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Delhi Elections Result: दिल्ली में अपनी सीट ही नहीं बचा सके केजरीवाल, जानें हार के 5 कारण

LIVE Delhi Assembly Election Results 2025: दिल्ली विधानसभा की 70 सीटों पर वोटों की गिनती जारी है। रुझानों के मुताबिक दिल्ली में बीजेपी बहुमत से ज्यादा सीटें लेती दिख रही है।

Edited By : Parmod chaudhary | Updated: Feb 8, 2025 13:05
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Arvind Kejriwal

Delhi Assembly Election 2025 Results LIVE Updates: दिल्ली विधानसभा की सभी 70 सीटों पर काउंटिंग जारी है। कई सीटों के नतीजे सामने आ चुके हैं। दिल्ली के पूर्व सीएम अरविंद केजरीवाल नई दिल्ली सीट से चुनाव हार गए हैं। बीजेपी के प्रवेश वर्मा ने 3182 वोटों से जीत हासिल की है। दिल्ली में आप की हार के क्या कारण रहे, इनके बारे में जानते हैं? 2013 में अन्ना हजारे के आंदोलन से निकल राजनीति की शुरुआत करने वाले अरविंद केजरीवाल को पहली राजनीतिक हार का सामना करना पड़ा है। मुफ्त बिजली, पानी और बस के सफर की योजनाओं को भी जनता का साथ नहीं मिला। आप के कई बड़े नेताओं को हार का सामना करना पड़ा है। पॉश इलाकों के अलावा मुस्लिम बहुल इलाकों में भी आप को बड़ा झटका लगा है। पिछले चुनाव के मुकाबले पार्टी अपना बड़ा जनाधार खो चुकी है।

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केजरीवाल दिल्ली मॉडल की बात पूरे चुनाव में दोहराते रहे, लेकिन बीजेपी ने सड़क और पानी जैसे जनता से जुड़े मुद्दों को नहीं छोड़ा। बुराड़ी से संगम विहार और उत्तम नगर से पटपड़गंज तक बीजेपी टूटी सड़कों का मुद्दा उठाती रही। बीजेपी ने लोगों से कहा कि जल बोर्ड ने सड़कें उखाड़ने का काम किया। ये सड़कें ठीक नहीं की गईं। कई इलाके ऐसे रहे, जहां 10 साल में सड़क बनी ही नहीं। कहीं न कहीं ये मुद्दा आप पर भारी साबित हुआ।

गर्मी के मौसम में पानी की किल्लत और कई इलाकों में टैंकर माफिया सक्रिय होने का मुद्दा भी उठा। बीजेपी ने आरोप लगाए कि फ्री बिजली-पानी के नाम पर लोगों को बरगलाया जा रहा है। पानी की किल्लत का मुद्दा पार्टी कैच कर गई। लोगों के बीच इस मुद्दे को रखा। कहीं न कहीं ये मुद्दा भी आप पर भारी साबित हुआ।

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बीजेपी की ओखला और मुस्तफाबाद जैसी मुस्लिम बहुल सीटों पर भी बढ़त कायम रही। यहां असदुद्दीन ओवैसी की पार्टी ने वोट काटने का काम किया। इसका फायदा बीजेपी को मिला। ओवैसी की पार्टी को जितने भी वोट मिले, उसका नुकसान आप को हुआ। मुस्लिम बहुल इलाकों में केजरीवाल को लेकर नाराजगी थी। कई लोग कह रहे थे कि दंगे के दौरान इलाके के लोगों को केजरीवाल ने साथ नहीं दिया। कोरोनाकाल में भी यहां के लोगों के साथ दुर्व्यवहार किया गया। कहीं न कहीं मुस्लिमों की नाराजगी भी आप पर भारी साबित हुई।

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आरके पुरम सीट पर सरकारी कर्मचारियों की संख्या अधिक है। यहां भी बीजेपी आगे रही। 8वें वेतन आयोग की घोषणा और यूनिफाइड पेंशन स्कीम को इसकी वजह माना जा रहा है। दोनों घोषणाओं को कर्मचारियों ने सपोर्ट किया। चुनाव से पहले बजट में 12 लाख तक की आय को टैक्स फ्री करना भी कहीं न कहीं बीजेपी के पक्ष में गया। इस चुनाव में BJP-RSS में तालमेल दिखा। संघ के लोगों ने बूथ मैनेजमेंट की जिम्मेदारी भी संभाल रखी थी। इसका असर ग्राउंड पर दिखा और नतीजे बीजेपी के पक्ष में आए।

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Edited By

Parmod chaudhary

First published on: Feb 08, 2025 12:49 PM
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