PFI Ban: विदेशी फंड जुटाने के लिए PFI के लोग करते थे इनके बैंक खातों का इस्तेमाल, सामने आया बड़ा खुलासा
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Lucknow News: उत्तर प्रदेश (Uttar Pradesh) में पॉपुरल फ्रंट ऑफ इंडिया (Popular Fund Of India) के खिलाफ जांच में कई बड़े चौंकाने वाले खुलासे हो रहे हैं। ताजा खुलासे के तहत पता चला है कि PFI के सदस्य महिलाओं और बुजुर्गों के बैंक खातों (Bank Accounts) का इस्तेमाल करते थे। एक अधिकारी ने बताया कि 500 महिलाओं और करीब 2,500 बुजुर्गों के बैंक खातों से यह रकम ट्रांसफर की गई थी।
मीडिया रिपोर्ट्स और जांच में शामिल एजेंसियों से जुड़े अधिकारियों ने बताया कि पीएफआई के सदस्य महिलाओं और बुजुर्गों के नाम पर लखनऊ में बैंक खातों का इस्तेमाल करते थे। जांच में सामने आया है कि भारत में धार्मिक कार्यक्रमों के आयोजन के नाम पर धन जुटाने के लिए खाड़ी देशों से पॉपुलर फ्रंट ऑफ इंडिया (PFI) के लिए पैसा ट्रांसफर किया जाता था।
500 महिलाओं और 25 सौ बुजुर्गों के खाते सामने आए
एक पुलिस अधिकारी ने बताया कि उत्तर प्रदेश में जांच के दौरान पता चला है कि ₹10,000 से ₹25,000 तक की राशि लगभग 500 महिलाओं और करीब 2,500 बुजुर्गों के बैंक खातों में ट्रांसफर की गई थी। उन्होंने कहा कि ये महिलाएं और बुजुर्ग ज्यादातर पीएफआई पदाधिकारियों के परिवार के सदस्य थे। उनका दूसरे देशों में काम करने वाले लोगों से कोई संबंध नहीं था।
राष्ट्रीय एजेंसियों की जांच से बचने के लिए महिलाओं और बुजुर्गों के बैंक खातों का इस्तेमाल किया गया था। अधिकारियों ने बताया कि एक बार पैसा इनके खातों में भेजा गया। इसके बाद यह पैसा एक बार में फिर से खाते से निकाला गया और विभिन्न उद्देश्यों में खर्च किया गया। उन्होंने बताया कि ये पैसा पिछले कुछ दिनों में गिरफ्तार हुए पीएफआई पदाधिकारियों और सदस्यों पर की गई कठोर पूछताछ के बाद सामने आया है।
विदेशों से पैसा मंगाने के लिए 12 हजार खातों का इस्तेमाल
उन्होंने कहा कि पिछले कुछ महीनों में विदेशों से पैसा ट्रांसफर करने के लिए 12,000 से ज्यादा बैंक खातों का उपयोग किया गया है। एजेंसियां इन सभी संदिग्ध बैंक खाताधारकों और प्रतिबंधित संगठन से इनके संबंधों की जांच कर रही हैं। उन्होंने बताया कि अहमद बेग नदवी नाम के एक व्यक्ति को 23 सितंबर को लखनऊ के मेडीगंज से गिरफ्तार किया गया था। उन्होंने कहा कि 27 सितंबर को एसटीएफ की छापेमारी के दौरान भागा बख्शी का तालाब ग्राम प्रधान बड़े पैमाने पर धन जुटाने का आरोपी था।
बता दें कि इससे पहले राज्य एजेंसियों द्वारा जांच के बाद प्रदेशभर में एक साथ बड़े पैमाने पर कार्रवाई की गई थी। पीएफआई ने एक दशक में लखनऊ समेत यूपी के 23 जिलों में अपना नेटवर्क फैलाया था। इसके 20,000 से अधिक सदस्य थे। रिपोर्ट्स के मुताबिक 22 सितंबर से अब तक यूपी के विभिन्न जिलों से 69 पीएफआई पदाधिकारियों और सदस्यों को गिरफ्तार किया जा चुका है।
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