JNU Clash: अखिल भारतीय विद्यार्थी परिषद (ABVP) कार्यकर्ताओं ने रविवार को जवाहरलाल नेहरू विश्वविद्यालय (JNU) में छत्रपति शिवाजी महाराज की तस्वीर फाड़ने का आरोप लगाया। ABVP कार्यकर्ताओं ने लेफ्ट पार्टी के कार्यकर्ताओं पर छत्रपति शिवाजी महाराज का 'अपमान' करने का आरोप लगाते हुए विरोध प्रदर्शन किया।
ABVP JNU के सोशल मीडिया संयोजक कुमार आशुतोष ने कहा कि एबीवीपी सदस्यों ने जेएनयूएसयू कार्यालय में शिवाजी का चित्र रखा। वामपंथियों ने वहां आकर सारे चित्र हटा दिए और माला को कूड़ेदान में फेंक दिया और फिर मारपीट हो गई। इस दौरान 5-6 ABVP सदस्य भी घायल हुए।
ABVP कार्यकर्ताओं ने बताया कि रविवार को छात्र गतिविधि केंद्र की दीवारों पर शिवाजी महाराज का चित्र लगाया गया था। ABVP कार्यकर्ताओं का आरोप है कि वामपंथी कार्यकर्ताओं के एक समूह की ओर से यहां पहुंचकर तोड़फोड़ की गई।
ABVP JNU के सचिव ने लगाए ये आरोप
ABVP JNU के सचिव उमेश चंद्र अजमेरा ने कहा, "आज छत्रपति शिवाजी महाराज की जयंती है। हमने छात्र गतिविधि केंद्र के बाहर दीवारों पर श्रद्धांजलि के रूप में शिवाजी महाराज का चित्र लगाया था।" अजमेरा ने ANI से बात करते हुए आरोप लगाया, "लेकिन जेएनयू के 'कम्युनिस्ट' इसे पचा नहीं पाए। '100 फ्लावर्स ग्रुप' और एसएफआई के लोग आए और शिवाजी महाराज के चित्र को तोड़ दिया।"
उन्होंने आगे आरोप लगाया कि इस घटना में शामिल लोगों में से कुछ बाहरी भी थे और बिना अनुमति के कॉलेज परिसर में प्रवेश कर गए थे। उन्होंने कहा कि जब हंगामा कर रहे आरोपियों को हमने रुकने के लिए कहा, तो उन्होंने कहा कि हम ऐसा करेंगे, हम उन पर (छत्रपति शिवाजी महाराज) विश्वास नहीं करते हैं, हम केवल मार्क्सवादी और लेनिनवादी विचारधारा में विश्वास करते हैं।
ABVP कार्यकर्ताओं ने JNU प्रशासन से कार्रवाई की मांग की
अजमेरा ने कहा कि न तो वे अपना आईडी कार्ड दिखा पाए। ABVP सचिव ने JNU प्रशासन से आरोपियों के खिलाफ कड़ी कार्रवाई करने और यूनिवर्सिटी का माहौल खराब करने से रोकने का आग्रह किया।
अजमेरा ने कहा, "हम जेएनयू प्रशासन से आरोपियों के खिलाफ सख्त कार्रवाई करने का अनुरोध करते हैं। हम प्रशासन से भी अवैध छात्रों को परिसर में प्रवेश करने और उपद्रव करने से रोकने का आग्रह करते हैं। इन लोगों को विश्वविद्यालय का नाम खराब करने से रोका जाना चाहिए।"