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महाराष्ट्र में राज ठाकरे करेंगे ‘खेला’? MNS के 2.25 फीसदी वोट बैंक पर BJP की नजर, क्या होगा फायदा?

Raj Thackeray Amit Shah Meeting: मनसे प्रमुख राज ठाकरे इस बार महाराष्ट्र में लोकसभा चुनाव 2024 का रुख बदल सकते हैं। वे आज दिल्ली में भाजपा नेता अमित शाह से मिले। उनके NDA गठबंधन में शामिल होने की चर्चा है। यह मेलजोल उद्धव ठाकरे गुट और शिवसेना UBT पर करारी चोट साबित हो सकता है।

Edited By : Khushbu Goyal | Updated: Mar 19, 2024 15:17
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Raj Thackeray Meeting With Minister Amit Shah
Raj Thackeray Meeting With Minister Amit Shah

Raj Thackeray Meeting With Minister Amit Shah: लोकसभा चुनाव 2024 की सरगर्मियों के बीच महाराष्ट्र में एक बड़ा ‘खेल’ होने जा रहा है। पिछले काफी समय से सक्रिय राजनीति से दूर महाराष्ट्र नवनिर्माण सेना (MNS) प्रमुख राज ठाकरे (Raj Thackeray) अचानक से मुखर हो गए हैं। इतना ही नहीं वे बीती रात बेटे अमित ठाकरे के साथ अचानक दिल्ली पहुंच गए। वहां देररात उन्होंने पहले भाजपा के राष्ट्रीय महासचिव विनोद तावड़े से मुलाकात की।

इसके बाद आज सुबह विनोद तावड़े के साथ गृह मंत्री अमित शाह से मिलने के लिए गए। महाराष्ट्र में डिप्टी CM देवेंद्र फडणवीस और महाराष्ट्र भाजपा प्रदेश अध्यक्ष चंद्रशेखर बावनकुले पहले से दिल्ली पहुंचे हुए हैं। ऐसे में चर्चा है कि राज ठाकरे NDA-शिवसेना-राकांपा गठबंधन में शामिल हो सकते हैं। सूत्रों के मुताबिक, राज ठाकरे ने गठबंधन में 2 सीटों नासिक और साउथ मुंबई की डिमांड की है। वहीं अमित शाह की नजर राज ठाकरे को 2.25 फीसदी वोट बैंक पर है।

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साउथ मुंबई की सीट मिलने के आसार

राजनीतिक गलियारों में चर्चा है कि अगर राज ठाकरे गठबंधन में शामिल होते हैं तो उन्हें साउथ मुंबई की सीट मिल सकती है। वहीं अगर मनसे को सीट मिली तो पार्टी के दिग्गज नेता और शिवडी विधासनभा से MLA रह चुके बाल नदगांवकर को चुनावी रण में उतारा जा सकता है। नदगांवकर 2009 और 2014 में साउथ मुंबई से ही लोकसभा चुनाव लड़ चुके हैं। एक बार फिर किस्मत आजमा सकते हैं, लेकिन देखना यह होगा कि क्या एकनाथ शिंदे गुट साउथ मुंबई की सीट छोड़ेगा?

शिवसेना UBT पर करारी चोट होगी

सियासी चर्चाओं का बाजार इसलिए भी गरम हैं कि राज ठाकरे का महागठबंधन में शामिल होना शिवसेना UBT पर बड़ी चोट होगा, जबकि शिवसेना पहले से ही बंटवारे का दर्द झेल रही है। ऐसे में एक बार फिर उद्धव अपनों से चोट खा सकते हैं। भाजपा भी बची खुची शिवसेना में सेंध लगाने के लिए राज ठाकरे को मोहरा बना सकती है।

राज ठाकरे से NDA को यह फायदे होंगे

  • मराठी वोट बैंक और मजबूत कैंडिडेट मिलेगा।
  • राज ठाकरे महाविकास अघाड़ी के खिलाफ प्रचार करेंगे।
  • उद्धव ठाकरे गुट के मजबूत खेमों में सेंध लगेगी।
  • महाराष्ट्र के हिंदुत्ववादी वोटों का विभाजन नहीं होगा।
  • राज ठाकरे की भाषण देने की तेजतर्रार शैली का फायदा होगा।
  • राज ठाकरे का प्रभाव शिवसेना UBT की स्थिति को कमजोर करेगा।

 

2014 में लड़ा था मनसे ने लोकसभा चुनाव

राज ठाकरे शिवसेना संस्थापक बाल ठाकरे के भाई श्रीकांत ठाकरे के बेटे हैं। साल 2006 में पारिवारिक मनमुटाव के कारण वे शिवसेना से अलग हो गए थे। उन्होंने अपनी पार्टी महाराष्ट्र नवनिर्माण सेना बनाई। इसके बाद मनसे ने 2009 का लोकसभा चुनाव महाराष्ट्री की 11 सीटों पर लड़ा और अच्छा प्रदर्शन करते हुए 4.07 प्रतिशत यानी 15.04 लाख वोट लिए।

2014 का लोकसभा चुनाव 10 सीटों पर लड़ा था, लेकिन पार्टी को सिर्फ 1.5 प्रतिशत वोट मिले थे। मनसे ने 2019 का लोकसभा चुनाव नहीं लड़ा। अक्टूबर 2019 में हुए विधानसभा चुनाव में राज ठाकरे की महाराष्ट्र नवनिर्माण सेना ने कुल 101 सीटों पर उम्मीदवार उतारे थे। विधानसभा चुनाव में कल्याण ग्रामीण से MNS के एकमात्र उम्मीदवार राजू पाटिल जीते थे।

86 उम्मीदवारों की जमानत जब्त हो गई थी। उस विधानसभा चुनाव में राज ठाकरे को कुल 2.25 फीसदी यानी 12,42,135 वोट मिले थे। 2019 के लोकसभा चुनाव के दौरान राज ठाकरे ने भाजपा खासकर प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी के खिलाफ राज्यभर में चुनाव प्रचार किया था। हालांकि उन्होंने इस चुनाव में पार्टी का कोई उम्मीदवार नहीं उतारा था, लेकिन उन्होंने कांग्रेस और NCP का समर्थन किया था। 2014 के विधानसभा चुनाव में मनसे को 3.1 फीसदी वोट मिले थे।

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Written By

Khushbu Goyal

First published on: Mar 19, 2024 01:40 PM

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