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Success Story of Raghunandan Saraf : कभी 50 हजार रुपये से की थी शुरुआत, आज 300 करोड़ पहुंच गया टर्नओवर

Success Story of Raghunandan Saraf : किसी भी बिजनेस को शुरू करने के लिए टेक्नोलॉजी काफी अहम होती है। इस के दम पर आप छोटे बिजनेस को भी बड़ा बना सकते हैं। ऐसा ही कुछ किया रघुनंदन सराफ ने। उन्होंने मात्र 50 हजार रुपये से अपना बिजनेस शुरू किया था। आज इसका सालाना टर्नओवर करोड़ों रुपये में है।

Edited By : Rajesh Bharti | May 24, 2024 06:30
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अपनी फैक्टरी में रघुनंदन सराफ।

Success Story of Raghunandan Saraf : किसी भी बिजनेस की सफलता में टेक्नोलाॅजी का इस्तेमाल और इनोवेशन काफी अहम होता है। राजस्थान के छोटे-से शहर से परिवार के बिजनेस को नई ऊंचाई पर ले जाने वाले रघुनंदन सराफ उन्हीं लोगों में शामिल हैं। सराफ फर्नीचर के फाउंडर और CEO रघुनंदन का कहना है कि अगर आपको बिजनेस की दुनिया में जंप मारना है तो इनोवेशन और टेक्नोलॉजी पर जोर देना होगा और जो सुविधाएं मौजूद हैं, उनका भरपूर इस्तेमाल करना होगा। कभी 50 हजार रुपये से बिजनेस की शुरुआत करने वाले रघुनंदन का फर्नीचर बिजनेस अब सालाना 300 करोड़ के टर्नओवर वाला हो गया है।

परिवार ने कर दिया था मना

रघुनंदन सराफ ने बताया कि शुरू में उनके परिवार का बिजनेस लकड़ियां बेचने का था। बाद यह फर्नीचर बेचने में बदल गया। उनका यह पुश्तैनी बिजनेस करीब 40 साल पुराना है। यह बिजनेस राजस्थान के चुरू जिले के सरदार शहर में है। साल 2011 की जनगणना के अनुसार इस शहर की आबादी करीब 1 लाख थी। रघुनंदन बताते हैं कि इस छोटे से शहर से बिजनेस शुरू करना आसान नहीं था। दिल्ली के श्रीराम कॉलेज ऑफ कॉमर्स से पढ़ाई करने के बाद रघुनंदन ने पापा से बिजनेस में कुछ इनोवेटिव करने और इसे ऑनलाइन ले जाने को कहा, जिसे उनके पिता से नकार दिया। रघुनंदन के पिताजी बी2बी मॉडल में बिजनेस करते थे। शुरुआत से ही इनका बिजनेस फर्नीचर एक्सपोर्ट करने में था। सीधे कस्टमर को कोई भी फर्नीचर नहीं बेचा जाता था।

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अपनी फैक्टरी में रघुनंदन सराफ।

दोस्तों से उधार लेकर शुरू किया बिजनेस

रघुनंदन बताते हैं कि वह बिजनेस में कुछ इनोवेटिव करना चाहते थे और इसे रिटेल में भी ले जाना चाहते थे। पिताजी के मना करने के बाद उन्होंने दोस्तों से 50 हजार रुपये उधार लिए और साल 2014 में फैक्टरी के एक कोने में छोटा-सा ऑफिस बनाकर फर्नीचर बेचने का ऑनलाइन काम शुरू कर दिया। फर्नीचर बेचने के लिए खुद की वेबसाइट बनाई थी। रघुनंदन बताते हैं कि आज भी उनका ऑफिस सरदार शहर में ही है। हालांकि यह ऑफिस अब फैक्टरी के कोने से निकलकर बड़ा हो गया है। शुरू में जहां ऑफिस में तीन लोग बैठते थे, अब करीब 1000 लोग हैं।

18 से ज्यादा देशों तक पहुंच

छोटे शहर में बिजनेस करने की सोचना मतलब एक पहाड़ पर चढ़ने जैसा हो सकता है। रघुनंदन ने इसे बहुत आसान बना दिया। वह बताते हैं कि शुरू में गलतियां हुईं, लेकिन उनसे सीखा। सराफ फर्नीचर आज दुनिया के 18 से ज्यादा देशों में अपना फर्नीचर बेचता है। देश में 5 शहरों (दिल्ली, मुंबई, सूरत, अहमदाबाद और बेंगलुरु) में स्टोर हैं।

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इनोवेशन पर दिया जोर

रघुनंदन बताते हैं कि आज के समय इस बात से फर्क नहीं पड़ता कि आपके पास बिजनेस शुरू करने के लिए कितनी रकम है और कहां से शुरू करना चाहते हैं। फर्क इस बात से पड़ता है कि आप बिजनेस शुरू करके टेक्नोलॉजी का इस्तेमाल किस प्रकार से कर पाते हैं। अगर आप टेक्नोलॉजी का इस्तेमाल सही से कर पाएंगे तो बिजनेस को ऊंचाईयों पर लेकर जा सकते हैं। फिर इस बात से फर्क नहीं पड़ता कि आपको बिजनेस कहां है और कहां नहीं। आप एक छोटे शहर से भी बिजनेस शुरू करके उसे बड़ा बना सकते हैं।

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Written By

Rajesh Bharti

First published on: May 24, 2024 06:30 AM

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