी दिल्ली के कृषि मंत्री गोपाल राय के साथ भी मुलाकात की। यह प्रोजेक्ट दोनों राज्यों की सरकार की तरफ से मिल कर पंजाब में किया जायेगा।

---विज्ञापन---

कृषि मंत्री ने कहा कि डी कम्पोज़र वह विधि है, जिसके द्वारा पराली छिड़काव के बाद बिना जलाए खेत में मिट्टी में मिला दी जाती है। कुलदीप धालीवाल ने कहा कि पंजाब सरकार की तरफ से धान की पराली से होने वाले प्रदूषण को रोकने के लिए पूरी तैयारियाँ कर ली गई हैं जिसके अंतर्गत जागरूक टीमें, चौकसी टीमों का प्रचार मुहिम और कृषि यंत्रों पर सब्सिडी मुहैया करवाना शामिल है।

कुलदीप धालीवाल ने कहा कि मीटिंग में केंद्र सरकार की तरफ से किसान विरोधी अपनाए गए रूख की भी निंदा की जिसम किसानों को पराली के प्रबंधन के लिए पंजाब के किसानों को मुआवज़ें या वित्तीय सहायता करने की माँग को ठुकरा दी है। चाहे केंद्र सरकार ने पराली को जलाने से रोकने के लिए राज्य के किसानों की मदद करने से न कर दी है, परन्तु पंजाब सरकार पराली को जलाने से होने वाले प्रदूषण रोकने के लिए अपने स्तर पर हर प्रयास करेगी।

---विज्ञापन---

उन्होंने कहा कि मुख्यमंत्री भगवंत मान के नेतृत्व में सरकार की तरफ से पराली न जलाने के लिए किसानों को जागरूक करने के साथ साथ खेती यंत्र भी सस्ते भाव पर मुहैया करवाए जाएंगे। पंजाब सरकार का कृषि विभाग, मंडी बोर्ड, प्रदूषण कंट्रोल बोर्ड के इलावा कई और विभागों की तरफ से पराली को जलाने से रोकने के लिए अलग अलग प्रयास किये जाएंगे और मुहिमें चलाईं जाएंगी।

स. धालीवाल ने किसानों को भी अपील की है कि हमारी धरती, हवा और पानी को प्रदूषण से बचाने के लिए सरकार का पूरा सहयोग करें जिससे हमारी आने वाली पीढ़ियां रोग मुक्त साफ़ सुथरे वातावरण का आनंद मान सकें। मीटिंग में अतिरिक्त मुख्य सचिव कृषि सरवजीत सिंह, डा. लवलीन शुक्ला, डा. सुनील पाबी, डा. के. अन्नापूर्णा और विवेक कुमार त्रिपाठी भी उपस्थित थे।

First published on: Sep 15, 2022 03:08 PM

संबंधित खबरें